मामला स्कूलो मे विशयवार अध्यापको कि कमी का, स्कूलो के विशय विशेशज्ञ अध्यापक भटक रहे हे गाॅवो मे जनशिक्षक बनाने से बडी हे समस्या
पारा---क्षेत्र के हाई स्कूल व हायर सैकेन्ड्री स्कूलो विगत तिन चार वर्शो से विशय वार शिक्षको कि कमी के कारण स्कूलो का वार्शिक परीक्षा का परिणाम साल दर साल कम आ रहा हे।जिसके चलते ग्रामीण क्षेत्र के विधार्थी व उनके परिजनो का क्षेत्र के शासकिय स्कूलो से मोह भंग होता जा रहा हे। ग्रामीण क्षेत्र के अधिकांश बच्चे अच्छे शिक्षण के लिए शहरो कि तरफ उत्कृश्ट स्कूल या निजि स्कूलो की ओर आकृशित हो रहे हे वही गरिब व मध्यम वर्गीय परिवार के लोग जो कि इन स्कूलो का खर्च उठाने मे सक्षम नही हे वो असूविधाओ के बिच पढने को मजबूर हे।
स्ंाकूल व्यवस्था ने बिगाडा ढर्रा---राज्य शासन ने जिले मे स्कूलो कि मानिटरींग के लिए संकूल व्यवस्था लागू कर रखी हे जिसके चलते संकूल क्षेत्र के स्कूलो कि मांनिटरीग के लिए स्कूलो के अध्यापको को जनशिक्षक बनाकर मानिटरींग कार्य सोप रखा हे प्रत्येक संकूल मे करिब 30-35 स्कूल आते हे हर संकूल मे दो जनशिक्षक बनाए गए हे। जनशिक्षक बनाए गए लगभग सभी अध्यापक किसी न किसी विशय के विशेशज्ञ हे जो कि प्रति दिन क्षेत्र के स्कूलो की जानकारी एकत्रित कर संकूल प्रभारी को देते हे ऐसे मे ये अध्यापक स्कूलो कि मानिटरींग के चक्कर मे इधर उधर भटकते रहते हे व अपनी शिक्षण संस्थाओ मे समय नही दे पाते हे जिससे स्कूलो का वार्शिक परिणाम प्रभावित हो रहा हे व इसी कारण स्कूलो विशय विशेशज्ञ अध्यापको कि अधोशित रूप से कमी हे।
पारा मे स्कूलो के ये हे हालात--- पारा मे कन्या हायर सेकेन्ड्री व बालक हायर सेकैन्ड्री दो संकूल हे दोनो संकूल मे तिन जनशिक्षक हे। दोनो ही स्कूलो मे विज्ञान व गणित विशय पढने कि सूविधा हे पर अघोशीत रूप से इन दोनो ही स्कूलो मे गणित व विज्ञान के भोतिक विज्ञान,रसायन विज्ञान, जिव विज्ञान व गणित विशय के अघ्यापको की कमी हे।उक्त दोनो ही स्कूलो के गणित व विज्ञान विशय के अध्यापक शासन के आदेश से जन शिक्षक बनकर ग्रामीण क्षेत्र की खाक छानने को मजबूर हे। इन स्कूलो मे विज्ञान विशयो मे पढने वाले बच्चो का भविश्य खराब हो रहा हे।
ये हे दोनो स्कूलो मे विज्ञान समूह के बच्चो स्थिति--- कन्या हायर सेकेन्ड्री स्कूल मे कक्षा 9 वी मे173 व कक्षा 10वी मे 170 बच्चे विज्ञान व गणित विशय लेकर पढ रहे हे वही कक्षा 11वी मे 80 व कक्षा12 वी मे 76 बच्चे जिव विज्ञान लेकर अध्ययन कर रहे हे।यहा पर गणित विशय पढने कि सूविधा शूरू सेही उपलब्ध नही हे जब की इस स्कूल मे गणितव विज्ञान विशय को पढाने वाले अध्यापक गण मोजूद हे। बालक हायर सेकेन्ड्री स्कूल मे कक्षा 9वी मे149 व कक्षा 10 मे 144 बच्चे गणित व विज्ञान विशय के साथ पढ रहे हे वही कक्षा 11 वी मे 46 कक्षा 12 वी 78 मे बच्चे जिव विज्ञान विशय लेकर पढ रहे हे जबकी इस स्कूल मे विज्ञान के साथ गणित विशय भी बच्चो के लिए उपलब्ध हे पर विडम्बना यह हे कि गणित विशय के शिक्षक के अभाव मे यहा एक भी बच्चे को गणित विशय मे प्रवेश नही दिया गया।