नयी दिल्ली, 13 अगस्त, एक अज्ञात व्यक्ति ने आज यहां संसद भवन के पास स्थित कांस्टीट्यूशन क्लब के ठीक बाहर जेएयनू के छात्र नेता उमर खालिद पर हमला किया और वहां गोली चलने की आवाज आयी लेकिन वह सकुशल बच गए। प्रत्यक्षदर्शियों ने यह जानकारी दी। पुलिस और प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि भागते समय हमलावर का हथियार वहां गिर गया। पुलिस सूत्रों ने बताया कि पुलिस ने हथियार जब्त कर लिया। वहां असल में क्या हुआ और हमले में कितने लोग शामिल थे, इन बातों को लेकर स्थिति साफ नहीं है। दिल्ली रेंज के संयुक्त पुलिस आयुक्त अजय चौधरी ने कहा कि पुलिस इस बात की जांच कर रही है कि गोलियां चलायी गयीं या नहीं। खालिद ने कहा कि वह चाय पीने के बाद वापस परिसर के भीतर जा रहे थे जब किसी ने उसपर गोली चलाने की कोशिश की। उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘‘मैं चाय पीकर लौट रहा था। मेरे पीछे से आए एक व्यक्ति ने मुझे धक्का देकर नीचे गिरा दिया और मुझपर गोली चलाने की कोशिश की। मैं जान बचाकर भागा। वह वहां से फरार हो गया।’’ खालिद ने कहा कि वह हमलावर का चेहरा नहीं देख पाए। उन्होंने कहा, ‘‘मुझे नहीं पता कि यह किसी समूह का किया हुआ है और क्या हमलावर के साथ और भी लोग थे। यह विडंबनापूर्ण है कि यह तब हुआ जब मैं भीड़ द्वारा पीट पीटकर की जा रही हत्या (मॉब लिंचिंग) के खिलाफ आयोजित कार्यक्रम में हिस्सा लेने के लिए आया था।’’
खालिद ने कहा, ‘‘देश में खौफ का माहौल है। सरकार के खिलाफ बोलने पर आपपर एक ठप्पा लगा दिया जाएगा और उसके बाद आपके साथ कुछ भी हो सकता है।’’ कुछ प्रत्यक्षदर्शियों ने दावा किया कि खालिद जब क्लब के गेट पर थे तब उनपर दो गोलियां चलायी गयीं। खालिद ‘यूनाइटेड अगेंस्ट हेट’ संगठन के ‘खौफ से आजादी’ नामक एक कार्यक्रम में हिस्सा लेने पहुंचे थे। कार्यक्रम में जाने माने वकील प्रशांत भूषण, दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रोफेसर अपूर्वानंद और हैदराबाद विश्वविद्यालय के दिवंगत छात्र रोहित वेमुला की मां राधिका वेमुला जैसे वक्ता शामिल थे। पुलिस उपायुक्त (नयी दिल्ली) मधुर वर्मा ने कहा, ‘‘खालिद ने कहा कि उनपर हमला किया गया। किसी ने उन्हें दबोच लिया और उनपर गोली चलाने की कोशिश की लेकिन वह तत्काल गोली नहीं चला पाया। लोगों ने उसका पीछा किया। खालिद के मुताबिक उसने हवा में गोली चलाने की कोशिश की। घटना की जांच के लिए सीसीटीवी फुटेज खंगाले जा रहे हैं।’’
खालिद के साथ कांस्टीट्यूशन क्लब गए सैफी ने कहा, ‘‘हम चाय पीने गए थे जब तीन लोग हमारी तरफ आए। उनमें से एक ने खालिद को जकड़ लिया जिसका विरोध करते हुए खालिद ने खुद को छुड़ाने की कोशिश की।’’ सैफी ने कहा, ‘‘गोली चलने की आवाज आने के साथ ही वहां अव्यवस्था मच गयी। लेकिन खालिद घायल नहीं हुए। आरोपियों ने भागते समय एक और गोली चलायी।’’ घटना के समय वहां मौजूद बन ज्योत्सना लाहिड़ी ने कहा कि एक व्यक्ति पीछे से आया और उसने खालिद को जकड़ लिया। उसके पास बंदूक थी। लाहिड़ी ने कहा, ‘‘झड़प हुई। उसने बंदूक से गोली चलायी और इसके बाद भाग गया।’’ प्रत्यक्षदर्शियों ने यह भी कहा कि मुख्य हमलावर संसद मार्ग की तरफ भागते देखा गया। उसने सफेद कमीज पहनी हुई थी। दोपहर करीब ढाई बजे हुई घटना स्वतंत्रता दिवस से दो दिन पहले हुई जब शहर में सुरक्षा व्यवस्था काफी चाक-चौबंद है। दिल्ली पुलिस के शीर्ष अधिकारी घटना की खबर मिलने के बाद घटनास्थल पर पहुंच गए। छात्र नेता ने हाल में दिल्ली पुलिस में शिकायत दर्ज कर कहा था कि उन्हें और गुजरात के निर्दलीय विधायक जिग्नेश मेवानी को जान से मारने की धमकी मिली है। यह धमकी उन्हें जून में खुद को भगोड़ा गैंगस्टर रवि पुजारी बताने वाले व्यक्ति ने दी। खालिद पहली बार 2016 में सुर्खियों में आए थे जब जेएनयू परिसर में एक कार्यक्रम के दौरान कथित रूप से राष्ट्रविरोधी नारेबाजी करने के लिए उनके और जेएनयू छात्र संघ के तत्कालीन अध्यक्ष कन्हैया कुमार एवं तीन अन्य के खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज किया गया था।
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