विश्व प्रसिद्घ महाबोधि मंदिर पर आयकर विभाग की नजर गई है। पहली बार आयकर विभाग ने महाबोधि मंदिर की देखरेख कर रही समिति को नोटिस जारी कर आय-व्यय का ब्योरा मांगा है। बेाधगया मंदिर प्रबंधन समिति (बीटीएमसी) के एक अधिकारी ने मंगलवार को बताया कि पहली बार आयकर विभाग द्वारा इस तरह का कोई नोटिस प्राप्त हुआ है। उन्होंने कहा कि इस नोटिस के जरिए समिति से आय-व्यय का पूरा ब्योरा मांगा गया है।
बताया गया कि 'महाबोधि मंदिर टेम्पल एक्ट 1949' बिहार विधान मंडल से वर्ष 1949 में पारित किया गया था। इसके बाद से यह पहला मौका है कि आयकर विभाग द्वारा नोटिस जारी किया गया है। सूत्रों के अनुसार बीटीएमसी में अब इस नोटिस का जवाब देने को लेकर मंथन किया जा रहा है। मंदिर में वर्ष 2012-13 में दान के रूप में छह करोड़ 29 लाख 73 हजार से ज्यादा रुपयों की आमदनी बताई जाती है।
मान्यता है कि ज्ञानस्थली के रूप में विश्वविख्यात बोधगया में महात्मा बुद्घ ने ज्ञान प्राप्त किया था। प्रतिवर्ष यहां विभिन्न देशों के लाखों बौद्घ धर्मावलंबी पहुंचते हैं और महाबोधि मंदिर और महाबोधि वृक्ष का दर्शन करते हैं।
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