बिहार : आखिरकार परिणय सूत्र में बंध गए - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।

शुक्रवार, 23 नवंबर 2018

बिहार : आखिरकार परिणय सूत्र में बंध गए

get-married
जौरा ,23 नवम्बर। मृत्युंजय संजय.जीवन विघा केंद्र से जुड़ने के बाद जीवन संगनी को भी ढूढ़ लिया.एकदूजे के मृत्युंजय संजय और सरिता आनन्थ हो गए.एकदम सादगी के साथ विवाह हुआ.खादी के सूत को गले में मृत्युंजय ने सरिता के गले में डाला और सरिता ने मृत्युजंय के गले में डाला और दोनों वैवाहिक बंधन में बंध गए. एकता परिषद, बिहार से जुड़े रहे.कई दशक तक बतौर प्रशिक्षक के रूप में कार्यशील थे मृत्युजंय संजय. बिहार के सुदूर ग्रामीण अंचल में जाकर गांधीवादी मूल्यों का प्रचार-प्रसार किया.इसके अलावे जन संगठन एकता परिषद के  मूल्यों व सिद्धांतों को एक प्रशिक्षक के हैसियत से अपने प्रशिक्षण के माध्यम से ग्रामीणों व कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित करते रहे इस आदर्श विवाह पर हर्ष व्यक्त करने वालों में कुलदीप तिवारी, प्रदीप प्रियदर्शी, अनिल कुमार गुप्ता, अनीश, निर्भय सिंह, विजय भारतीय, बंटी चौहान, विशाल जैन आदि हैं.

कोई टिप्पणी नहीं: