बहुजन समाज पार्टी (बसपा) अध्यक्ष मायावती ने शनिवार को कहा कि उनकी पार्टी केन्द्र सरकार द्वारा प्रस्तावित खाद्य सुरक्षा योजना की सैद्धांतिक तौर पर पक्षधर है, लेकिन सरकार ने जिस तरह जल्दबाजी करते हुए इस सम्बन्ध में अध्यादेश जारी किया, वह गलत है।
मायावती ने प्रेस कांफ्रेंस में एक सवाल पर कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने करीब सवा दो साल पहले केन्द्र सरकार से कहा था कि देश में अनाज की कोई कमी नहीं है और उसके सम्पूर्ण भंडारण की व्यवस्था नहीं होने के कारण वह सड़ रहा है। उस अनाज को ऐसे लोगों को बांट दिया जाए जो भूखे मर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि लेकिन दुख की बात है कि सवा दो साल तक केन्द्र इस मामले में चुप रहा। अब वह खाद्य सुरक्षा योजना लेकर आया है। हमारी पार्टी सैद्धांतिक तौर पर इसकी पक्षधर है। बसपा अध्यक्ष ने कहा कि लेकिन खाद्य सुरक्षा सम्बन्धी योजना को जिस तरीके से जल्दबाजी में अध्यादेश के तौर पर लाया गया है, वह सही तरीका नहीं है। अगर इसे सही तरीके से लाया गया होता, संसद में चर्चा होती तो कुछ अच्छे सुझाव आते।
कांग्रेस नेताओं द्वारा पांच रुपए और 12 रुपए में भरपेट भोजन उपलब्ध होने के बयानों पर मायावती ने कहा कि मुझे लगता है कि उन लोगों ने कभी गरीबी नहीं देखी। अगर उन्होंने देखी होती तो वे ऐसी बात नहीं करते। जिस तरह हर क्षेत्र में महंगाई बढ़ी है और उसके कारण गरीबों की जो हालत खराब है, उसे देखते हुए यह बयान बहुत भद्दा मजाक है। हम इसकी निंदा करते हैं।
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