वही यहा के कूछ बच्चे गणित विशय के लिए झाबआ के रातितलाई स्कूल मे प्रवेश लेने गए तो उन्हे यह कह कर लोटा दीया कि वही पर गणित के अध्यापक की व्यवस्था करदी जावेगी।वही एग्रीकल्चर विशय मे कक्षा 11 वी मे 71 व 12 मे 18 छात्र हे जब की इस विशय मे भी एग्रीकल्चर का एक भी अध्यापक नही हें कूल मिला कर बालक हायर सेकेन्ड्री स्कूल मे 12 पद विशयवार अध्यापको के रिक्त हें। ऐसे अभाव मे स्कूलो का परिक्षा परिणाम आखीर सूधरे तो केसे सूधरे।
अधिकारीयो द्वारा कि जारही अनदेखी---शिक्षा कि गूणवत्ता मे सूधार लाने के लिए शासन चाहे लाख प्रयास करे पर स्थानीय अधिकारी उसमे पलीता लगाने मे कोई कसर नही छोडते।स्थानिय अधिकारी जहा कर्मचारी उपलब्ध हे वहा उनसे कार्य लेना नही चाहते ओर जहा नही हे वहा उपलब्ध नही करवाते अधिकारीयो द्वारा कि जारही इस अनदेखी के चलते जहा परिक्षा परिणाम प्रभावित हो रहा हे वही ग्रामीण क्षेत्र के स्कूलो मे बच्चो का भविशय खराब हो रहा हे।
ये कहना हे इनका--शिक्षको कि कमी पूरी करने के लिए अतिथी शिक्षक रखने के आदेश आगए हें।कन्या स्कूल मे विज्ञान व गणित के जो शिक्षक जनशिक्षक बनाए गए हे वो प्रशासन का आउटलूक हे।
जैसा खाओेगें अन्न वैसा हो जायेगा मन: आचार्य रवीन्द्रसूरि
राजगढ़-- मोहनखेडा सामुहिक गुरूवंदन के पश्चात् शासनप्रभावक आचार्यदेवेश श्रीमद्विजय रवीन्द्रसूरीश्वर जी म.सा. ने आराधको को प्रेरक उद्बोधन देते हुआ कहा कि ध्यान हमेशा भूखे पेट ही किया जाता है जीवन में अन्न से बड़ा कोई नशा नहीं होता है । नशा जीवन के लिये बहुत जरुरी है और बिना नशे के धर्म भी नही कर सकते थे हम जो अन्न खा रहे है उसमें भी पेट भरने के बाद बहुत नशा चढ़ता है हम अन्न को उपकार के भाव से ग्रहण करें । प्रभु ने कहा है ’परस्परग्रहों जीवाणाम’ बिना अन्न के हम जीवित नहीं रह सकते । उपवास भले ही हम 100 दिन के कर ले परन्तु अन्न की गर्मी आत्मा व शरीर के लिये आवश्यक है । जब हमें पेट भर खाना मिलता है तब हम झूठा छोड़ते है मानव को जीवित रहने के लिये मात्र 2 मुठ्ठी अनाज, हाथी को मण, चीटी को कण की आवश्यकता होती है । भोजन को श्रृद्धा और भावों के साथ ग्रहण करें । माॅं के हाथों से दिया हुआ भोजन अमृतमय होता है । बदलते परिवेश में हमारे परिवारों में नौकर एवं नौकरानीयों ने स्थान ले लिया है यहा घरों में पैसों का आगमन हो चूका है हम धर्म से दूर होते जा रहे है अमृतमय भोजन से हम दूर हो चूके है ’जैसा खाओेगें अन्न वैसा हो जायेगा मन’ ’जैसा पियोगे पानी वैसी हो जायेगी वाणी’ यदि जीवन में झूठा पानी पिया तो वाणी शुद्ध कहां रहेगी । नौकरों के बीच में पला हुआ बच्चा संस्कार युक्त बनकर भविष्य में आपका मान सम्मान करेगा यह कल्पना करना कहा तक उचित है इसी कारण हमारे परिवार पतन की और जा रहे है हमारे समाज के संगठन बिखरते जा रहे है परिवार इकाईयों में विभाजित होता जा रहा है इसका मुख्य कारण हमारा आहार ही अशुद्ध है इसी वजह से हम विनयवान नहीं बन पा रहे है हम खेत में धतुरे के बीज बो रहे है और गुलाब के फुलों की प्राप्ति की आशा करते है । जब परिवार की ही व्यवस्था सही नही है तो धर्म के अच्छे संस्कार परिवार में कहा से आयेगे । सुख और दुःख मिटाने के लिये व्यक्ति उपवास करता है जब पेट खाली रहेगा तो व्यक्ति का ध्यान पेट की और एकाग्र हो जायेगा जब पेट भरा हुआ रहेगा व्यक्ति के मन में अच्छे बूरे विचारों का आवागमन शुरु हो जायेगा । मन को यंत्र वत्त बनाने के लिये आत्मा की आवाज सुनने के लिये पेट को खाली रखा जायेगा तो व्यक्ति सिर्फ पेट की आवाज ही सुनेगा । मन एवं तन को जोड़ कर व्यक्ति जीवन में उच्च कोटि के कर्म कर सकता है । संकल्पवान व्यक्ति देवताओं के सिंहासन भी हिला देता है देवता भी ऐसे संकल्पवान व्यक्ति से खतरा महसूस करते है इस लिये देवता भी मनुष्य को उसके संकल्प तक पहुंचने में अडचन पैदा कर देते है । मुनि श्री रजतचन्द्रविजयजी म.सा. ने ’धर्मबिन्दु शास्त्र’ के प्रारम्भ भूमिका में मंगलाचरण पर व्याख्या करते हुऐ कहा कि जीवन में किसी भी शुभ कार्य करने से पहले मंगलाचरण का बड़ा महत्व माना गया है जिससे शुभ कार्य में अमंगल का कोई स्थान नहीं होने की स्थिति बने । इस सागर रुपी शास्त्र में शब्द कोष के गागर रुपी सागर भरा हुआ है । आचार्यश्री ने 1444 ग्रंथों की रचना पश्चाताप एवं प्रतिज्ञा के तोर पर की थी । श्री मोहनखेडा तीर्थ पर दादा गुरूदेव श्रीमद्विजय राजेन्द्रसुरीश्वरजी म. सा. की पाट परम्परा के शासनप्रभावक सप्तम पटधर वर्तमान प.पू. गच्छााधिपति आचार्यदेवेश श्रीमद्विजय रवीन्द्रसूरीश्वरजी म.सा., ज्योतिषम्राट मुनिप्रवर श्री ऋषभचन्द्रविजयजी म. सा., मुनिराज श्री पीयूषचन्द्रविजयजी म.सा., मुनिराज श्री रजतचन्द्रविजयजी म. सा. शासन ज्योति साध्वी श्री महेन्द्रश्रीजी म. सा., सेवाभावी साध्वी श्री संघवणश्रीजी म.सा. आदि ठाणा की पावनतप निश्रा में यशस्वी चातुर्मास प्रारम्भ हो चुका है। श्री मोहनख्.ोडा तीर्थ में 1 हजार सें अधिक आराधक आराधना कर रहे है। श्री मोहनखेडा तीर्थ पर चातुमार्स के दौरान 20 जुलाई से श्री शंखेश्वर पाश्र्वनाथ प्रभु के अट्ठम तप की आराधना, आज से 45 दिन की सिद्वितप आराधना प्रारम्भ । यहा पर नियमित रूप सें जय तलेटी की यात्रा, भक्तामर पाठ, गुरू चालीसा, चैत्यवंदन, देववंदन, गुरूवंदन, प्रवचन, सामायिक, प्रतिक्रमण, पुजा, अर्जना आदि क्रिया समता के भावो के साथ चल रही है। 18 जुलाई की जय तलेटी यात्रा के संघपती बनने का लाभ श्री गणेशमलजी चुन्नीलालजी पावा वालो ने लिया । तीर्थ पर सांकली अट्ठम तपाराधना निरन्तर गतिमान है
कम्प्यूटर संचालन के लिए आवेदन आमंत्रित
झाबुआ --- प्राचार्य शा.महाविद्यालय थांदला ने बताया कि शासकीय महाविद्यालय थांदला जिला झाबुआ में 01 पूर्णतः अस्थाई कम्प्यूटर संचालक की आवश्यकता है। किसी भी विषय में स्नातकोत्तर उपाधि के साथ 1 वर्ष की कम्प्यूटर डिग्री अनिवार्य है। अनुभव के अंक पृथक से दिये जायेगे। अतः समाचार प्रकाशन तिथि से 15 दिवस के अन्दर इस महाविद्यालय में आवेदक अपने आवेदन प्रस्तुत करे। पारिश्रमिक कलेक्टर दर के अनुसार दिया जावेगा।
6 वर्ष के कमलेश को हद्ृय सर्जरी के लिए 90 हजार की सहायता स्वीकृत
झाबुआ ----राज्य बीमारी सहायता निधि मुख्यमंत्री बाल हद्य योजना अन्तर्गत बीमारी उपचार हेतु कमलेश पिता रामचन्द्र मैडा उम्र 06 वर्ष वा.क्र.08 फडवास पेटलावद जिला झाबुआ द्वारा उपचार के लिए आवेदन प्रस्तुत किया गया। आवेदक बी.पी.एल. ए.पी.एल श्रेणी में आता है मुख्य मंत्री बाल हदृय सहायता निधि अन्तर्गत आॅपरेशन उपचार के लिए संयुक्त संचालक स्वास्थ्य सेवायें इन्दौर संभाग इन्दौर की अनुमति उपरान्त संचालक भोपाल मेमोरियल अस्पताल एण्ड रिसर्व सेन्टर रायसेन बाई रोड करोन्द चैराहा भोपाल को कमलेश के दिल के छेद की सर्जरी आॅपरेशन के लिए 90 हजार रूपये जारी कर दिये गये है।
कलेक्टर ने कर्मचारियों की समस्याओं के निराकरण के लिए दिये निर्देश
- संयुक्त परामर्शदात्री समिति की बैठक संपन्न
झाबुआ ----कलेक्टर कार्यालय के सभाकक्ष में आज 17 जुलाई को कर्मचारियों की समस्याओं के समाधान के लिए जिला स्तरीय संयुक्त परामर्श दात्री समिति की बैठक संपन्न हुई। बैठक की अध्यक्षता कलेक्टर बी.चन्द्रशेखर ने की। बैठक में कलेक्टर ने निर्देशित किया कि सभी जिला अधिकारी यह सुचिश्चत करे कि सहायक ग्रेड-2 एवं सहायक ग्रेड-3 की पदोन्नति समय पर की जाये। कर्मचारियों के आवासीय भूखण्डों का विकास कर कर्मचारियों को 30 अक्टूबर तक भूखण्ड आवंटित करे। आवासीय कांलोनी मंे पीएचई विभाग टंकी जल्द से जल्द बनवाये। जिन शासकीय सेवको के पास अपने स्वयं के आवास है, वे शासकीय आवास गृह रिक्त करे ताकि जिन्हें आवश्यकता है, उन्हें दिये जा सके। सभी जिला अधिकारी यह सुनिश्चित करे कि कर्मचारियों से संबंधित कोई सरक्यूलर आता है, तो संघ के पदाधिकारी को तुरंत उपलब्घ करवाये। सभी शासकीय सेवको को वेतन पर्ची प्रतिमाह देना सुनिश्चित करे। सभी जिला अधिकारी कर्मचारियों की पदक्रम सूची नियमानुसार प्रतिवर्ष जारी करे। सिविल सर्जन स्वास्थ्य सेवकों की एवं सभी विभागीय अधिकारी अपने शासकीय सेवको की सेवा पुस्तिका में सभी प्रविष्टियां करवाये एवं सेवा पुस्तिका की द्वितीय प्रति कर्मचारी को उपलब्ध करवाये। एनआरएचएम में कार्यरत संविदा कर्मचारी निर्धारित अवधि में अनुबंध निष्पादित करे, सीएमएचओ समय-सीमा में अनुबंध नहीं भरने वाले संविदाकर्मी को सेवा से बाहर कर दे या उससे अनुबंध करवाये। मैदानी वनकर्मियों को जो वर्दी दी जा जाना है, उसकी राशि संबंधित कर्मचारी के बैंक खातें में डाली जाये। सभी विभाग अपनी विभागीय परामर्श दात्री समिति की बैठक जुलाई माह में कर कार्यवाही विवरण कलेक्टर कार्यालय को उपलब्घ करवाये। कर्मचारी संघ जिला स्तरीय अधिकारी को अपने प्रतिनिधि का नाम दे ताकि विभागीय जिला अधिकारी बैठक आयोजित कर सके। जिला अधिकारी द्वारा शासकीय सेवक जिन्हें वर्दी दी जाना है, उन्हें वर्दी प्रदाय करने के लिए निर्धारित राशि उनके खातें में अंतरित की जाये एवं कंट्रोलिंग अधिकारी संबंधित कर्मचारी से यह लिखित में ले कि उसने वर्दी खरीद ली है एवं वह कार्यालय में धारण करेगा। कलेक्टर कार्यालय परिसर में एसबी आई की बैंक शाखा पुनः खोलने का प्रस्ताव संगठनो ने रखा। जल संसाधन विभाग एवं आरईएस विभाग शासकीय सेवकों के यात्रा देयको का भुगतान तुरंत करना सुनिश्चित करे। समिति की बैठक निर्धारित अवधि में हो एवं बैठक के 15 दिवस पूर्व संगठनों से एजेन्डा मंगवाने के लिए सूचना दी जाये। निर्वाचन कार्य में लगे जिन कर्मचारियों अधिकारियों को विधानसभा एवं लोकसभा का मानदेय नहीं दिया गया है। उन्हें निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार मानदेय देने के लिए उप जिला निर्वाचन अधिकारी को कलेक्टर श्री बी.चन्द्रशेखर ने निर्देशित किया। शासकीय आवासों की मरम्मत करवाने के लिए पीडब्ल्यू डी विभाग को निर्देशित किया। बैठक में विभिन्न कर्मचारियों संगठनों के प्रतिनिधि एवं विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।
जमीन पर अवैध कब्जा करने पर अपराध पंजीबद्व
झाबूआ---फरियादी कीर्तिसिंह पिता स्व0 जीतसिंह ठाकुर, उम्र 57 वर्ष, निवासी बोरी ने बताया कि आरोपी पिंजु पिता नजरू भूरिया, निवासी रातीमाली ने उसकी जमीन पर अवैध कब्जा कर सीमेण्ट के खम्बे गाड़ दिये। प्रकरण में थाना कोतवाली झाबुआ में अपराध क्रमांक 529/2014, धारा 447 भादवि का पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया।
गंभीर अपराध में फरार 11 आरोपियो की गिरफतारी पर नगद ईनाम की उदघोषणा
झाबूआ---वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक एस0पी0सिंह ने बताया कि आरोपी कैलाश पिता मेसु वसुनिया भील निवासी झायडाका होकर थाना कल्याणपुरा के अप0क्र0 135/14 धारा 363,366 भादवि में दिनांक 14.5.14 से फरार है। फरार आरोपी कैलाश को गिरफतार करेगा या करवायेगा या ऐसी सूचना देगा, जिसके आधार पर आरोपी की गिरफतारी संभव हो सके, ऐसे व्यक्ति को आरोपी की गिरफतारी की सूचना देने पर 1000/-रू0 से नगद पुरूस्कृत किया जावेगा। उक्त सूचना थाना प्रभारी कल्याणपुरा, के0एल0 बरकडे के मो0 नंबर 7049140213 एवं कन्ट्रोल रूम झाबुआ के दूरभाष क्रमांक 07392-243169 पर सूचना देवे। आरोपी संतोष पिता कमल सेन, मनीष पिता बसंतीलाल अरोडा, श्रीमती कोमल पति कमल सेन निवासीगण एकता कालोनी अलीराजपुर हाल मुकाम भाभरा के होकर थाना अजाक झाबुआ के अप0क्र0 02/14 धारा 366,376,506,34 भादवि एवं 3(2)5 अजा/जजा (अत्या.निवा.) में दिनांक 23.10.2013 से फरार है। फरार आरोपी मनीष, श्रीमती कोमल को जो भी व्यक्ति गिरफतार करेगा या करवायेगा या ऐसी सूचना देगा, जिसके आधार पर आरोपी की गिरफतारी संभव हो सके, ऐसे व्यक्ति को आरोपी की गिरफतारी की सूचना देने पर 1000-1000/-रू0 से नगद पुरूस्कृत किया जावेगा। उक्त सूचना थाना अजाक झाबुआ, श्रीमती लक्ष्मी सैतिया के मो0 नंबर 9630722617 एवं कन्ट्रोल रूम झाबुआ के दूरभाष क्रमांक 07392-243169 पर सूचना देवे। आरोपी राकेश पिता फरू डामोर भील निवासी दिलीप गेट झाबुआ का होकर थाना रानापुर के अप0क्र0 147/14 धारा 363 भादवि में दिनांक 12.5.14 से फरार है। फरार आरोपी राकेश को जो भी व्यक्ति गिरफतार करेगा या करवायेगा या ऐसी सूचना देगा, जिसके आधार पर आरोपी की गिरफतारी संभव हो सके, ऐसे व्यक्ति को आरोपी की गिरफतारी की सूचना पर 1000/-रू0 से नगद पुरूस्कृत किया जावेगा। आरोपी दीपक पिता सुरेश जाति पिप्लोन्दा कनाडी निवासी इंदरा नगर भोपाल का होकर थाना रानापुर के अप0क्र0 144/14 धारा 363 भादवि में दिनांक 09.5.14 से फरार है। फरार आरोपी दीपक को जो भी व्यक्ति गिरफतार करेगा या करवायेगा या ऐसी सूचना देगा, जिसके आधार पर आरोपी की गिरफतारी संभव हो सके, ऐसे व्यक्ति को आरोपी की गिरफतारी की सूचना देने पर 1000/-रू0 से नगद पुरूस्कृत किया जावेगा। उक्त सूचना थाना प्रभारी रानापुर, श्री त्रिलोकचंद्र पंवार के मो0 नंबर 9479994520 एवं कन्ट्रोल रूम झाबुआ के दूरभाष क्रमांक 07392-243169 पर सूचना देवे। आरोपी 1. नवलसिंह पिता अनसिंह निवासी रोटला, 2. पप्पू पिता बसू भूरिया, निवासी बडी गोला 03. तारसिंह पिता जयराम वाखडा, निवासी माछलिया 4. रमेश पिता धन्ना भील निवासी माछलिया 05. बदरू पिता प्रताप भील निवासी माछलिया के होकर थाना कोतवाली झाबुआ के अप0क्र0 536/13 धारा 395 भादवि में दिनांक 05.10.13 से फरार है। फरार आरोपियो को जो भी व्यक्ति गिरफतार करेगा या करवायेगा या ऐसी सूचना देगा, जिसके आधार पर आरोपी की गिरफतारी संभव हो सके, ऐसे व्यक्ति को आरोपी की गिरफतारी की सूचना देने पर 2000-2000/-रू0 से नगद पुरूस्कृत किया जावेगा। उक्त सूचना थाना प्रभारी कोतवाली झाबुआ आर0सी0 भाकर के मो0 नंबर 7049140507, 9752255506 एवं कन्ट्रोल रूम झाबुआ के दूरभाष क्रमांक 07392-243169 पर सूचना देवे। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने जनता से यह अपील की है कि यदि उन्हें उपर्युक्त आरोपियों के बारे में जानकारी हो तो अवगत करावें। सूचना देने वाला का नाम गोपनीय रखा जावेगा।
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