पटना, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के बिहार राज्य सचिवमंडल ने निम्नांकित बयान प्रकाशनार्थ प्रसारित किया है:- दक्षिण अफ्रीका के नस्लवाद-विरोधी एवं राष्ट्रीय मुक्ति आंदोलन के नेता नेलसन मंडेला के निधन पर भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी का बिहार राज्य सचिवमंडल गहरा शोक प्रगट करता है।
शांति के लिए नोबेल पुरस्कार से सम्मानित 95 वर्षीय नेलसन मंडेला बीसवीं सदी के सर्वोच स्वतंत्रता सेनानी थे। वह 27 वर्षोें तक श्वेत नस्लवादी ब्रिटिश तानाशाहों की जेल में गुजारे। उनकी जवानी का बड़ा हिस्सा जेल में गुजरा । दक्षिण अफ्रीका में नस्लवाद के खातमे का उनका संघर्ष महात्मा गाँधी द्वारा प्रेरित था। वह नस्लवाद-विरोधी आंदोलन के प्रतीक हैं।
उनका वीरतापूर्ण संघर्ष और नेतृत्व की अद्भुत क्षमता की बदौलत आखिरकार 1994 में वहां अत्यंत अमानवीय एवं शर्मनाक नस्लवादी शासन का अंत हुआ। इसके लिए उन्होंने कुशलतापूर्वक कम्युनिस्टों, लोकतांत्रिक शक्तियों और तमाम नस्लवाद-विरोधियों को एकजुट किया। नस्लवाद के खातमे के बाद नये दक्षिण अफ्रीका के निर्माण के लिए श्वेत जनता के साथ सद्भाव कायम किया जिसके लिए उन्हें नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
वह स्वतंत्र दक्षिण अफ्रीका प्रथम राष्ट्रपति चुने गये पर इस पद पर वह सिर्फ एक बार पाँच वर्षों तक रहे और फिर अपने सहयोगियों के लिए पद छोड़ दिया। दुनिया के सबसे बड़े राजनेता के रूप में वह हमेशा याद किये जाएंगे। राज्य सचिवमंडल इस महान स्वतंत्रता सेनानी और राजनेता को हार्दिक श्रद्धांजलि अर्पित करता है और उनके परिजनों तथा दक्षिण अफ्रीका की जनता को समवेदना प्रेषित करता है।
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