केन्द्र के फैसले के बाद वनभूमि के चक्कर में उलझी योजनाओं के खुले रास्ते
देहरादून, 14 जुलाई (राजेन्द्र जोशी)। उत्तराखंड वनों से भरा पुरा क्षेत्र है, इस क्षेत्र के पहाड़ और जंगल भले ही पूरे देश को प्राणवायु के रूप में करोड़ो की राशि दे रहे है पर यही वन उत्तराखण्ड की विकास की राह में रोड़ा बन रहे है। सच तो यही है कि पहाड़ों का विकास इन वनों के कारण रूक रहा है जिस पर सरकारें प्रयास तो कर रही पर उनका लाभ आम आदमी को नही मिल पा रहा है। गौरा देवी ने चिपको आंदोलन के माध्यम से जिन पेड़ो की बचाने की मुहिम चलाई थी, जिसे चंडी प्रसाद भट्ट, सुन्दर लाल बहुगुणा जैसे अनगिनत लोगों ने अपना समर्थन दिया था, आज यही जंगल पहाड़ के विकास को रोकने का काम कर रहे है। आंकड़े बताते है लगभग पांच सौ प्रकरण सड़कों, परियोजनाओं तथा अन्य व्यवस्थाओं के ऐसे है जिन पर वनभूमि के कारण ही अड़ंगा लगा हुआ है। उत्तराखण्ड के लगभग सभी 13 जिले इन मामले में फंसे हुए है। एकेले अल्मोड़ा जनपद के 65 ऐसे मामले है जो वन भूमि के कारण सिरे नही चढ़ पा रहे है। यही स्थिति अन्य जनपदों की भी है जिनमें राजधानी देहरादून भी शामिल है। अब नई केन्द्र सरकार ने ऐसे फैसले लिये है जिनसे इन अडचनों को दूर करने का रास्ता साफ हो रहा है। अब अड़चन दूर होने के बाद विकास को पर लगने की संभावनाए जगने लगी है। इन फैसलो में पांच हेक्टयेर तक वनभूमि हस्तांरण का अधिकार प्रदेश को दिया जाना है। प्रदेश के वन विभाग के दिये गये आंकड़ों को माना जाए तो उत्तराखण्ड में 70 फीसदी से अधिक क्षेत्र वनभूमि है। पूर्व सीएम एवं वर्तमान संासद डाॅ. रमेश पोखरियाल निशंक ने अपने कार्यकाल में इन वनों की एवज में करोड़ो की राशि पर्यावरणीय सेवा देने के लिए मांगी थी जिसे तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने पूरी तरह खारिज कर दिया था। आंकाड़ो की माने तो उत्तराखण्ड के हजारों हेक्टेयर में फैले वन एक सौ सात अरब रूपये की पर्यावरणीय सेवा दे रहे है जिनमें प्राणवायु आक्सीजन प्रमुख रूप से शामिल है। इसकी एवज में केन्द्र सरकार ने भी एक हजार करोड़ रूपये का हरियालाी बोनस देने को कहा था लेकिन अब तक राज्य को एक रूपया भी नही मिला है जो इस बात का संकेत है केन्द्र की तत्कालीन सरकार उत्तराखण्ड के प्रति न तो सजग थी और नही नवसृजत राज्य को लाभ पहुंचाना चाहती थी। समाजसेवी डाॅ. बालेश्वर पाल का कहना है कि पर्यावरण संरक्षण की दिशा में उत्तराखण्ड में श्रेष्ठ कार्य हो रहा है। इसके बावजूद केन्द्र ने प्रदेश को कुछ भी नही दिया था। उन्होंने कहा कि नई सरकार जो नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में केन्द्र में सत्तारूढ़ है उससे निश्चित रूप से कुछ ना कुछ लाभ प्रदेश को होगा। उन्होंने पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेयी का उल्लेख करते हुए कहा कि प्रदेश में कांग्रेस सरकार हाने के बावजूद बाजपेयी जी ने उत्तराखण्ड को विशेष राज्य को दर्जा दिया था पर कांग्रेस ने आते ही उसकी अवधि घटा दी जिससे प्रदेश का अच्छा खासा नुकसान हुआ। यही बात व्यवसाय से चिकित्सक पूर्व मुख्य भेषज विशेषज्ञ डाॅ. शम्भू शरण मिश्र भी मानते है। उनका कहना कि उत्तरखण्ड पा्रणवायु आक्सीजन का नही औषधीय पौधे का भी कोष है। रामायण काल में यही से संजीवनी बूटी ले जाकर हनुमान जी ने लक्ष्मण जी के प्राणों की रक्षा की थी । भले ही यह पुरानी बात हो गयी है पर आज भी उत्तराण्ड में ऐसे दुर्लभ औषधीय पौधे है जो पूरे देश को स्वास्थ्य की दृष्टि से स्वस्थ्य रख सकते है जो अपने आप में एक विशिष्ट उपलब्धता है। पृथक राज्य उत्तराखंड के तेरह जनपदों में से सभी जनपद वनों से घिरे हुए है। हरिद्वार, देहरादून, टिहरी, पौड़ी, बागेश्वर,चमोली, उधमसिंह नगर, नैनीताल, पिथौरागढ़ आदि वनों से अच्चाछित है । पहाड़ और वन दोंनों उत्तराखण्ड के आधार है लेकिन विकास योजनाओं को धरातल पर उतारने के लिए वनभूमि हस्तांरण जरूरी हंै। लगभग पांच सौ प्रकरण जो अब तक लंबित