विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान लगाते हुए कहा कि हर चीज लुटाकर देश नहीं चलाया जा सकता। गौरतलब है कि केजरीवाल ने जनता की समस्याओं के समाधान के लिए प्रणाली का गठन करने के लिए 10 दिन का समय मांगा है। इस पर विदेश मंत्री ने कहा कि आम आदमी पार्टी (आप) के नेताओं पर अभी जीत और सत्ता का सुरूर छाया हुआ है। इसीलिए केजरीवाल ने 10 दिन का समय मांगा है। वह अभी जीत और सत्ता की खुमारी में हैं।
खुर्शीद ने केजरीवाल को बड़बोला बताते हुए कहा कि मोदी और केजरीवाल ऐसी ढोलक हैं, जिनके सुर उन्हीं को समझ में आते हैं, जो ढोलक की ताल पर संगत करते हैं। भावुक होकर सरकारें नहीं चला करतीं। हर चीज लुटाकर देश नहीं चलाया जा सकता। दिल्ली में कांग्रेस और 'आप' के बीच समझौता होने के बीजेपी नेता नितिन गडकरी के आरोप को खुर्शीद ने सिरे से खारिज कर दिया। खुर्शीद ने कहा कि गडकरी को बताना चाहिए कि किस उद्योगपति ने वह 'डील' कराई थी। उन्होंने मुजफ्फरनगर में यूपी सरकार द्वारा दंगा पीडितों के शिविरों को जबरन हटाने को अमानवीय करार दिया और कहा कि पीड़ितों को घर भेजना तो ठीक है, लेकिन इसके लिए जो तरीके आजमाए जा रहे हैं, वह गलत हैं।
खुर्शीद ने एसपी सुप्रीमो मुलायम सिंह के उस बयान को गलत ठहराया, जिसमें मुलायम ने दंगा पीड़ितों के राहत शिविर में रहने वालों को कांग्रेस और बीजेपी के षड्यंत्रकारी कहा था। उन्होंने कहा कि सभी ने इस बयान की भर्त्सना की थी। पीड़ितों को उनके गांव में सुरक्षा मुहैया करायी जानी चाहिए। हाल में हुए दिल्ली समेत 4 राज्यों के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की करारी हार के सवाल पर खुर्शीद ने कहा कि पहले भी कई बार ऐसा हुआ है, पर कांग्रेस हर बार मजबूत होकर उभरी है।
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