बेगूसराय (अरुण शाण्डिल्य) बिहार का मुजफ्फरपुर पिछले तीन दिनों से पूर्व मेयर की हत्या के कारण चर्चा में है। इसी बीच मेयर साहब के बेटे कैप्टन आलोक आंनद ने विकट परिस्थितियों में भी एक कमांडर अभिलाष टॉमी की जान बीच समुद्र में बचा कर अपने फ़र्ज़ को बखूबी अंजाम दिया है। नेवी कमांडर अभिलाष टॉमी एक छोटी सी नाव से 41,000 किलोमीटर नॉन स्टॉप यात्रा पर थे। हिंद महासागर में उनकी नाव फंस गई और पलट कर दो टुकड़े में बंट गई। 40 फ़ीट ऊंची लहरें चल रही थीं और हवाओं का झोंका 200 किलोमीटर प्रति धंटे की रफ़्तार से चल रही थीं।कमांडर का पैर टूट चुका था और वो पूरी तरह से जख़्मी हालत में पड़े हुए थे। इस बीच भारतीय नौसेना की जहाज भारतीय नेवी,सतपुरा के ग्रुप कैप्टन मुजफ्फरपुर के आलोक आनंद को मैसेज मिला की कमांडर अभिलाष टॉमी को बचाने की मिशन आपको सौपीं जा रही है। आलोक तुरंत उस दिशा में चल पड़े।दूरी थी 3700 किलोमीटर।कैप्टन ने ऑस्ट्रेलिया,फ्राँस और न्यूजीलैंड को मदद के लिए संपर्क किया।मदद तुरंत मिला और तीनों देश के नौसेना घटना स्थल की ओर चल पड़ी।इसी बीच "कैप्टन आलोक आनंद" को मुजफ्फरपुर से माँ का मैसेज मिला कि पिताजी की मौत हो गई है।एक तरफ पिता की मौत और दूसरी तरफ मिशन। "कैप्टन" ने थोड़ी देर बाद माँ को फोन किया कि मैं एक मिशन में हूँ और किसी की जान बचाने की जिम्मेदारी है और तीन देशों के साथ मैं संपर्क में हूँ। आप लोग पिताजी की अंतिम संस्कार कीजिए, मैं मिशन ख़त्म होते ही पहुँच जाऊँगा। अंततः तीन दिनों के अथक प्रयास से कमांडर अभिलाष टॉमी को कल बचा लिया गया है। शायद "कैप्टन" ने कमांडर की जान बचा कर अपने पिता को अंतिम सलामी दी है। कैप्टन आलोक आनंद ने अपने मिशन को सफलता पूर्वक पूरा कर अपने फ़र्ज़ के प्रति जो असाधारण कार्य किया है,उससे उन्होंने "बिहार सहित देश का नाम रौशन किया है"। धन्यवाद कैप्टन आलोक आनंद। आपके पिता जहाँ कही भी है,उन्हें आप पर गर्व हो रहा होगा।
रविवार, 30 सितंबर 2018
बिहार : गर्व है पूर्व मेयर समीर की परवरिश पर।
Tags
# बिहार
Share This
About आर्यावर्त डेस्क
बिहार
Labels:
बिहार
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
Author Details
सम्पादकीय डेस्क --- खबर के लिये ईमेल -- editor@liveaaryaavart.com
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें