नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी) की रिपोर्ट के अनुसार बिहार में 31 मार्च 2010 को समाप्त हुए वित्तवर्ष में 2,399 करोड़ रुपये के राजस्व की हानि होने की बात सामने आई है। रिपोर्ट में एक ही कमरे में 408 छात्रों की पढ़ाई का मामला भी प्रकाश में आया है। राज्य के प्रधान महालेखाकार प्रेमण दीनाराज ने गुरुवार को पटना में आयोजित एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि राज्य के सरकारी विद्यालयों का हाल यह है कि एक कमरे में 70 से 408 छात्र एक साथ बैठकर अध्ययन कार्य कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि राज्य के 10 जिलों के 241 विद्यालयों के अभिलेखों की जांच की गई।
उन्होंने कहा कि 241 में से 139 विद्यालयों में 70 से 408 विद्यार्थियों के लिए एक ही कमरा था। रिपोर्ट में एक ऐसा विद्यालय भी सामने आया है जहां नौ शिक्षक हैं लेकिन एक भी छात्र नहीं है। दीनाराज ने बताया कि बिहार में 26 जिला परिवहन कार्यालयों में जुलाई 2002 एवं जून 2009 के दौरान 751 परिवहन वाहनों से 19. 52 करोड़ रुपये के बकाये कर का वाहन मालिकों ने भुगतान नहीं किया। तीन जिला परिवहन कार्यालयों में 14 परिवहन वाहनों को अद्यतन भुगतान सुनिश्चित किए बगैर योग्यता प्रमाणपत्र जारी कर दिया गया जिससे 54.76 लाख रुपये के कर की वसूली नहीं हो पाई।
रिपोर्ट के मुताबिक निबंधन विभाग एवं अन्य लोक कार्यालयों के बीच समन्वय के अभाव में कर वसूली नहीं हो पाई जिससे 8.57 करोड़ रुपये की सरकारी राशि अवरुद्ध हुई। विलम्ब से बंदोबस्ती या गैर-बंदोबस्त शराब की दुकानों के संचालन के कारण लाइसेंस फीस के रूप में 134.29 करोड़ रुपये की हानि हुई। बकाया राशि के लिए नीलाम वादपत्र भी देर से दाखिल किया गया, जिससे सरकार को तीन करोड़ 14 लाख रुपये की हानि हुई। रिपोर्ट में जेलों की सुरक्षा को लेकर भी प्रश्न उठाए गए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि जेलों में सुरक्षा के लिए सीसीटीवी और सुरक्षाकर्मियों पर 15.95 करोड़ रुपये खर्च किए गए लेकिन वे कहीं दिखाई नहीं दे रहे हैं।
उल्लेखनीय है कि वर्ष 2009-10 के लिए बिहार सरकार की कुल प्राप्तियां 35526. 83 करोड़ थी। कर राजस्व के 8089. 67 करोड़ रुपये और कर भिन्न राजस्व के 1670.42 करोड़ रुपये को मिलाकर राज्य सरकार ने कुल 9760.09 करोड़ का राजस्व सृजित किया। महालेखा परीक्षक ने नमूना जांच एवं कई मामलों की जांचकर 2399.68 करोड़ के राजस्व की हानि का खुलासा किया है।
उन्होंने कहा कि 241 में से 139 विद्यालयों में 70 से 408 विद्यार्थियों के लिए एक ही कमरा था। रिपोर्ट में एक ऐसा विद्यालय भी सामने आया है जहां नौ शिक्षक हैं लेकिन एक भी छात्र नहीं है। दीनाराज ने बताया कि बिहार में 26 जिला परिवहन कार्यालयों में जुलाई 2002 एवं जून 2009 के दौरान 751 परिवहन वाहनों से 19. 52 करोड़ रुपये के बकाये कर का वाहन मालिकों ने भुगतान नहीं किया। तीन जिला परिवहन कार्यालयों में 14 परिवहन वाहनों को अद्यतन भुगतान सुनिश्चित किए बगैर योग्यता प्रमाणपत्र जारी कर दिया गया जिससे 54.76 लाख रुपये के कर की वसूली नहीं हो पाई।
रिपोर्ट के मुताबिक निबंधन विभाग एवं अन्य लोक कार्यालयों के बीच समन्वय के अभाव में कर वसूली नहीं हो पाई जिससे 8.57 करोड़ रुपये की सरकारी राशि अवरुद्ध हुई। विलम्ब से बंदोबस्ती या गैर-बंदोबस्त शराब की दुकानों के संचालन के कारण लाइसेंस फीस के रूप में 134.29 करोड़ रुपये की हानि हुई। बकाया राशि के लिए नीलाम वादपत्र भी देर से दाखिल किया गया, जिससे सरकार को तीन करोड़ 14 लाख रुपये की हानि हुई। रिपोर्ट में जेलों की सुरक्षा को लेकर भी प्रश्न उठाए गए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि जेलों में सुरक्षा के लिए सीसीटीवी और सुरक्षाकर्मियों पर 15.95 करोड़ रुपये खर्च किए गए लेकिन वे कहीं दिखाई नहीं दे रहे हैं।
उल्लेखनीय है कि वर्ष 2009-10 के लिए बिहार सरकार की कुल प्राप्तियां 35526. 83 करोड़ थी। कर राजस्व के 8089. 67 करोड़ रुपये और कर भिन्न राजस्व के 1670.42 करोड़ रुपये को मिलाकर राज्य सरकार ने कुल 9760.09 करोड़ का राजस्व सृजित किया। महालेखा परीक्षक ने नमूना जांच एवं कई मामलों की जांचकर 2399.68 करोड़ के राजस्व की हानि का खुलासा किया है।
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