छत्तीसगढ़ में राष्ट्रपति शासन की मांग. - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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गुरुवार, 21 जुलाई 2011

छत्तीसगढ़ में राष्ट्रपति शासन की मांग.


छत्तीसगढ़ के गरियाबंद पुलिस जिले में नक्सलियों ने विस्फोट कर पुलिया को उड़ा दिया , जिससे उसमें से गुजर रहा यात्री वाहन क्षतिग्रस्त हो गया है। घटना से ठीक पहले यहां से छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नंद कुमार पटेल गुजरे थे। कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष नंदकुमार पटेल के काफिले पर नक्सली हमले की कांग्रेस नेताओं ने निंदा की है। उन्होंने इसे नक्सलियों की कायराना हरकत बताया और प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की है। कांग्रेस ने इस घटना के लिए राज्य सरकार को जिम्मेदार बताया और मुख्यमंत्री डा. रमन सिंह से इस्तीफे की मांग की है।

अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष व राज्यसभा सदस्य मोतीलाल वोरा ने इस घटना की कड़े शब्दों में निंदा की है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार पूरी तरह असफल साबित हो रही है। पूर्व मुख्यमंत्री व कांग्रेस कार्यसमिति के सदस्य अजीत जोगी ने कहा कि इस घटना से रमन सरकार के प्रशासनिक व्यवस्था की पोल खुल गई है। प्रदेश में नक्सली आतंक बेखौफ बढ़ते जा रहा है। 

प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लगाया जाना चाहिए। नेता प्रतिपक्ष रविंद्र चौबे ने कहा कि सरकार प्रमुख विपक्षी दल के अध्यक्ष को ही सुरक्षा नहीं दे पा रही है। पहले सूचना देने के बाद भी सुरक्षा कोई इंतजाम नहीं किया गया। इस घटना के लिए सरकार पूरी तरह जिम्मेदार है। प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता राजेंद्र तिवारी ने कहा कि सरकार इतनी अकर्मण्य है कि पहले से सूचना देने के बाद भी सुरक्षा के इंतजाम नहीं कर पाई। प्रदेश अध्यक्ष लगातार दौरे कर रहे हैं और पुलिस प्रशासन को इसकी सूचना है। नक्सली अब राजनीतिक दल के लोगों पर हमला कर रहे हैं, यह चिंता का विषय है। सरकार को एक मिनट भी बने रहने का अधिकार नहीं है। 

राज्यपाल शेखर दत्त और स्कूल शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल ने रात को रामकृष्ण अस्पताल जाकर घायलों से मुलाकात की। उन्होंने डाक्टरों को घायलों का बेहतर इलाज करने के निर्देश दिए। राज्यपाल ने कहा कि नक्सलवाद देश के लिए चुनौती है। इससे केंद्र और राज्य मिलकर लड़ें। डीजीपी अनिल नवानी ने भी अस्पताल जाकर घायलों से मुलाकात की। वे कल घटनास्थल जाकर स्थिति का जायजा लेंगे।

युकां के पूर्व प्रदेश प्रवक्ता सुदीप होर ने कहा कि भाजपा सरकार के कार्यकाल में नक्सली घटनाओं में इजाफा हुआ है। नक्सली पहले पुलिस और एसपीओ को निशाना बनाते थे, अब वह जनप्रतिनिधियों पर हमला कर रहे हैं। उन्होंने इस घटना में मारे गए लोगों के परिजनों को 25-25 लाख रुपए मुआवजा देने की मांग की।  युवक कांग्रेस के उपाध्यक्ष दीपक मिश्रा व इदरीश गांधी ने कहा कि रमन सरकार नक्सलियों पर काबू पाने में असफल है। गृहमंत्री ननकीराम कंवर को इस्तीफा दे देना चाहिए। कांग्रेस अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के प्रदेशाध्यक्ष हाजी शेख नाजिमुद्दीन व ग्रामीण अध्यक्ष जाहिद हुसैन ने कहा कि सरकार के साथ नक्सलियों की सांठगांठ है, सरकार के इशारे पर यह हमला हुआ है। 

मुख्यमंत्री को अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए। पीसीसी प्रवक्ता इकबाल अहमद रिजवी, कल्पना पटेल, भगवानू नायक, युकां महासचिव पप्पू बघेल, विभा साहू ने कहा कि यह सरकार की अक्षमता को प्रदर्शित करता है। कांग्रेस की एकजुटता से रमन सरकार घबरा गई है, इसलिए कांग्रेस नेताओं को पर्याप्त सुरक्षा नहीं दी जा रही है। पूर्व केंद्रीय मंत्री विद्याचरण शुक्ल ने नक्सली हमले में मारे लोगों को श्रद्धांजलि दी है। उन्होंने नक्सलियों की इस कृत्य की कड़ी भत्र्सना की है। उन्होंने कहा कि भाजपा के शासन में अराजकता फैलती जा रही है। सरकार हाथ पर हाथ धरे बैठी है। नक्सलियों का मनोबल बढ़ा हुआ है । अब वे राजधानी रायपुर जिले में आकर हमला कर रहे हैं। नक्सलियों ने देवभोग के हीरा खदान पर भी अपना कब्जा जमा लिया है, इसे राज्य सरकार को मुक्त कराना चाहिए।

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