नयी दिल्ली 26 मई, राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने आज कहा कि विकासशील देशों के विकास में सामाजिक न्याय एक महत्वपूर्ण पहलु हैं आैर इसके बिना राजनीतिक स्वतंत्रता का कोई महत्व नहीं है। श्री मुखर्जी ने यहां वर्ष 2011-12 और वर्ष 2014 के लिए डा. अम्बेडकर राष्ट्रीय पुरस्कार प्रदान करते हुए कहा कि सामाजिक न्याय के बिना राजनीतिक स्वतंत्रता, राजनीतिक न्याय और राजनीतिक उदारवाद का कोई महत्व नहीं है। उन्होेंने कहा कि भारतीय संविधान ने नागरिकों को न्याय, समानता और स्वतंत्रता का अधिकार प्रदान किया है। लेकिन इनको हासिल करने के लिए सरकार अकेले कुछ नहीं कर सकती है। इसके लिए समाज और नागरिकों तथा सामाजिक संस्थाओं को सहयोग करना होगा। इस अवसर पर राष्ट्रपति ने वर्ष 2011 के लिए डा. अम्बेडकर राष्ट्रीय पुरस्कार डा. एस के थोराट को निचले वर्ग के उत्थान में उल्लेखनीय कार्य करने के लिए प्रदान किया। वर्ष 2012 के लिए इस पुरस्कार से समता सैनिक दल काे नवाजा गया है। इसे यह सम्मान असाधारण सेवाओं के लिए दिया गया है। वर्ष 2014 के डा. अम्बेडकर राष्ट्रीय पुरस्कार राजस्थान के श्री बाबू लाल निर्मल अौर तमिलनाडु की गैर सरकारी संस्था अमर सेवा संगम को संयुक्त रुप से प्रदान किया गया है। पुरस्कार स्वरुप प्रत्येक विजेता को 10 लाख रुपए नकद और एक प्रशस्ति दिया जाता है।
शनिवार, 27 मई 2017
राष्ट्रपति ने प्रदान किए डा. अम्बेडकर राष्ट्रीय पुरस्कार
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