कलेक्टर ने ली राजस्व अधिकारियों की बैठक, अवैध उत्खनन के प्रकरणों पर कठोर कार्यवाही के निर्देश
कलेक्टर श्री बी. चन्द्रशेखर ने आज राजस्व अधिकारियों की बैठक लेकर राजस्व प्रकरणों की विस्तार से समीक्षा की तथा अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिये। बैठक में बैहर के एस.डी.एम. श्री आशिष सिंह, अपर कलेक्टर श्री दिलीप कापसे, बालाघाट, वारासिवनी, लांजी के एस.डी.एम. एवं सभी तहसीलदार उपस्थित थे। बैठक में अवैध खनिज उत्खनन के प्रकरणों में अर्थदंड की वसूली की समीक्षा के दौरान कलेक्टर ने सभी एस.डी.एम. एवं तहसीलदारों को निर्देशित किया कि वे ऐसे प्रकरणों में कठोर कार्यवाही करें और प्रकरण दर्ज करने के बाद अपर कलेक्टर को प्रस्तुत करें। जिससे खनिज का अवैध उत्खनन करने वालों पर अधिक से अधिक अर्थदंड वसूल किया जा सके। जिले के नगरीय क्षेत्रों में नजूल भू-भाटक की वसूली की समीक्षा के दौरान कलेक्टर ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि वे इस वसूली के लिए विशेष अभियान चलायें। नजूल भू-भाटक की सख्ती से वसूली की जाये और यह वसूली एक माह के भीतर पूर्ण कर ली जाये। बैठक में कलेक्टर श्री चन्द्रशेखर ने अधिकारियों से कहा कि वे अविवादित सीमांकन, नामांतरण एवं बटंवारा के प्रकरणों का तेजी से निराकरण करें। ऐसे प्रकरण लंबित नहीं रहना चाहिए। अविवादित प्रकरणों के निराकरण के लिए विशेष अभियान चलायें। नगरीय क्षेत्रों में प्लाट के सीमांकन के प्रकरण आये तो उनका सीमांकन न करें। ऐसे मामलों में प्लाट खरीदने वालों को प्लाटिंग करने वाले से ही सीमांकन कराना होगा। अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि पटवारी गांव में जाकर शिविर लगाये और फौती दर्ज करे। बी.पी.एल. सूची में नाम शामिल करने के लिए कोई भी व्यक्ति आये तो पटवारी को भेज कर उसकी जांच करें और पात्र पाये जाने पर उसका नाम बी.पी.एल. सूची में दर्ज करें। बैठक में सभी तहसीलदारों से कहा गया कि वे नगरीय क्षेत्रों में घूमने वाले आवारा पशुओं के मालिकों के विरूध्द कड़ी कार्यवाही करें। स्कूलों के आसपास स्थित पान दुकानों को सख्ती से हटाने कहा गया। ग्रामीण क्षेत्रों में आबादी के भूमि पर रहने वालों को रहवासी होने का प्रमाण पत्र देने कहा गया।
तीन साल के लिए वैद्य होगा आय प्रमाण पत्र
बैठक में तहसीलदारों ने बताया कि शिक्षण संस्थाओं द्वारा छात्र-छात्राओं से हर वर्ष आय प्रमाण पत्र मांगा जाता है। इससे उनका काम बढता है। जबकि एक बार जारी किया गया आय प्रमाण पत्र तीन वर्ष तक मान्य होता है। इस पर कलेक्टर श्री चन्द्रशेखर ने सभी शिक्षण संस्थाओं के प्रमुखों को निर्देशित किया है कि वे आय, जाति एवं निवास प्रमाण पत्र की मूल प्रति जमा न करायें और छात्र द्वारा एक बार आय प्रमाण पत्र जमा कराने के बाद तीन वर्ष तक उसके लिए मांग न करें।
बैंक आर.आर.सी. प्रकरणों में सख्ती से वसूली के निर्देश
