मुम्बई में श्रृंखलाबद्ध बम विस्फोट कांड में आजीवन कारावास की सजा पाये 85 वर्षीय व्यक्ति की लंबी बीमारी के बाद रविवार को उसके निवास पर मौत हो गई। उच्च्तम न्यायालय ने हाल में सात वर्ष की उसकी सजा को बढ़ाकर आजीवन कारावास कर दिया था। मुम्बई के पास रायगढ़ जिले के संधेरी निवासी इसहाक मोहम्मद हजवाने स्मृतिलोप और अन्य बीमारियों से पीड़ित था। हजवाने के वकील फरहाना शाह ने बताया कि हजवाने की संधेरी स्थित उसके पैतृक स्थान पर मौत हो गई। उन्होंने बताया कि उच्चतम न्यायालय के निर्देशानुसार वह 17 मई तक आत्मसमर्पण करने के लिए मानसिक रूप से तैयार था।
उच्चतम न्यायालय ने हजवाले, अभिनेता संजय दत्त और पांच अन्य को आत्मसमर्पण करने के लिए चार सप्ताह का अतिरिक्त समय दिया था। टाडा अदालत के तत्कालीन न्यायाधीश पी डी कोड़े ने हजवाने को संधेरी में हथियारों के प्रशिक्षण में उसकी भूमिका और हथगोला रखने का दोषी ठहराया था जो कि श्रृंखलाबद्ध विस्फोट में इस्तेमाल के लिए आयी खेप का हिस्सा था। टाडा अदालत ने हजवाने को श्रृंखलाबद्ध बम विस्फोट में उसकी भूमिका के लिए सात वर्ष कठोर जेल की सजा सुनायी थी। हालांकि सरकार ने उसकी सजा बढ़ाने के लिए उच्चतम न्यायालय में अपील की जिसने उसकी सजा बढ़ाकर आजीवन कारावास कर दी।
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