सहरसा और मधेपुरा जिले से हजारों की संख्या में सहरसा स्टेशन पर एकत्रित, सहरसा से बरौनी जाकर 30 सितंबर को बरौनी-ग्वालियर ट्रेन पकड़कर जाएंगे
सहरसा। अब घर से वंचित समुदाय निकल पड़े हैं.ट्रेन पकड़ने की बारी है.संख्या कम नहीं है ऐसा नेताओं का मानना और कहना है.हजारों की संख्या है.कहते है कि पर्व-त्योहार बार-बार जनांदोलन एक बार.लोग उत्साह से अंहिसात्मक आंदोलन में शामिल होना चाह रहे हैं. सहरसा से हीरा सदा और मधेपुरा से सुनील यादव कहते हैं कि दोनों जिले से 1000 से ऊपर वंचित समुदाय के लोग आएं हैं.अभी सहरसा स्टेशन पर ठहरे हैं.यहां से चलकर बरौनी जाएंगे.रविवार 30 सितंबर को बरौनी से बरौनी-ग्वालियर ट्रेन पकड़कर ग्वालियर जाएंगे. मेला मैदान से जन आधारित जनांदोलन 2018 शुरू होगा छह सूत्री मांग है.जो इस प्रकार है- राष्ट्रीय आवासीय भूमि अधिकार कानून की द्योषणा एवं क्रियान्वयन, राष्ट्रीय कृषक हकदारी कानून की द्योषणा एवं क्रियान्वयन,राष्ट्रीय भूमि नीति की द्योषणा व क्रियान्वयन, भारत सरकार द्वारा पूर्व में गठित राष्ट्रीय भूमि सुधार परिषद और राष्ट्रीय भूमि सुधार कार्यबल समिति को सक्रिय करना,वनाधिकार कानून -2006 और पंचायत (विस्तार उपबन्ध) अधिनियम -1996 के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए राष्ट्रीय व प्रांतीय स्तर पर निगरानी तंत्र की स्थापना और भूमि संबंधी विवादों के शीघ्र समाधान के लिए त्वरित न्यायालयों का संचालन हो एकता परिषद के संस्थापक व विख्यात गांधीवादी चिंतक राजगोपाल पी.व्ही.नेतृत्व करेंगे.
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