कलेक्टर श्री चन्द्रशेखर ने सभी तहसीलदारों को निर्देशित किया कि वे बैंक आर.आर.सी. प्रकरणों में बकायादारों से सख्ती से वसूली करें। बकाया राशि वसूल करने के लिए बिना किसी संकोच के चल अचल संपत्ति की कुर्की व नीलामी की कार्यवाही करें। बैठक में आर.आर.सी. प्रकरणों में वसूली के लिए बालाघाट के तहसीलदार श्री डेहरिया को 4504 रु., बैहर तहसीलदार श्री अजित तिर्की को 13 हजार 160 रु., परसवाड़ा तहसीलदार श्री ककोड़िया को 6 हजार रु. तथा कटंगी तहसीलदार को एक हजार रु. की प्रोत्साहन राशि का चेक प्रदान किया गया।
मतदाता सूची को त्रुटि रहित बनाने के निर्देश
बैठक में सभी तहसीलदारों को निर्देशित किया गया कि वे अपने क्षेत्र की मतदाता सूची को त्रुटि रहित बनायें। जिन व्यक्तियों के नाम एक से अधिक स्थानों पर जुड़े है उनका नाम केवल एक स्थान पर ही रखा जाये। सभी मतदाता को फोटो पहचान पत्र का मिलना सुनिश्चित करें। इस कार्य को सर्तकता के साथ करें। जिन व्यक्तियों के नाम छूटे है उनको जोड़ने की कार्यवाही करें।
इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीनों की प्रथम जांच का कार्य प्रारंभ
आगामी विधानसभा चुनाव 2013 के लिए जिले में सभी आवश्यक तैयारियां प्रारंभ कर दी गई है। विधानसभा चुनाव इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीनों से कराये जायेंगें। इसके लिए जिले में 4300 वोटिंग मशीने आ चुकी है। इन मशीनों को चुनाव के लिए तैयार करने प्रथम चरण की जांच का कार्य आज प्रारंभ कर दिया गया है। राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों की मौजूदगी में कलेक्ट्रेट कार्यालय में इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीनों की फर्स्ट लेवल चेकिंग का कार्य किया जा रहा है। आगामी विधनसभा चुनाव 2013 के लिए बालाघाट जिले में कुल 1340 मतदान केन्द्र बनाये गये है। इनमें से विधानसभा क्षेत्र बैहर में 239, लांजी में 242, परसवाड़ा में 223, बालाघाट में 228, वारासिवनी में 197 एवं कटंगी में 211 मतदान केन्द्र बनाये गये है। मतदान कराने के लिए जिले को 1800 कंट्रोल यूनिट एवं 2500 बैलेट यूनिट प्राप्त हुई है। इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीनों की फर्स्ट लेवल चेकिंग में उनकी स्क्रीन, बटन, बैटरी आदि की जांच की जा रही है कि वे सही तरह से कार्य कर रही हैं या नही। इन मशीनों की जांच के लिए इलेक्ट्रानिक कार्पोरेशन कंपनी हैदराबाद के इंजीनियर भी बालाघाट आये हुए है। कंपनी के इंजीनियरों की देखरेख में सभी 1800 कंट्रोल यूनिट एवं 2500 बैलेट यूनिटों की जांच की जायेगी।
18 नि:शक्तों को 500 रु. मासिक की बहुविकलांग पेंशन मंजूर
