बेगुसराय : बड़े ही हर्षोल्लास के साथ संपन्न हुआ राष्ट्रीय महापर्व 72 वां स्वतंत्रता दिवस 15 अगस्त। - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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बुधवार, 15 अगस्त 2018

बेगुसराय : बड़े ही हर्षोल्लास के साथ संपन्न हुआ राष्ट्रीय महापर्व 72 वां स्वतंत्रता दिवस 15 अगस्त।

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बेगूसराय (अरुण कुमार) आज राष्ट्रीय महापर्व 15 अगस्त स्वतंत्रता दिवस पर जगह जगह पर झंडोत्तोलन हुआ।जिलाधिकारी कार्यालय,एस पी कार्यालय,आवास सहित स्थानीय गांधी स्टेडियम,कलाकारों के द्वारा स्थानीय दिनकर भवन,विद्यालय,महाविद्यालयों सहित सादे अस्पताल, पेट्रोल पम्प,आदि कई जगहों पर आजादी के इस पर्व को बड़े ही हर्षोल्लास के साथ मनाया गया।इसी क्रम में भारत विकास परिषद के पदाधिकारी,कार्यकारिणी समिति एवं सदस्यों की उपस्थिति में स्वामी विवेकानन्द चौक स्थित श्रद्धेय की कांस्य प्रतिमा के सामने राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा फहराया गया और श्रद्धेय के प्रतिमा पर माल्यार्पण किया गया।इस सु अवसर पर राष्ट्रीय ध्वजारोहण प्रांतीय महासचिव डॉ•रामरेखा सिंह जी द्वारा प्रातः 10 बजे सम्पन्न हुआ।कार्यक्रम में जिला के सभी शाखाओं के दायित्वधारियों सहित मांड सदस्य गणमान्यजन गजेन्द्र प्रसाद सिंह,अनिल सोनी,गणेश सोनी,मनोज कुमार राय,ई•राजकिशोर प्रसाद,ई•रविशंकर जी,गंगा प्रसाद,अनिल कुमार सिंह,जिले की स्वर कोकिला किशोरी मिश्रा जी, सुभद्रा सिंह,रंजना कुमारी,विभूति मनुवंश,संजय सिन्हा, अशोक कुमार,श्रीराम ठाकुर,निरंजन कुमार आदि अपनी अपनी सहभागिता निभाई। जिले के सम्माननीय कवियत्री के हृदय से देश के प्रति उपजे भाव को लिखूँ तो चन्द पंक्ति यूँ है:-

निज राष्ट्र उत्थान में,बैने लेखनी मेरी साधना 
निष्पक्ष रहे कलम मेरी,माँ भारती से है प्रार्थना 
ज्ञान से सिंचित धरा पर,हृदय जागृत रहे चेतना 
बैने लेखनी मीठी साधना............... 

इस अवसर पर भाविप के श्री गज्जू प्रसाद ने के शाखा सदस्यों से नाराजगी जताते हुए कहा कि भाविप हमेशा से नेक कार्य ही कैट आ रहा है और आगे भी करता रहेगा।आज फिर स्वतंत्रता दिवस पर एक नेक कार्य किया है,वह कार्य है दिव्यांग घनस्याम को हाथरिक्शा देने का कार्य।नाराजगी इस बात के लिये है कि दिव्यांग घनस्याम को इसके पूर्व भी एक हाथरिक्शा दिया गया था शाखा की ओर से,समय समय पर उसके मरम्मती के लिये भी खर्च आदि दिया जा रहा है तो फिर एक ही व्यक्ति को बार बार क्यों हम दे रहे हैं,क्या इस जिले में और कोई इसके अधिकारी नहीं,क्या और किसी को इसकी जरूरत नहीं है।हम भाविक के सदस्यों का उत्तरदायित्व है कि जरूरतमन्दों की सहायता करें अवश्य करें पर बार बार एक को ही नहीं जिले में बहुत ऐसे जरुरतमंद हैं जिन्हें हमारे सहयोग की आवश्यकता है तो हम उन्हें ढूढ़कर क्यों नहीं मदद करें।हाँ अगर किन्हीं को अपना नाम करने का शौक है तो वे व्यक्तिगत रुप से जिसजे जो कुछ भी देना हो दें हमें कोई आपत्ति नहीं मगर व्यक्तिगत कार्य में भाविप का बैनर इस्तेमाल नहीं होनी चाहिये बस।

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