आगामी लोकसभा चुनावों के लिए मतदान अप्रैल के दूसरे सप्ताह (7 से 10 अप्रैल) से मई के बीच होने की संभावना है, जो सात चरणों में हो सकते हैं. सूत्रों ने रविवार को यह जानकारी देते हुए बताया कि चुनाव कार्यक्रम की औपचारिक घोषणा इस सप्ताह के मध्य में हो सकती है. चुनाव आयोग ने गरमी की वजह से कार्यक्रम को आगे बढ़ाने या सीमित करने के सुझाव को खारिज कर दिया है. आयोग द्वारा पिछले महीने बुलायी गयी सर्वदलीय बैठक में इस तरह की मांगें उठी थीं.
चुनाव आयोग के सूत्रों के मुताबिक मतदान शुरू होने की तारीख संभवत: 7 से 10 अप्रैल के बीच हो सकती है. हालांकि चुनाव कार्यक्रम को अंतिम रूप देने का कार्य जारी है. फिलहाल सात चरणों का विचार है जिसे कम करके छह चरणों तक सीमित करने के प्रयास किये जा रहे हैं. 2009 के लोकसभा चुनाव 16 अप्रैल से 13 मई के बीच पांच चरणों में हुए थे.
केंद्रीय गृह मंत्रालय, राज्य सरकारों, अर्धसैनिक बलों और राज्यों के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों के साथ विचार -विमर्श पूरा हो चुका है. सूत्रों ने कहा कि बलों के अधिक से अधिक इस्तेमाल की योजना है. पहले चरण में कुछ नक्सल प्रभावित राज्यों और कुछ पूर्वोत्तर राज्यों में मतदान होने की संभावना है. आंध्र प्रदेश, ओड़िशा और सिक्किम विधानसभाओं के चुनाव भी होंगे.
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