है इसी व्यवस्था के प्रतीक है। वन विभाग की सूत्रों की माने तो जो योजनाएं लंबित है उनमें सड़क शिक्षा, स्वास्थ्य बिजली, पानी जैसी योजनाएं शामिल है। से सभी योजनाएं कही ना कही वनों से होकर जाना जाती है अथवा वन भूमि अनके आड़े आ रही है। आंकड़े बताते है कि लगभग पांच सौ मंे से पौने तीन सौ योजनाएं अब क्रियान्वयन होने की स्थिति में हो रही है। इनकी पत्रवालियां चल रही है। कुछ प्रकरणों में सैद्वान्तिक स्वीकृति मिलने वाली है और कुछ में काम चलने वाला है। वन विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी का कहना है कि वर्तमान केन्द्र सरकार ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में पांच हेक्टेयर तक की वनभूमि का हस्तांरण का अधिकार प्रदेश सरकार को सौंप दिया है। जो उत्तराखण्ड जैसे राज्य के लिए वरदान साबित हो सकता है। यदि इस निर्णय पर अम्ल शुरू हो गयी तो लगभग सभी परियोजनाएं प्रदेश की वनभूमि क्षेत्र के कारण लंबित नही होगी और प्रदेश को इनका लाभ मिलने लगेगा।
स्कूल प्रबंधन के खिलाफ धरने पर बैठे शिक्षक
काशीपुर, 14 जुलाई (निस)। श्री गुरूनानक सीनीयर सैकेन्ड्री स्कूल के प्रबंधन द्वारा निकाले गए शिक्षकों ने जान से मारने की धमकी देने व पूर्व लिखित समझौते पर जबरन हस्ताक्षर कराये जाने के मामले में प्रशासन द्वारा अभी तक कोई कार्यवाही न होने के विरोध में तहसील परिसर में प्रशासन व स्कूल प्रबंधकों के खिलाफ जोरदार नारेबाजी कर प्रर्दशन करते हुए धरना शुरू कर दिया है। शिक्षकों ने प्रबंधकों से अपनी जान का खतरा बताया है। विदित हो कि कुंडेश्वरी रोड स्थित श्री गुरूनानक सीनीयर सैकेन्ड्री स्कूल प्रबंधन ने तीन शिक्षकों का गेट बंद कर दिया था। जबकि एक शिक्षक कुलविन्दर सिंह को स्कूल विरोधी गतिविधियों में लिप्त रहने के आरोप में निलम्बित कर दिया था। तभी से शिक्षक स्कूल के बाहर सड़क पर धरने पर बैठे थे, परन्तु स्कूल प्रबंधक नु पुलिस से साठगांढ कर उन्हें वहां से हटवा दिया। शिक्षकों का आरोप है कि उन्हें धरना-प्रर्दशन करने के लिए डराया धमकाया जा रहा है। कई बार प्रबंधन द्वारा उनके साथ मारपीट भी की गई। शिक्षकों का कहना है कि लगातार धमकाने से उनकी सुरक्षा को खतरा उत्पन्न हो गया है। बीते शनिवार को निकाले गए शिक्षकों ने तहसीलदार चतुर सिंह बिष्ट को सम्पूर्ण प्रकरण से अवगत करा स्कूल प्रबंधन से अपनी जान को खतरा बताते हुए सुरक्षा की गुहार लगाने के साथ ही शिक्षकों ने सुरक्षा न मिलने पर तहसील में धरना देने की चेतावनी दी थी। सोमवार को अपने तयशुदा कार्यक्रम के मुताविक पीडित शिक्षकों ने तहसील पहुंच प्रशासन व स्कूल प्रबंधकों के खिलाफ जमकर नारेबाजी कर प्रर्दशन करते हुए तहसील परिसर में धरना शुरू कर दिया है। उन्होंने चेतावनी दी है कि जब तक उनकी मांगे नही मान ली जाती तब तक उनका धरना-प्रर्दशन जारी रहेगा। धरने पर बैठने वालों में मनप्रीत सिंह, योगेश शर्मा, कुलविन्दर सिंह, दिनेश नेगी, महेश चन्द्र पड़लिया, सतीश चन्द्र, इन्द्रपाल सिंह, मनवर सिंह, सुखविन्दर सिंह आदि है।
सड़क दुर्घटना में तीन घायल
काशीपुर, 14 जुलाई (निस)। एक सड़क दुर्घटना में दम्पत्ति समेत तीन लोग गम्भीर रूप से घायल हो गये। उन्हे राजकीय चिकित्सालय लाया गया। जिनमें से एक युवक की हालत चिंताजनक होने पर चिकित्सकों ने उसे अन्यत्र रेफर कर दिया है। जानकारी के अनुसार बाजपुर रोड स्थित आलू फार्म की टावर कालौनी निवासी राजपाल (55) पुुत्र गंगाराम आज प्रात: अपनी पत्नि वीना (45) के साथ मोटरसाइकिल से किसी काम से काशीपुर आया था। वापस घर लौटते समय उनकी मोटरसाइकिल आलू फार्म के समीप प्राइमरी स्कूल मोड़ पर पैदल सड़क पार कर रहे राहगीर अभिषेक शुक्ला पुत्र महेशचंद्र शुक्ला से जा टकरा गई। जिससे मोटरसाइकिल असन्तुलित होकर सड़क किनारे फिसल गई। जिससे राजपाल, वीना व अभिषेक गम्भीर रूप से घायल हो गये। घायलों को उनके परिजनों द्वारा राजकीय चिकित्सालय में लाया गया। जहां अभिषेक की हालत को चिंताजनक देखते हुए चिकित्सकों ने अन्यत्र रेफर कर दिया है। अभिषेक मूल रूप से शाहजहांपुर का निवासी है। वह यहां एक स्टील फैक्ट्री में अपने एक रिश्तेदार से मिलने आया था।
हाईकोर्ट के आदेशों का हो पालन
देहरादून, 14 जुलाई (निस)। गढ़वाल कमीशनर सीएस नपलच्याल ने कैंप कार्यालय में सोमवार को विक्रम, आॅटो और सिटी बस संचालकों की बैठक ली। बैठक में गढ़वाल कमीशनर ने परिवहन विभाग को निर्देश जारी किए हैं कि हाईकोर्ट के आदेशों को सख्ती से पालन किया जाए। इसके साथ ही ठेका परमिट पर चल रहे विक्रम, आॅटो और टाटा मैजिक संचालकों की स्टैज कैरिज में बदलने की मांग पर अगर कुछ हो सकता है तो उसे देखा जाए। सोमवार को ईसी रोड स्थित गढ़वाल कमीशनर कार्यालय में बैठक हुई। बैठक में गढ़वाल कमीशनर ने सिटी बस, विक्रम संचालक, आॅटो और टाटा मैजिक संचालकों की परेशानी सुनी। सभी ने अपनी-अपनी परेशानी बताई। साथ ही अधिकारियों द्वारा की जा रही एक तरफा कार्यवाही के बारे में बताया। इस मौके पर आरटीओ दिनेश चंद्र पठोई ने कहा कि कोई भी परमिट शर्तों का पालन नहीं कर रहा हैं। उन्होंने कहा कि परमिट शर्तों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। इसके साथ ही ठेका परमिट को स्टैज कैरिज में बदलने की मांग कर रहे सभी लोग प्रार्थना पत्र कार्यालय में जमा किया जाए। बैठक में एआरटीओ प्रवर्तन रामप्रकाश राठौर, महानगर सिटी बस यूनियन अध्यक्ष विजयवर्धन डंडरियाल, दून जनकल्याण सेवा समिति अध्यक्ष सतीश कुमारा, दून आॅटो रिक्शा यूनियन पंकज अरोड़ा सहित बड़ी संख्या में सभी के प्रतिनिधि मौजूद थे।
मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारी को दिये बरसात के चलते सर्तक रहने के निर्देश
देहरादून, 14 जुलाई (निस)। मुख्यमंत्री हरीश रावत ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिये है कि मानसून के दृष्टिगत जनपदों में सभी व्यवस्थाएं समय से सुनिश्चित कर ली जाय। उन्होंने कहा कि मौसम विभाग द्वारा जारी चेतावनियों का पूरा पालन किया जाय। उन्होंने कहा कि मौसम विभाग द्वारा जिन क्षेत्रों में भारी वर्षा संबंधी चेतावनी जारी की गई है, वहां पर समय से सुरक्षा एवं अन्य व्यवस्था चाकचैबंद कर ली जाय। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये है कि नदी किनारे और असुरक्षित स्थानों पर विशेष सतर्कता बरती जाय। मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारियों को यह भी निर्देश दिये है कि मानसून को देखते हुए जनपदों में पर्याप्त मात्रा में खाद्यान्न उपलब्ध रहे। मुख्यमंत्री ने चारधाम यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं से भी अनुरोध किया है कि मानसून को देखते हुए यात्रा पर आने से पूर्व मौसम संबंधी जानकारी प्राप्त कर ही आगे बढ़े। उन्होंने पर्यटन विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिये है कि चारधाम यात्रा की जानकारी हेतु स्थापित कंट्रोल रूम को और अधिक सक्रिय व प्रभावी किया जाय और मौसम संबंधी सूचनाओं का व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाय। मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं की सुरक्षा के प्रति संवेदनशील है। मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारियों को निर्देश दिये है कि जनपद स्तर पर स्थापित कंट्रोल रूम को और अधिक सक्रिय बनाया जाय। इसमें वरिष्ठ अधिकारियों की तैनाती 24ग7 करें। साथ ही आपदा प्रबंधन विभाग के जिला स्तरीय अधिकारियों को भी पूरी तरह से मुस्तैद रखें। उन्होंने कहा कि वर्षा के कारण यदि किन्ही क्षेत्रों में सडक बंद होती है, तो उसको खोलने के लिए लोक निर्माण विभाग एवं बी.आर.ओ. आपसी समन्वय से कार्य करते हुए तत्काल सड़कों को आवागमन हेतु उपलब्ध कराएं, ताकि यात्रियों को कोई दिक्कत न हो।
श्रद्धालुओ के जत्थे का स्वागत
