दिल्ली के लोकायुक्त मनमोहन सरीन बुधवार को दिल्ली की मुख्यमंत्री शीला दीक्षित के विरुद्ध खुलकर सामने आए। लोकायुक्त ने दीक्षित पर वर्ष 2008 के विधानसभा चुनाव के पूर्व सरकारी धन का दुरुपयोग कर खुद को और पार्टी को लाभ पहुंचाने का आरोप लगाया है। सरीन ने राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी से दीक्षित को या तो स्वयं या फिर अपनी पार्टी के जरिए विज्ञापनों पर हुए खर्च की आधी राशि के रूप में 11 करोड़ रुपये वापस करने की सलाह देने के लिए कहा है।
अपने आदेश में सरीन ने दीक्षित को उनकी कथित गतिविधि के लिए राष्ट्रपति को उन्हें सचेत करने की सिफारिश की है। सरीन ने अपने आदेश में कहा है, "वर्ष 2007-8 के दौरान सरकारी विज्ञापन की तरह अपनी पार्टी और खुद को लाभ पहुंचाने की मंशा से विज्ञापन जारी करने और प्रकाशित कराने के लिए प्रतिवादी (दीक्षित) को एक चेतावनी जारी की जाए।" दिल्ली भारतीय जनता पार्टी की शिकायत पर लोकायुक्त ने इस मामले की जांच शुरू की थी।
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