चुनाव आयोग ने बीजेपी के पीएम कैंडिडेट नरेंद्र मोदी पर कार्रवाई का आदेश दिया है। आठवें चरण की वोटिंग के दौरान गांधीनगर में वोट डालने के बाद मोदी के कमल निशान दिखाने और प्रेस कॉन्फ्रेंस में भाषण देने के बाद कांग्रेस ने चुनाव आयोग से इसकी शिकायत की थी। चुनाव आयोग ने धारा 126 (1) (बी) के उल्लंघन के लिए गुजरात के मुख्य सचिव और डीजीपी को मोदी पर कार्रवाई करने का आदेश दिया है।
जनप्रतिनिधित्व कानून की धारा 126 (1) (बी) के तहत मतदान संपन्न होने के निर्धारित समय से 48 घंटे पहले कोई भी व्यक्ति न तो चुनाव से जुड़ी किसी जनसभा को संबोधित कर सकता है और न जुलूस निकाल सकता है। प्रावधान के तहत, सिनेमेटोग्रफी, टीवी या ऐसे ही किसी अन्य माध्यम के जरिए किसी चुनावी मामले पर कुछ भी प्रसारित नहीं किया जा सकता।
कांग्रेस ने वडोदरा व वाराणसी से मोदी की उम्मीदवारी खारिज करने की मांग की है। आम आदमी पार्टी ने भी वोटिंग के बाद मोदी द्वारा पार्टी का सिंबल दिखाए जाने पर आपत्ति जताई थी। 'आप' के नेता आशुतोष ने ट्वीट किया कि वोट डालने के दिन बीजेपी घोषणापत्र जारी करती है, दूसरे मतदान के दिन मोदी रोड शो करते हैं और अब पार्टी सिंबल के साथ प्रेस कॉन्फ्रेंस, क्या चुनाव आयोग संज्ञान लेगा? हालांकि बीजेपी ने भी इस मामले में पलटवार किया है। पार्टी के नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा है, 'मोदी कमल निशान नहीं दिखाते तो क्या बनियान दिखाते?' नकवी ने ट्विटर पर भी लिखा, 'बीजेपी कैंपेन में व्यस्त है तो कांग्रेस कम्प्लेन में।'
मोदी ने सुबह करीब 9 बजे पार्टी के दिग्गज नेता लालकृष्ण आडवाणी के संसदीय क्षेत्र गांधीनगर में अपना वोट डाला। वोट डालने के बाद वह मीडिया को संबोधित करने पहुंचे और उंगली पर लगे निशान के साथ-साथ अपने कपड़े पर लगे रहने वाले कमल के निशान को हाथ में लेकर दिखाने लगे। गौरतलब है कि इन दिनों उनके कुर्ते या कोट में कमल का निशान लगा होता है।
मोदी ने इस दौरान अपने मोबाइल से खुद की सेल्फी भी खींची। पूरी प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान मोदी कमल निशान को हाथ में लिए रहे और कैमरे के सामने दिखाने की कोशिश करते नजर आए। मोदी ने गांधीनगर में वोट डालने के बाद कहा कि यह सौभाग्य की बात है कि मुझे आडवाणी के संसदीय क्षेत्र में वोट डालने का मौका मिला है। मीडिया से बातचीत में मोदी ने कहा, 'कांग्रेस ने हार स्वीकार कर ली है। मां-बेटे की सरकार जा रही है। देश अब मजबूत सरकार के लिए वोट डाल रहा है।'
मोदी ने गुजरात के मतदाताओं से माफी मांगते हुए कहा कि वह राज्य को चुनाव प्रचार अभियान के दौरान सिर्फ 18 घंटे दे पाए हैं। उन्होंने कहा, 'पहले मैं गुजरात में ज्यादा वक्त देता था, लेकिन इस बार दो दिन में सिर्फ 18 घंटे दे पाया हूं।'
चुनाव आयोग को भेजी शिकायत में अखिल भारतीय कांग्रेस कमिटी के कानूनी विभाग के सचिव के सी मित्तल ने कहा कि न्यूज चैनलों पर दिखाए गए समाचार से यह पता चला कि मोदी गांधी नगर में वोट डालकर बाहर आने के बाद वह बीजेपी और खुद के लिए प्रचार कर रहे थे। इसमें आगे कहा गया है कि वह बीजेपी के लिए प्रचार करने के अंदाज में भाषण दे रहे थे। वह लोगों को पार्टी का चुनाव चिह्न दिखा रहे थे और अपना वोट डालने का संदेश देने के लिए स्याही के निशान वाली उंगली दिखा रहे थे।
कांग्रेस के प्रवक्ता मीम अफजल का कहना है कि बीजेपी के पीएम कैंडिडेट ने आचार संहिता का उल्लंघन कर अपनी पार्टी के सिंबल का प्रचार किया है। मोदी पर हमला करते हुए अफजल ने कहा कि वह घमंडी हैं और खुद को कानून से ऊपर मानते हैं। उन्होंने कहा, 'मोदी खुद को प्रधानमंत्री और कानून से ऊपर मानने लगे हैं। लेकिन वह यह भूल गए कि इस देश में प्रधानमंत्री भी कानून से ऊपर नहीं है।'
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