लालकुआं, 14 जुलाई (निस)। अमरनाथ यात्रा को गये श्रद्वालुओं के दूसरे जत्थे के शहर मे पहुचने पर नगर की जनता ने बमबम भोले के उदघोष के साथ उनका भव्य स्वागत किया। बाबा बर्फानी के दर्शन कर लौटे यात्रियों ने कहा कि बाबा बर्फानी के साक्षात दर्शन से उनको बहुत ही आत्मीय शान्ति मिली है। सात सदस्यो के इस दल मे दयानाथ प्रजापति, प्रकाश जोशी, सुन्दर पाल खुराना, डाक्टर मनोहर लाल, व्यापार मंण्ड़ल के उपाध्यक्ष भुवन पांण्ड़े कुणाल बिष्ट, नीरज सिह, अभिषेक सक्सेना ने बालटाल पर रूककर बाबा बर्फानी के दर्शन को जा रहे दल के सदस्यो की सेवा भी की तथा बाबा बर्फानी के अलावा शेषनाग, गणेश जी एवं माता पार्वती के दर्शन करने के बाद मनीग्राम तीर्थस्थल, भवानी मंदिर के साथ माता वैष्णो देवी के भी दर्शन किये। इस दौरान उनके स्वागत को पहुचे विनोद श्रीवास्तव, धनसिह बिष्ट, नारायण बिष्ट, लक्ष्मण खाती, अरूण प्रकाश, संजय जोशी, संजय अरोरा संजीव शर्मा सहित कई लोग मौजूद थे।
पाॅलीथीन पर रोक लगाने को सौंपा ज्ञापन
लालकुआं, 14 जुलाई (निस)। जनसरोकार मंच ने लालकुआं नगर व लालकुआं तहसील क्षेत्र में प्रयोग की जा रही पाॅलीथीन में रोक लगाने व हाईकोर्ट के आदेशों का पालन करवाने से सम्बंधित ज्ञापन एसडीएम को सौंपा।
सोमवार को लालकुआं तहसील में एकत्र हुए जनसरोकार मंच के कार्यकर्ताओं ने एसडीएम को संबोंधित ज्ञापन की काॅपी तहसीलदार लालकुआं को सौंपते हुए कहा कि पौलीथीन से पर्यावरण पर होने वाले नुकसान पर हाल ही में पर्यावरणविद् प्रो अजय रावत की याचिका पर हाईकोर्ट द्वारा पाॅलीथीन पर प्रतिबंध लगाने के निर्देष जारी किए थे। उन्होंने एसडीएम से लालकुआं तहसील क्षेत्र में 40 माईक्रोन से कम की पाॅलीथिन में प्रतिबंध लगाने की मांग की।ज्ञापन देने वालों में जनसरोकार मंच के सुनील पंत, संजय दुम्का, उमेश जोशी, सुरेश शर्मा, उत्पल मंडल, हरीश पाण्डे, प्रकाश काण्डपाल, मदन नेगी शामिल थे।
अवैध निर्माण किया ध्वस्त
लालकुआं, 14 जुलाई (निस)। उपजिलाधिकारी ने नगर के गोयल कम्पाउण्ड में हो रहे निर्माण को अवैध करार देते हुए जेसीबी से ध्वस्त कर दिया। इस दौरान उन्होने कहा कि राजस्व की भूमि में अवैध निर्माण किसी भी हालत में बर्दास्त नही किया जाएगा। प्राप्त समाचार के अनुसार नगर के गोयल कम्पाउण्ड में स्थित पिक्चर हाल स्वामी द्वारा वहां पर पक्का निर्माण किया जा रहा था। जिसकी सूचना पर सोमवार की सांय को उपजिलाधिकारी हरबीर सिंह जेसीबी लेकर लालकुआं पहुचे। जिन्हांेने निर्माण को ध्वस्त कर दिया। इस दौरान पिक्चर हाल स्वामी व उसके पाटनरों द्वारा उपजिलाधिकारी को बताया कि उनकी जमीन नगर की अन्य जमीनों की तरह ही है। जिसमें न्यायालय में चले वाद को भी वह जीत चुके है। परन्तु उपजिलाधिकारी ने उनकी एक नही सुनते हुए निर्माण को ध्वस्त कर दिया।
मलबा आने के कारण कई घंटो बंद रहा कैंपटी-मसूरी मार्ग
मसूरी, 14 जुलाई (निस)। मसूरी कैपंटी में देर रात हुई तेज बारिश के कारण सड़क के उपर डाला गया पूरा मलबा मुख्य मार्ग पर आ गया। जिस कारण देर रात से सुबह तक मसूरी कैंपटी मार्ग बंद रहा । जिसके बाद कैंपटी पुलिस ने जेसीबी बुलाकर मार्ग खुलवाया। देर रात हुई बरसात के कारण मसूरी कैंपटी मार्ग पर मलबा आ जाने से घंटो बंद रहा,जिसमें एक मारुती कार व टमाटर से भरी यूटिलिटि भी फसी रही। जिसके बाद पुलिस ने जेसीबी के माध्यम से मलबा हटाया और वाहनों को मलबे से बाहर निकाला। वहीं कैंपटी में पहाड़ टूटने से लगातार पत्थर गिर रहे हैं। जिस कारण कैंपटी फ ाल की झील भी खतरे की जद में आ गई है। स्थानीय निवासियों का कहना है कि पास ही एक पंाचसितारा होटल का निर्माण चल रहा है। जो कि मलबे को सड़क के किनारे डंप कर रहे हैं जिस कारण हल्की सी बरसात में मलबा सड़क पर आ जाता है और वाहन घंटों तक फंसे रहते हैं।
निशुल्क नेत्र व स्वास्थ्य जांच शिविर मंे हुये कई जांच
ऋषिकेश, 14 जुलाई (निस)। परनो रिकार्द इंडिया और हिंदुस्तान नेषनल ग्लास एंड इंडस्ट्रीज़ लि. ने निषुल्क दो दिवसीय नेत्र एवं सामान्य स्वास्थ्य जांच लगाया। इस क्षेत्र के 3000 से भी अधिक ट्रक ड्राइवरों के लाभ के लिए ऋषिकेष ट्रक आनर्स ऐसोसिएषन के कार्यालय में आयोजित किया गया है जहां ट्रक चालक आंखों और स्वास्थ्य की निषुल्क जांच और चिकित्सों का परामर्ष प्राप्त कर सकते हैं। कम्पनी द्वारा इसी तरह के षिविर पहले भी हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेष और पंजाब में आयोजित किए जा चुके हैं। इस षिविर में योग्य चिकित्सकों और नेत्र विषेषज्ञों के एक प्रतिष्ठित पैनल की सेवाएं मिलेंगी जिसकी व्यवस्था परनो रिकार्द इंडिया द्वारा नवीनतम उपकरणों की सहायता से ड्राइवरों के विस्तृत नेत्र परीक्षणों और सामान्य स्वास्थ्य परीक्षण के लिए की जाएगी। कम नेत्रदृष्टि वाले ड्राइवरों को नियमित नेत्र जांच के लिए परामर्ष के साथ-साथ निषुल्क चष्मे भी उपलब्ध कराए जाएंगे। इस षिविर का उद्घाटन श्री दीप शर्मा, चेयरमैन नगरपालिका, ऋषिकेष की उपस्थिति में हुआ, जिन्होने सड़क सुरक्षा के बारे में चालकों को संबोधित किया और उन्हें षिविर में उपलब्ध कराई जाने वाली सेवाओं के बारे में बताया। अपने उद्बोधन के दौरान, उन्होने इस इस बात पर ज़ोर दिया कि परिवारों का महत्व सबसे अधिक होता है, और किसी भी त्रासदी की स्थिति में उन्हें ही सबसे अधिक पीड़ा झेलनी पड़ती है, इसलिए ड्राइवरों को रक्षात्मक वाहन चालन और सड़क सुरक्षा नियमों का पालन करना चाहिए। श्री दीपक कैट्टी, हैड - सेल्स एंड डिवेलेपमेंट, परनो रिकार्द इंडिया ने कम्पनी की तरफ से संबोधित किया और उन्होने कम्पनी के ‘डोन्ट ड्रिंक एंड ड्राइव’ पहल को प्रोत्साहित करने के बारे में जानकारी दी। संदेष की महत्व को बढ़ाने के लिए, कम्पनी ने ‘घर जल्दी आना। पी कर गाड़ी मत चलाना’ संदेष के विषेष रूप से बनाए गए फोटो फ्रेम वितरित किए। ट्रक ड्राइवरों को इन फोटो फ्रेम्स में अपने साथ अपने परिवार की फोटो लगाने के लिए प्रोत्सािहत किया गया और इसे अपने ट्रक के डैषबोर्ड पर लगाने के लिए कहा गया ताकि यह उन्हें अपने परिवार के प्रति अपनी जिम्मेदारियों के निर्वाह के लिए सतर्कता की लगातार याद दिलाता रहे।
पावर हाउस में व्यापारियों का हंगामा, कैश काउंटर पर ठोके ताले
रुद्रपुर, 14 जुलाई (निस)। विद्युत समस्याओं को लेकर उद्योग व्यापार मण्डल के बैनर तले भारी संख्या में व्यापारियों ने काशीपुर मार्ग स्थित नवोदय विद्यालय के समीप पावर हाउस में जोरदार प्रदर्शन कर धरना दिया और विरोध स्वरूप कैश काउंटर पर ताले भी ठोंक दिये। बाद में उप महाप्रबंधक से हुई वार्ता के पश्चात व्यापारियों ने धरना प्रदर्शन समाप्त किया। इससे पूर्व व्यापार मण्डल अध्यक्ष संजय जुनेजा, महामंत्री हरीश अरोरा व कोषाध्यक्ष मनोज छाबड़ा के नेतृत्व में दर्जनों व्यापारी पावर हाउस में एकत्र हुए जहां उन्होंने विभाग के खिलाफ जोरदार प्रदर्शन कर धरना दिया। धरना स्थल पर आयोजित सभा को सम्बोधित करते हुए व्यापार मण्डल के पदाधिकारियों ने कहा कि विभाग द्वारा पिछले काफी समय से घंटों अघोषित विद्युत कटौती की जा रही है जिससे आम जनता के साथ साथ व्यापारी वर्ग को भी परेशानियों से जूझना पड़ रहा है और व्यापार पर विपरीत प्रभाव पड़ रहा हैै। उन्होंने कहा कि बार बार आग्रह करने के बाद भी विभाग द्वारा बाजार क्षेत्र में जर्जर विद्युत तारों को बदला नहीं जा रहा जिस कारण आयेदिन दुर्घटनायें घटित हो रही हैं। यदि कोई गंभीर घटना घटित होती है तो इसके लिए पूरी तरह से विभाग की जिम्मेदारी होगी। वक्ताओं ने कहा कि विद्युत समस्या के समाधान के लिए पिछले काफी समय से नगर के विभिन्न स्थानों पर नये ट्रांसफार्मर लगाये जाने की मांग की जा रही है लेकिन विभाग द्वारा कुछ ही स्थानों पर ट्रांसफार्मर लगाये जा रहे हैं जिससे रोष उभरना स्वाभाविक है। वक्ताओं ने कहा कि विद्युत बिल अदा करने के लिए आने वाले व्यापारियों को कैश काउंटर कम होने से परेशानियों से जूझना पड़ता है इसलिए भुगतान जमा करने के लिए विभाग द्वारा अतिरिक्त कैश काउंटर खोले जायें। धरनास्थल पर विद्युत उप महाप्रबंध्क से दूरभाष पर हुई वार्ता के पश्चात व्यापारियों ने ध्रना प्रदर्शन समाप्त किया। वार्ता में कल 15 जुलाई को डीजीएम कार्यालय में अधिशासी अभियन्ता क्षेत्रा के समस्त एसडीओ व जेई के साथ व्यापारी प्रतिनिधियों की संयुक्त वार्ता करने का निर्णय लिया गया। धरना प्रदर्शन करने वालों में युवा व्यापार मण्डल अध्यक्ष राजेश कामरा, जिम्मी मुंजाल, अमित बांगा, बलराम अग्रवाल, विजय विरमानी, पवन गाबा, अमित दाबड़ा,सुशील गाबा, संदीप डोगरा, मदन गुम्बर, गौरव अनेजा, विनित जैन, सन्नी पुनियानी आदि शामिल थे।