म.प्र. शासन द्वारा समाज के मानसिक रूप से नि:शक्त एवं बहुविकलांग व्यक्तियों को 500 रु. मासिक की पेंशन देने की योजना संचालित की जा रही है। इस योजना में गरीबी रेखा का भी बंधन नहीं रखा गया है। जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री तरूण राठी ने इस योजना के अंतर्गत जिले के विभिन्न स्थानों के 18 मानसिक एवं बहुविकलांग नि:शक्तों को 500 रु. मासिक की पेंशन मंजूर की है। उप संचालक सामाजिक न्याय श्री धनंजय मिश्रा ने बताया कि नगरीय क्षेत्र वारासिवनी के वार्ड नं.-06 के आशीष उके, वाशेश्वर उके, विजेन्द्रन उके व वार्ड नं.-07 की कुमारी नेहा को 500 रु. मासिक की बहुविकलांग पेशन मंजूर की गई है। इसी प्रकार जनपद पंचायत वारासिवनी के अंतर्गत ग्राम चंगेरा के मिनेश, नांदगांव के संदीप कटरे, खुमेन्द्र पारधी, रामपायली की प्रीति, मेहदीवाड़ा की केशर, व ग्राम जागुपर की कुमारी आरजू खान, नगरीय क्षेत्र बालाघाट के वार्ड नं.01 के निवासी मधुसूदन ढोमने, जनपद पंचायत परसवाड़ा के ग्राम लिंगा के नवीन कुमार तथा जनपद पंचायत बालाघाट के अंतर्गत आने वाले ग्राम खुरसोड़ी के राजकिशन, प्रतापपुर की कुमारी लक्ष्मी बाई, बोरी के मयुर, कुम्हारी के रोशन व ग्राम बोदा के रविशंकर व कुमारी भूमेश्वरी को 500 रु. मासिक की बहुविकलांग पेंशन मंजूर की गई है।
सड़क दुर्घटना में घायल बैगन बाई को 5 हजार रु. की सहायता
लालबर्रा तहसील के ग्राम बेलगांव की निवासी बैगन बाई मानेश्वर के 12 अगस्त 2012 को लालबर्रा-मोहगांव-धपेरा रोड़ पर मोटर सायकल क्रमांक एम.पी.-50-0113 से हुई सड़क दुर्घटना में घायल हो जाने पर कलेक्टर श्री बी. चन्द्रशेखर ने राज्य शासन के सामाजिक कल्याण कार्यक्रम के अंतर्गत उसे 5 हजार रु. की रुपये की सहायता राशि मंजूर की है। लालबर्रा की तहसीलदार को निर्देशित किया गया है कि वे राशि का आहरण कर बैगन बाई के बैंक खाते में 5 हजार रु. की राशि शीघ्र जमा करायें।
आदर्श बालाघाट अभियान के अंतर्गत पौधरोपण के लिए दल का गठन
कलेक्टर श्री बी. चन्द्रशेखर ने बालाघाट नगर के वातावरण को शुध्द बनाये रखने एवं नगर के सौन्दर्यीकरण के लिए आदर्श बालाघाट अभियान चलाने का निर्णय लिया है। इस अभियान के अंतर्गत जन सहयोग से नगर में बड़ी संख्या में पौध रोपण का कार्य किया जाना है। पौधरोपण कार्य के सुचारू रूप से क्रियान्वयन के लिए दल का गठन किया गया है। बालाघाट नगर में पौधरोपण कार्य के व्यवस्थित संचालन के लिए बनाये गये दल में एस.डी.एम. डॉ. आर.सी. रहांगडाले, नगर पालिका अधिकारी श्री देवेन्द्र सिंह परिहार, दक्षिण वन मंडल के अनुविभागीय अधिकारी श्री एम.एस. श्रीवास्तव एवं म.प्र. जन अभियान परिषद के श्री कुलदीप सिंह ठाकुर को शामिल किया गया है। इस दल के द्वारा बालाघाट नगर में चिन्हित स्थान पर किस प्रजाति के कितने पौधे लगाना है यह निर्धारित किया जायेगा। इस दल के द्वारा उपयुक्त प्रजाति के पौधों की उपलब्धता सुनिश्चित करने के साथ ही पौध रोपण में सहयोग एवं उसके बाद पौधों के संरक्षण में मदद की इच्छुक संस्थाओं एवं व्यक्तियों का चयन कर पौधों की सुरक्षा सुनिश्चित की जायेगी। पौध रोपण का कार्य माह अगस्त 2013 में ही सम्पन्न किया जायेगा।
