काले धन को सफ़ेद बनाने में एटीएम का प्रयोग. - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।

रविवार, 5 दिसंबर 2010

काले धन को सफ़ेद बनाने में एटीएम का प्रयोग.

देश भर में बैंक के ग्राहकों की सुविधा के लिए लगाए गए एटीएम आतंकवादी गतिविधियों के लिए पैसा पहुंचाने और काले धन को सफेद बनाने के लिए इस्तेमाल किए जाने लगे हैं। यह बात वित्तीय बाजर की खुफिया जानकारी जुटाने वाली एक केंद्रीय एजेंसी द्वारा वित्त मंत्रालय को भेजी गई रपट में सामने आई है।
रपट में ऐसे मामलों का पता लगता है जहां एक बैंक खाते में एक राज्य में विभिन्न शाखाओं से छोटी-छोटी रकम जमा की गईं और उसके एटीएम और डेबिट कार्ड से अलग-अलग लोगों ने पैसे निकाले।

आधिकारिक रपटों के अनुसार खुफिया और प्रवर्तन एजेंसियों ने क्रेडिट और डेबिट कार्ड के जरिए बड़ी मात्रा में राशि निकालने तथा उसके आतंकवादी गतिविधियों में इस्तेमाल किए जाने के मामलों में वृद्धि हुई है। वित्तीय खुफिया इकाई (एफआईयू) को 2009-10 के दौरान ऐसे 17 हजार संदिग्ध मामलों की सूचना (एसटीआर) मिली है। एफआईयू ने एटीएम के दुरुपयोग समेत ऐसे मामलों के बारे में 66 पृष्ठ की अपनी रिपोर्ट वित्त मंत्रालय को सौंपी है।

वित्त मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि आतंकवादी गतिविधियों के वित्त पोषण के लिए एटीएम नया रास्ता बनकर उभरा है। ऐसा देखा गया है कि कई व्यक्तियों या स्रोतों से किसी खाता विशेष में देश में या बाहर पैसा भेजा जाता है और उससे कई लोग एक या विभिन्न स्थानों से एटीएम के जरिए पैसा निकालते हैं। ऐसे खातों का पता चलते ही उसे तत्काल गैर कानूनी गतिविधियां निरोधक कानून की धाराओं के तहत जब्त किया जाता है।

अधिकारी ने कहा कि एटीएम के जरिए पैसा निकासी से आतंकवादी एजेंटों के बारे में पता लगाने की संभावना सीमित हो जाती है। अधिकारियों ने बताया कि केरल के एक जिले में एक बैंक के बचत खाते में केरल और महराष्ट्र में विभिन्न जगहों की शाखाओं से 50-50 हजार रुपए से कम की रकम जमा कराई गई। बाद में उस रकम को विभिन्न एटीएम मशीनों से निकाला गया।

बाद में पता लगा कि वह खातेदार खाड़ी के एक देश में नौकरी करने गया था और वहां से लौट कर पर्दे और फूलों का व्यवसाय शुरू कर दिया। इसी तरह एफआईयू की एक रपट में कहा गया है कि उस व्यक्ति और उसके बेटे के खातों में खाड़ी से भेजी गई रकम को तत्काल हैदराबद में एटीएम से निकलवाया गया। जांच में उनका एक ऐसे व्यक्ति के साथ व्यावसायिक संबंध निकला जो एक पाइप बम मामले में पुलिस हिरासत में था। वह पैसा पुलिस हिरासत वाले व्यक्ति के एक साथी ने निकलवाई थी। आरोप है कि इस धन का इस्तेमाल आतंकवादी गतिविधियों के लिए किया गया। आर्थिक खुफिया इकाईयों के अधिकारियों ने कहा कि वे नेपाल के क्रेडिट कार्डों के जरिये जम्मू-कश्मीर में एटीएम के जरिए बड़ी राशि निकाले जाने के मामले की जांच कर रहे हैं।

1 टिप्पणी:

honesty project democracy ने कहा…

रजनीश जी आज इन छोटे-मोटे आतंकवादियों से इस देश को कोई खतरा नहीं है खतरा तो इस देश और समाज को भ्रष्ट मंत्रियों और दुष्ट उद्योगपतियों से है ये साले सबसे बड़े आतंकवादी हैं जिनको कोई पकरना नहीं चाहता,....