उपचुनाव में भाजपा और कांग्रेस ने झौंकी पूरी ताकत।
डोईवाला, 14 जुलाई (निस)। भाजपा और कांग्रेस के उम्मीदवारों ने उपचुनाव के प्रचार प्रसार में अपनी पूरी ताकत झौंक दी है। वही निर्दलीय उम्मीदवार दोनो दलों के पीछे लगे हुए है। 21 जुलाई को होने वाले मतदान को अपने पक्ष में करने के लिए भाजपा और कांग्रेस के दिग्गज नेताओं ने ग्रामीण क्षेत्रों में नुक्कड़ सभाएं कर वोट मांगे। भाजपा ने अपनी रणनीति के तहत भीतरी स्तर पर अपना जाल बिछाना षुरु कर दिया है। जिसके लिए भाजपा ने डोईवाला विधानसभा के 150 बुर्थो के प्रत्येक बुथ पर एक वरिश्ठ नेता को जिम्मेदारी सौंपी दी है। भाजप प्रत्याषी त्रिवेन्द सिह रावत सुबह पांच बजे से रात 11 बजे तक ग्रामीण क्षेत्रों में प्रचार प्रसार कर लोगो ंसे वोट मांग रहे है। वही कांग्रेस प्रत्याषी हीरा सिह बिश्ट भी ग्रामीण क्षेत्रों में अपना तुफानी दौरे में जुटे है। मतदान को छह दिन षेश रह गये है। लेकिन भाजपा और कांग्रेस की और से डोईवाला विधानसभा के प्रचार प्रसार के लिए कोई भी राश्ट्ीय नेता अभी तक नही आया है। जिसकी वजह से अभी तक कोई भी बड़ी जनसभा नही पायी है। भाजपा से सांसद भगत सिह कोष्यारी और डा. रमेष पोखरियाल निषंक भाजपा के प्रत्याषी त्रिवेन्द्र सिह रावत के प्रचार में जुटे है। वही कांग्रेस सरकार के केबिनेट मंत्री सुरेन्द्र सिह नेगी और खेल मंत्री दिनेष अग्रवाल कांग्रेस के प्रत्याषी हीरा सिह बिश्ट के प्रचार प्रसार में जुटे है।
ग्रामीणों को दिया मुर्गी एवं पशुपालन का प्रशिक्षण
रुद्रप्रयाग, 14 जुलाई (निस)। भारतीय स्टेट बैंक ग्रामीण स्वरा¢जगार प्रशिक्षण संस्थान क¢ तत्वावधान में अगस्त्यमुनि विकासखण्ड के जागतोली गांव में आयोजित छह दिवसीय मुर्गी पालन एवं उद्यमिता जागरूकता कार्यक्रम का समापन हो गया है। प्रशिक्षण कार्यक्रम में 30 महिला-पुरूषों ने प्रतिभाग किया। प्रशिक्षण के दौरान परियोजना पशुपालन विभाग से आए डाॅक्टरों ने प्रशिक्षणार्थियों को को मुर्गी पालन और पशुपालन से सम्बन्धित महत्वपूर्ण जानकारियां दी। इसके साथ ही विभाग की कई स्वरोजगार योजनाओं के बारे में भी अवगत कराया। इस अवसर पर संस्थान क¢ निदेशक पीसी जोशी ने बताया कि जिले में आपदा के बाद लोगों के रोजगार को भारी मात्रा में नुकसान पहुंचा है, जिस कारण कई लोग बेरोजगार भी हो गये हैं। ऐसे में उन्हें मेहनत सेे काम कर पुनः अपने स्वरोजगार को स्थापित करना है। उन्होंने बताया कि स्वरोजगार पर संस्थान विभिन्न व्यवसायों में प्रशिक्षण दे रहा है, ताकि ग्रामीण युवा प्रेरित होकर अपना स्वरोजगार स्थापित कर सकें और अपने एवं देश के विकास में महत्वपूणर््ा योगदान दे सकें। संस्थान के प्रशिक्षक वीर¢न्द्र बत्र्वाल ने प्रशिक्षाणार्थियों को जानकारी देते हुए कहा कि संस्थान का मुख्य उददेश्य ग्रामीण बेरोजगारों को स्वरा¢जगार क¢ प्रति जागरूक व प्रशिक्षित कर आत्मनिर्भर बनाना है, ताकि वह अपने पैर पर खड¢़ हो सक¢ं। जिससें रोजगार के साथ-साथ पहाड़ का पलायन भी रूक सके। प्रशिक्षक अजय नौटियाल ने बेरोजगारों को संस्थान द्वारा दिए जा रहे प्रशिक्षण क¢ बारे में विस्तार से जानकारी दी। इस मौके पर रविन्द्र सिंह, भरत सिंह, गिरधारी सिंह, संजय सिंह, कमला देवी, हरीश लाल, चंनद्रप्रकाश, यशवंत सिंह कई मौजूद थे।
विद्युत लाइनों को दुरूस्त करने की मांग
रुद्रप्रयाग, 14 जुलाई (निस)। विद्युत विभाग की लापरवाही के कारण धनपुर क्षेत्र के लोगों में भारी आक्रोश बना हुआ है। ग्रामीणों का कहना है कि विभाग ने विद्युत तारों को पेड़ों से बांध रखा है। कई विद्युत पोल सड़ चुके हैं और तारे जमीन पर गिर चुकी हैं। जबकि क्षेत्र के अधिकांश विद्युत ट्रांसफार्मर जल चुके हैं। ऐसे में क्षेत्रीय के जनता के साथ कभी भी बड़ी दुर्घटना हो सकती है। क्षेत्रीय लोगों ने विद्युत विभाग से शीघ्र ही धनपुर क्षेत्र में विद्युत लाइनों को दुरूस्त करने की मांग की है। धनपुर संघर्ष समिति के अध्यक्ष राय सिंह बिष्ट, महामंत्री मोहन सिंह सिंधवाल, क्षेत्र पंचायत सदस्य प्यारी देवी, सुरेन्द्र सिंह, कलावती देवी, बलदेव लाल, मासन्ती देवी, निलम देवी, सुधा देवी सहित अन्य ग्रामीणों का कहना है कि विद्युत विभाग की लापरवाही कभी भी क्षेत्रीय ग्रामीणों पर भारी पड़ सकती है। ग्रामीणों का आरोप है कि विभाग ने क्षेत्र में विद्युत तारों को पेड़ों से बांध रखा है। जगह-जगह विद्युत विभाग द्वारा लगाये गये विद्युत पोल भी सड़ चुके हैं। जिस कारण क्षेत्र में विद्युत लाइन भी कई स्थानों पर झूल रही है। इतना ही नहीं विद्युत लाइनें ग्रामीणों के खेतों से खुले होकर गुजर रही हैं। बरसात के दौरान ग्रामीणों को कभी भी खतरा पैदा हो सकता है। ग्रामीणों का कहना है कि यदि विभाग ने शीघ्र ही धनपुर क्षेत्र की विद्युत लाइनों को शीघ्र दुरूस्त नही किया तो ग्रामीणों को विद्युत विभाग के खिलाफ आंदोलन छेड़ने के लिये बाध्य होना पड़ेगा।
निर्वाचन को लेकर रिटर्निंग आॅफिसर तैनात
रुद्रप्रयाग, 14 जुलाई (निस)। त्रिस्तरीय पंचायतों के बाद कई ग्राम पंचायतों के सदस्य और प्रधानों का निर्वाचन प्रत्यादिष्ट हो जाने के कारण नामांकन के दौरान विभिन्न पदों/स्थानों पर नामांकन न होने के कारण अथवा अन्य कारणों से रिक्त रह गये ऐसे सभी रिक्त पदों पर निर्वाचन कराये जाने के लिये कार्यक्रम अधिसूचित किया गया है। जिलाधिकारी/जिला निर्वाचन अधिकारी डाॅ राघव लंगर ने बताया कि इस संबंध में राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा जारी अधिसूचना के क्रम में विकास खण्ड ऊखीमठ में रिक्त पदों/स्थानों पर निर्वाचन कराये जाने के लिये खण्ड शिक्षा अधिकारी ऊखीमठ केएस राणा को रिटर्निंग आॅफिसर एवं सभी पांच न्याय पंचायतवार सहायक रिटर्निंग आफिसरों की तैनाती की गई है। विकास खण्ड अगस्त्यमुनि में रिक्त पदों/स्थानों पर निर्वाचन के लिये खण्ड शिक्षा अधिकारी अगस्त्यमुनि कुन्दी लाल रडवाल को रिटर्निंग आॅफिसर तथा सभी 13 न्याय पंचायतवार सहायक रिटर्निंग आॅफिसर तैनात किये गये हैं। उन्होंने बताया कि विकास खण्ड जखोली में रिक्त पदों/स्थानों पर निर्वाचन कराये जाने के लिये खण्ड शिक्षा अधिकारी जखोली कुंवर सिंह को रिटर्निंग आफिसर तथा ब्लाक की सभी नौ न्याय पंचायतवार सहायक रिटर्निंग आफिसर तैनात किये गये हैं। इसके अलावा उन्होंने बताया कि रिक्त पदों/स्थानों के लिये मुख्य पशुचिकित्साधिकारी डाॅ रमेश नितवाल एवं अधिशासी अभियन्ता पीएमजीएसवाई सिंचाई खण्ड जखोली पवन कुमार को रिजर्व रिटर्निंग आॅफिसर तथा तीन रिजर्व सहायक रिटर्निंग आॅफिसरों की भी तैनाती की गई है। बताया कि नियुक्त सभी रिटर्निंग आफिसर/सहायक रिटर्निंग आफिसरों को नाम निर्देशन पत्र प्राप्त करने से मतगणना समाप्ति तक की सभी कार्यवाही अपनी देख-रेख में सम्पन्न कराने के निर्देश दिये हैं।
गांवों के सर्वांगीण विकास का लिया संकल्प
रुद्रप्रयाग, 14 जुलाई (निस)। विकासखंड़ ऊखीमठ के अन्तर्गत 22 ग्राम पंचायतों में खुली बैठकों का आयोजन किया गया। बैठक में विभिन्न समितियों का गठन कर वार्ड सदस्यों को जिम्मेदारियां सौंपी गई और गांवों के सर्वांगीण विकास का संकल्प लिया गया। इसके साथ ही पूर्व पंचायत प्रतिनिधियों को भी भावभीनी विदाई दी गई। ग्राम पंचायत किमाणा में प्रधान इन्द्रा देवी व सारी में प्रधान घनश्याम लाल सहित पूरे विकासखंड़ के अन्तर्गत 22 ग्राम पंचायतों में ग्राम प्रधानों की अध्यक्षता में खुली बैठकों का आयोजन किया गया। बैठक में नियोजन एवं विकास समिति, शिक्षा समिति, निर्माण एवं कार्य समिति, स्वास्थ्य एवं कल्याण समिति, प्रशासनिक समिति एवं जल प्रबंध समितियों का गठन कर वार्ड सदस्यों को जिम्मेदारियां सौंपी गई। बैठक में ग्राम विकास अधिकारी कुलदीप भंडारी ने ग्रामीणों को जानकारी देते हुए कहा कि एक सप्ताह बाद सभी ग्राम पंचायतों के दस्तावेज आॅन लाइन हो जाएंगे, इसलिए पंचायतों के दस्तावेजों में त्रुटियां हों तो वे एक सप्ताह के भीतर त्रुटियों में सुधार कर सकते हैं। बैठक में सभी नव निर्वाचित पंचायत प्रतिधिनियों ने ग्रामीणों को आश्वासन देते हुए कहा कि वे पांच वर्षो तक जनता की उम्मीदों पर खरा उतरने की कोशिश करेगें तथा सभी को साथ लेकर गांवों का विकास किया जाएगा। बैठकों में पूर्व पंचायत प्रतिनिधियों को भावभीनी विदाई दी गई। इस मौके पर क्षेत्र पंचायत सदस्य जसवीर सिंह नेगी, वन पंचायत सरपंच पुष्कर सिंह नेगी, पूर्व प्रधान संदीप पुष्वांण, निर्माण कार्य समिति की अध्यक्ष पूनम नौटियाल, राजेश्वरी देवी, संगीता देवी, कुंवरी देवी, मंजू देवी, आनंद सिंह सहित 22 ग्राम पंचायतों के पंचायत प्रतिनिधि व ग्राम विकास अधिकारी सहित कई ग्रामीण मौजूद थे।
तटस्थ भाव रखना विधायक प्रदीप बतरा पर भारी
रुड़की, 14 जुलाई (निस)। नगर में घटने वाली हर महत्वपूर्ण घटना के प्रति तटस्थ भाव रखना विधायक प्रदीप बतरा पर भारी पड़ सकता है। उनकी इस अदा के चलते पिछले निकाय व लोकसभा चुनाव में कांग्रेस का बेड़ा गर्क हो चुका है और अगले विधानसभा चुनाव में स्कोर मुकम्मल हो सकता है। खास बात यह है कि विधायक की इस अदा से नगर में बसने वाले हर समुदाय के लोग न केवल हैरत में हैं बल्कि नाखुश भी हैं। प्रदीप बतरा के विधायक काल में नगर में तमाम गम्भीर मुद्दे उभरे हैं। इनमें केवल एक मुद्दा ऐसा था जिसमें विधायक ने व्यक्तिगत रूप से रूचि ली थी। सिविल लाइन क्षेत्र के एक विख्यात रेडीमेड शोरूम के ट्राई रूम में सुराख पाए गए थे और इस ट्राई रूम में महिलाएं कपड़े बदलने के लिए जाती थी। मामला खुला था तो बतरा ने बड़ी खामोशी के साथ इसे दफन करा दिया था। बाद में तमाम मामले उभरे। इनमें कई बार बवाल भी हुए। खासतौर पर लोकसभा चुनाव से पूर्व एक बार तो ऐसा लगने लगा था कि नगर बारूद के ढेर पर बैठा है। मगर विधायक ने कभी भी किसी मामले में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई हो ऐसा कभी उजागर नहीं हुआ। बतौर विधायक उनकी सक्रियता केवल गली मौहल्लों में सीसी निर्माण और राशन कार्ड, आधर कार्ड बनाने हेतू शिविर लगाने तक सीमित रही है। आज भी वे यही कर रहे हैं। लेकिन शेखपुरी मस्जिद का मामला थोड़ा अलग रूप धरण कर रहा है। जैसा कि मस्जिद प्रबन्ध समिति से जुड़े लोगों का कहना है कि जब प्रशासन ने उनसे शासन स्तर पर स्वीकृति प्रदान करने की बात कही थी तो उन्होंने प्रदीप बतरा को मामले की फाइल सौंपी थी और बतरा ने वादा किया था कि वे मामले को सैटल कराएंगे। लेकिन बाद में मुख्यमंत्री कार्यालय या सचिवालय में वह फाइल ही मस्जिद समिति के लोगों को नहीं मिली जो उन्होंने विधायक को सौंपी थी। मस्जिद समिति के लोगों का कहना है कि वे कई बार विधायक से मिले लेकिन विधायक ने हर बार आश्वासन देकर बात खत्म कर दी। मस्जिद समिति के लोगों के इस आरोप पर प्रदीप बतरा का यह कथन है कि उन्हें पूरे मामले की जानकारी ही नहीं है। यह सच हो सकता है लेकिन पिछले एक पखवाडे से अखबारों की सुर्खी बने विवाद की जानकारी भी विधायक को न हो ऐसा नहीं हो सकता। यही वह चीज है जो नगर से लेकर देहात तक के मुस्लिम समुदाय के लोगों को साल रही है। उन्हें लगने लगा है कि ढाई साल में पहली बार उन्हें विधायक की जरूरत पड़ी और विधायक पल्ला झाड़ कर घर बैठ गए। जाहिर है कि यह भावना बतरा की राजनीतिक दुकानदारी को बंद करा सकती है। खासतौर पर इसलिए कि उनकी इसी कार्यशैली से पंजाबी समुदाय सहित नगर का बहुसंख्यक समुदाय पहले ही नाखुश है और पिछले निकाय चुनाव से लेकर लोकसभा चुनाव तक बतरा की कार्यशैली पर अपने निर्णय सुना चुका है।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें