सरकार ने बिहार के मढौरा और मधेपुरा में रेल इंजन कारखाने लगाने के ठंडे बस्ते में पड़े सात साल पुराने प्रस्ताव पर फिर से काम शुरू किया है। इसके लिये पहले शुरू की गई निविदा प्रक्रिया को समाप्त कर नये सिरे से बोली मंगाने का फैसला किया गया है।
मधेपुरा में 1293.57 करोड़ रुपये की लागत से आधुनिक इलेक्ट्रिक इंजन फैक्टरी और मढौरा में 2052.58 करोड़ रुपये की लागत से डीजल इंजन फैक्टरी स्थापित करने के प्रस्ताव को 2006-07 में अंतिम रूप दिया गया था। उस समय लालू प्रसाद रेल मंत्री थे। इन प्रस्तावों को लेकर कई तरह की अड़चनें आई, विशेषतौर पर इनके रखरखाव के ठेके को लेकर समस्या रही, जिसके चलते ये प्रस्ताव करीब करीब ठंडे बस्ते में चले गये थे।
वित्त मंत्री पी़ चिदंबरम ने कहा कि केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने आज इन प्रस्तावों को अमल में लाने के लिये नये सिरे से बोली प्रक्रिया शुरू करने का फैसला किया। दोनों कारखानों की स्थापना के लिये यह प्रक्रिया अगले सप्ताह शुरू होगी। मंत्रिमंडल की बैठक के बाद चिदंबरम ने कहा कि हम इन्हें दोबारा शुरू करने को लेकर प्रसन्न हैं परियोजना में पहले ही काफी विलंब हो चुका है। चिदंबरम ने कहा कि योग्यता को लेकर आग्रह पत्र अगले सप्ताह जारी कर दिया जायेगा और उसके बाद कारखाना लगाने के लिये प्रस्ताव पर आग्रह पत्र जुलाई तक जारी होगा।
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