दिल्ली उच्च न्यायालय ने बुधवार को दिल्ली सरकार से कहा कि वह राज्य में तम्बाकू उत्पादों पर प्रतिबंध को लेकर दो सप्ताह के भीतर निर्णय ले। डॉक्टर्स फॉर यू संस्था की याचिका पर सुनवाई करते हुए कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति ए. के. सीकरी तथा न्यायमूर्ति राजीव सहाय एंडलॉ ने दिल्ली सरकार को यह निर्देश दिया।
न्यायालय ने सरकार से कहा कि वह जनहित याचिका को अभिवेदन के तौर पर देखे और इस पर दो सप्ताह के भीतर निर्णय ले। इसने 31 जुलाई को समाचार पत्र में प्रकाशित एक लेख का भी जिक्र किया जिसमें दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री को यह कहते हुए बताया गया है कि राज्य में तम्बाकू पर प्रतिबंध लगना चाहिए। डॉक्टर्स फॉर यू एक पंजीकृत संस्था है और इसने दिल्ली में मुंह और फेफड़े के कैंसर के बढ़ते मामलों को देखते हुए यह याचिका दायर की। याचिकाकर्ता ने न्यायालय को बताया कि आठ राज्यों ने तम्बाकू पर प्रतिबंध लगा दिया है, फिर दिल्ली ऐसा क्यों नहीं कर रही? जिन आठ राज्यों ने तम्बाकू उत्पादों पर प्रतिबंध लगाया है उनमें मध्य प्रदेश, केरल, हरियाणा, बिहार, महाराष्ट्र, हिमाचल प्रदेश, राजस्थान तथा गोवा हैं।
दिल्ली सरकार के वकील नज्मी वजीरी ने न्यायालय में कहा कि इस दिशा में कई कदम उठाए गए हैं और यदि सरकार के समक्ष कोई अभिवेदन आता है तो इस पर विचार किया जाएगा।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें