कोलकाता, 28 दिसम्बर, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शुक्रवार को भाजपा नीत केद्र सरकार पर जान बूझकर कई केंद्रीय परियोजनाओं के लिए धनराशि जारी नहीं करने का आरोप लगाया और कहा कि मनरेगा के तहत 2,500 करोड़ रुपये की राशि केंद्र ने राज्य को जारी नहीं किए हैं। केंद्र पर राज्य के प्रति सौतेला व्यवहार करने का आरोप लगाते हुए, बनर्जी ने कहा कि कुछ जगहों पर बैंक शाखाओं की कमी की वजह से बंगाल के गांवों के लोग अपना पैसा नहीं निकाल पा रहे हैं। उन्होंने कहा, "कुछ लोगों को मनरेगा योजना के तहत राशि नहीं मिल रही है, क्योंकि केंद्र ने पैसे मुहैया नहीं कराए हैं। यह उनका पैसा नहीं है, यह आम आदमी का पैसा है।" बनर्जी ने दक्षिण 24 परगना जिले के सुंदरबन क्षेत्र में एक समारोह में कहा, "मनरेगा योजना के तहत राज्य का करीब 2,500 करोड़ रुपये बकाया है। हमने लोगों को बचाने के लिए राज्य निधि से राशि मुहैया कराने का निर्णय लिया है।" उन्होंने कहा, "बंगाल में ऐसी कई जगहें हैं, जहां लोग मनरेगा के तहत अपने पैसे नहीं ले पाते हैं। आजादी के इतने वर्षो बाद आज भी ऐसे क्षेत्रों में बैंक नहीं हैं।" तृणमूल कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि केंद्र का कर्तव्य है कि वह राज्यों की मदद करे, न कि राशि को रोके, क्योंकि राज्य और केंद्र सरकारें एक लोकतांत्रिक प्रक्रिया के तहत चुन कर आती हैं। पश्चिम बंगाल में गंगासागर मेले का जिक्र करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र ने न तो इसके लिए कोई धनराशि मुहैया कराई और न ही वहां व्यवस्था बेहतर करने के लिए कोई पहल की है। उन्होंने कहा, "केंद्र ने कुंभ मेला के लिए काफी धनराशि मुहैया कराई, लेकिन उन्हें गंगासागर मेले की कोई फिक्र नहीं है। हमें उनके पैसे की जरूरत नहीं है। जाइए और क्षेत्र में राज्य सरकार द्वारा किए गए कार्यों को देखिए। सभी व्यवस्थाएं अब वहां मौजूद हैं।"
शनिवार, 29 दिसंबर 2018
केंद्र ने मनरेगा के 2500 करोड़ रुपये जारी नहीं किए : ममता
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