लांजी में खिलाड़ियों को किया गया पायका राशि का वितरण
म.प्र. शासन के खेल एवं युवा कल्याण विभाग व भारत सरकार के संयुक्त अभियान के तहत वर्ष 2012 की विकासखंड एवं जिला स्तर के पायका खेल विजेता खिलाड़ियों को 5 अगस्त 2013 को उत्कृष्ट विद्यालय लांजी में पायका राशि का वितरण किया गया। पायका खेल के विजेता ग्राम भानेगांव, सावरी एवं थानेगांव के खिलाड़ियों को संबंधित विद्यालय के प्राचार्य एवं ग्राम पंचायत क्रीड़ाश्री के समक्ष राशि का वितरण किया गया। युवा समन्वयक कुमारी योगिता कावड़े ने बताया कि पायका राशि के वितरण के अवसर पर उत्कृष्ट विद्यालय लांजी के प्राचार्य, पी.टी. श्री नगपुरे, भानेगांव के प्राचार्य, क्रीड़ाश्री श्री प्रहलाद एवं अन्य गणमान्य नागरिक मौजूद थे।
12 जिलों को किया गया मत्स्य बीज का वितरण, कतला मत्स्य बीज उत्पादन में बालाघाट म.प्र. में अव्वल
प्रकृति ने बालाघाट जिले को मत्स्य पालन के लिए उपयुक्त वातावरण दिया है। इस जिले में छोटे एवं बड़े तालाबों की अधिकता के कारण मत्स्य पालन का कार्य बड़े पैमाने पर किया जाता है। जिले में मत्स्य बीज का उत्पादन भी किया जाता है। इस वर्ष कतला मछली के बीज उत्पादन में बालाघाट जिला म.प्र. में अव्वल स्थान पर रहा है। उप संचालक मत्स्योद्योग श्री आर.के. राय ने इस संबंध में बताया कि म.प्र. ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण देश में सबसे अधिक कतला मछली के बीज की मांग रहती है। म.प्र. के सतना जिले के पोंडी में एशिया महाद्वीप का सबसे बड़ा मत्स्य बीज प्रक्षेत्र है। पोंडी के इस प्रक्षेत्र के बाद बालाघाट जिला म.प्र. का कतला मछली बीज का सबसे अधिक उत्पादन करने वाला राज्य का दूसरा जिला बन गया है। बालाघाट जिले के मत्स्य बीज प्रक्षेत्र मुरझड़ पर इस वर्ष चार करोड़ शुध्द कतला बीज का उत्पादन किया गया है। कतला मछली का बीज जिले के मछुआरों को प्रदाय करने के साथ ही प्रदेश के अन्य जिलों को भी प्रदाय किया गया है। कम समय में तेजी से बढ़ने के कारण कतला मछली के बीज की मांग अधिक रहती है। उप संचालक श्री राय ने बताया कि जिले के मत्स्य बीज प्रक्षेत्र मुरझड़ में 5 से 6 करोड़ स्पान मत्स्य बीज उत्पादन की क्षमता है। इस वर्ष जिले को 15 करोड़ स्पान मत्स्य बीज उत्पादन का लक्ष्य दिया गया है। मुरझड़ प्रक्षेत्र की कम क्षमता एवं विरीत परिस्थितियों के बाद भी मत्स्य विभाग के कर्मचारियों के अथक प्रयासों से अब तक 13 करोड़ 70 लाख स्पान मत्स्य बीज का उत्पादन किया जा चुका है। 15 अगस्त तक 15 करोड़ स्पान उत्पादन के लक्ष्य को हासिल कर लिया जायेगा। श्री राय ने बताया कि जिले में तैयार किये मत्स्य बीज को जिले के मछुआरों को विक्रय करने के साथ प्रदेश के 12 अन्य जिलों को भी मत्स्य बीज प्रदाय किया गया है। मंदसौर जिले को 7 लाख, दमोह को 20 लाख, भोपाल को 30 लाख, नरसिंहपुर को 50 लाख, उज्जैन को 85 लाख, रतलाम को 60 लाख, शाजापुर को 36 लाख, मंडला को 20 लाख, सिहोर को 40 लाख, बैतूल को 40 लाख, ग्वालियर को 44 लाख तथा छिंदवाड़ा को एक करोड़ मत्स्य बीज स्पान का प्रदाय किया गया है। जिले के मत्स्य बीज प्रक्षेत्र बालाघाट, तिरोड़ी, गर्रा, बम्हनवाड़ा एवं बैहर में मछुआरों को विक्रय के लिए 5 करोड़ स्पान मत्स्य बीज का संग्रहण किया गया है। शेष बचे बीज का संवर्धन कर उसे वर्षा ऋतु समाप्त होने पर नदियों के ढोह में डाला जायेगा। श्री राय ने बताया कि अब तक जिले के मछुआरों को 3 करोड़ 54 लाख स्पान मत्स्य बीज का विक्रय किया गया है। इससे 3 लाख रु. की आय विभाग को हुई है। तिरोड़ी प्रक्षेत्र पर सहायक मत्स्य अधिकारी श्री आर.के. पटेल द्वारा चायनिज कार्प के बीज का उत्पादन कराया गया है। मत्स्य बीज उत्पादन में लगातार वृध्दि होने से जिले में मत्स्य बीज की खपत भी बढ़ती जा रही है। मछुआरों की समितियों द्वारा पट्टे पर लिये गये तालाब में मत्स्य पालन का कार्य किया जा रहा है। मत्स्य पालन से मछुआरों की आय में भी ईजाफा हो रहा है और उनका जीवन स्तर भी बदलने लगा है।
प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं में रेडियो कार्यक्रम का प्रसारण प्रारंभ
राज्य शिक्षा केन्द्र के निर्देशानुसार जिले की शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं में 5 अगस्त 2013 से इंग्लिश लेवल-01, लेवल-02, झिलमिल एवं मीना की दुनिया कार्यक्रम का रेडियो से प्रसारण किया जा रहा है। शासकीय अवकाशों को छोड़कर प्रत्येक सोमवार से शुक्रवार को दोपहर 12 से 12.30 तक इग्लिश फन लेवल-01, सोमवार से बुधवार दोपहर 12.30 से एक बजे तक लेवल-02, गुरूवार से शुक्रवार दोपहर 12.30 बजे से एक बजे तक झिलमिल एवं सोमवार से शुक्रवार 2.45 से 3 बजे क मीना की दुनिया का प्रसारण किया जा रहा है। जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान डाईट के अकादमिक सदस्य श्री एम.के. शर्मा ने बताया कि राज्य शिक्षा केन्द्र से प्रसारित रेडियो कार्यक्रम को पड़ोसी राज्यों, महाराष्ट्र, उत्तरप्रदेश एवं राजस्थान में भी सराहा जा रहा है। जिले की प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं के प्रधानपाठकों को निर्देशित किया गया है कि वे बच्चों को रेडियो कार्यक्रम का प्रसारण अनिवार्य रूप से सुनायें। जहां पर नहीं सुनाया जा रहा है वहां पर रिकार्डिंग कर दूसरे दिन सुनाने कहा गया है।
जिले में 906 मि.मी. वर्षा रिकार्ड, बैहर तहसील में सबसे अधिक 1177 मि.मी. वर्षा
जिले में चालू वर्षा सत्र के दौरान एक जून से 07 अगस्त 2013 तक 906 मि.मी. औसत वर्षा रिकार्ड की जा चुकी है। जबकि गत वर्ष इसी अवधि में 653 मि.मी. वर्षा रिकार्ड की गई थी। जिले की औसत सामान्य वर्षा 1447 मि.मी. है। चालू वर्षा सत्र में सबसे अधिक 1177 मि.मी. वर्षा बैहर तहसील में तथा सबसे कम 572 मि.मी. वर्षा लांजी तहसील में रिकार्ड की गई है।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें