केंद्रीय पर्यावरण एवं वन मंत्रालय ने 25 नवंबर को हिंदुस्तान कंस्ट्रक्शन कॉरपोरेशन की सहायक इकाई लवासा कॉरपोरेशन को पर्यावरण और वन संरक्षण संबंधी कानून के उल्लंघन के तहत कारण बताओ नोटिस जारी किया था।
उसका आरोप है कि लवासा ने पर्यावरण संबंधी मंजूरी लिए बिना पांच हजार हेक्टर क्षेत्र में निर्माण कार्य शुरू किया है।
केंद्रीय पर्यावरण एवं वन मंत्रालय ने लवासा को जवाब देने के लिए 15 दिन का समय दिया था और आगे के निर्माण कार्य पर रोक लगा दी थी। लवासा कापरेरेशन ने मंत्रालय के नोटिस को बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर कर चुनौती दी थी। उसका आरोप है कि केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश ने उसे अपना पक्ष रखने का मौका दिए बिना पूर्वाग्रह से ग्रसित होकर कारण बताओ नोटिस जारी किया है।
मालूम हो कि लावासा कॉरपोरेशन लिमिटेड पुणे में एक पहाड़ी पर टाउनशिप का निर्माण कर रही है।
पर्यावरण मंत्रालय ने कहा है कि लवासा मामले की जांच करके 31 दिसंबर तक अंतिम फैसला ले लिया जाएगा।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें