उत्तर प्रदेश विधानसभा में बुधवार को प्रतापगढ़ जिले के कुंडा क्षेत्र के सीओ हत्याकांड का मुद्दा एक बार फिर गूंजा। सभी विपक्षी दलों ने पूर्व मंत्री राजा भैया की गिरफ्तारी को लेकर सरकार पर हमला बोला और हत्यारों को बचाने का आरोप लगाते हुए सदन से बहिर्गमन किया। विधानसभा में बुधवार को जैसे ही कार्यवाही शुरू होते ही बहुजन समाज पार्टी (बसपा), कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सदस्यों ने पूर्व खाद्य एवं रसद मंत्री राजा भैया की गिरफ्तारी की मांग को लेकर हंगामा शुरू कर दिया।
पूर्व मंत्री की तत्काल गिरफ्तारी की मांग पर भाजपा ने वॉकआउट कर दिया था, जबकि बसपा और कांग्रेस के सदस्यों ने सदन से बहिर्गमन किया। विधानसभा में विपक्ष के नेता और बसपा के राष्ट्रीय महासचिव स्वामी प्रसाद मौर्य ने सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि वह सीओ के हत्यारों को बचा रही है।
मौर्य ने कहा कि सूबे की समाजवादी पार्टी (सपा ) सरकार एक हत्यारी सरकार है और मामले में आरोपी बनाए गए पूर्व मंत्री राजा भैया को तत्काल गिरफ्तार किया जाना चाहिए। इस बीच, विपक्ष को जवाब देते हुए सरकार की ओर से बताया गया कि मामले की जांच की जिम्मेदारी केंद्रीय जांच एजेंसी (सीबीआई) को सौंप दी गई है। डेढ़ घंटे की कार्रवाई के दौरान हुए हंगामे में सदन को तीन बार स्थगित किया गया।
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