मुंबई और अहमदाबाद के बाद अब सरकार दिल्ली और कोलकाता के बीच बुलेट ट्रेन चलाने की तैयारी शुरू कर दी है। शुरू में ट्रेन पटना तक चलेगी। बाद में इसे कोलकाता तक कर दिया जाएगा। कोलकाता और दिल्ली के बीच बुलेट ट्रेन की बात और योजना एक दशक से बन रही है। लेकिन कभी भी इस पर कुछ नहीं हुआ। पहली बार सरकार इस मामले में गंभीर दिख रही है।
मुंबई और अहमदाबाद के बीच बुलेट ट्रेन चलाने के लिए सरकार ने जापानी कंपनी से मदद मांगी है। कोलाकाता-दिल्ली रुट के लिए अलग रेल कॉरिडोर बनाने की तैयारी है। अगर इस योजना को आकार मिला तो 24 घंटे का लंबा और बोरियत भरा रेल सफर 6 से 7 घंटे में ही पूरा हो सकेगा। इंडियन रेलवे कंस्ट्रक्शन कंपनी ने इसके लिए ब्रिटिश कंपनी मौर मैकडोनाल्ड से संपर्क साधा है। इसी कंपनी को बुलेट ट्रेन का कॉरिडोर बनाना है।
यह कॉरिडोर दिल्ली, आगरा, लखनऊ, वाराणसी और पटना के बीच बनना है। यह विदेशी कंपनी की ओर से 993 किलोमीटर लंबे कॉरिडोर के लिए अपनी रिपोर्ट चालू वर्ष के अंत तक सौंपे जाने की उम्मीद है। रेलवे सूत्रों ने बताया कि देश में बुलेट ट्रेन चल जाने पर 16 घंटे की यात्रा चार घंटे में पूरी हो जाएगी। दिल्ली से आगरा एक घंटे में, दिल्ली से लखनऊ दो से ढाई घंटे में, दिल्ली से वाराणसी चार घंटों में और दिल्ली से पटना तक की यात्रा पांच घंटे में पूरी हो जाएगी। यह ट्रेन 200 से 350 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चलेगी। कोलकाता तक का सफर करीब छ-सात घंटे में पूरा हो जाएगा। तेज रफ्तार वाला पहला रेल कॉरिडोर दिल्ली से पटना तक बनेगा जिसे बाद में बढ़ाकर कोलकाता तक कर दिया जाएगा। ब्रिटिश कंपनी के अनुसार दिल्ली से पटना तक के रेल मार्ग बनाने पर अनुमानित पांच लाख करोड़ रुपये की लागत आएगी।
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