मतदान प्रतिशत की प्रविष्टि एप पर ही होगी
मतदान के प्रतिशत की गणना की प्रविष्टि हेतु मत प्रतिशत मोबाइल एप के उपयोग के संबंध में भारत निर्वाचन आयोग ने निर्देश जारी किए हैं। निर्देश अनुसार मतदान दिवस के दिन एन्ट्री केवल सेक्टर अधिकारी या एआरओ, डीईओ द्वारा की जाएगी। पीठासीन अधिकारी या मतदान अधिकारी द्वारा यह इंट्री नही की जाएगी। प्रथम इंट्री 9 बजे इसके बाद प्रत्येक दो घंटे में 11, 1, 3 , 5 , 6 बजे मतदान समाप्ति के पश्चात अंतिम इंट्री की जाएगी। सेक्टर अधिकारी जो जानकारी मत प्रतिशत मोबाइल एप्प पर इंट्री करेगे वही जानकारी भारत निर्वाचन आयोग के निर्धारित न्यू सुविधा एडमिन मोबाइल एप के माध्यम से एआर ओ पीसी के द्वारा इंट्री की जाएगी। मतदान समाप्ति पर मतदाता सूची में चिन्हित दिव्यांग मदाताओ पीडब्ल्यूडी वोटर्स मे से कुल कितने मतदाताओं ने मतदान किया है यह जानकारी भी मत एप्प के माध्यम से भेजी जाएगी। मतदान की जानकारी प्रत्येक दो घंटे में बढते क्रम में दर्ज कराई जाएगी। अर्थात यदि 9 बजे तक 100 मतदाताओ ने मतदान किया है तो संख्या 100 दर्ज होगी। यह संख्या पुरूष एवं महिला मतदाताओ की अलग अलग दर्ज की जाएगीं। मतदान समाप्ति पश्चात महिला पुरूष एवं थर्ड जेण्डर मतदाता की जानकारी पृथक-पृथक भी दर्ज की जाएगी। इंट्री पूर्ण करने के लिए 20 मिनट का समय दिया जाएगा। नियत समय के पश्चात सेक्टर की मिसिंग इंट्री यदि कोई हो तो ए आर ओ डीईओ स्तर से की जा सकेगी। 9 बजे तक की इंट्री 9.20 बजे तक ही की जा सकेगी। मतदान के दिवस पूर्व सभी मतदान दलो की रवानगी हां या ना में, सभी मतदान दलों का मतदान केंद्रो तक पहुचना हां या ना में दर्ज करनी होगी। मतदान दिवस को माकपोल संपन्न हुआ हा या ना में, सी आर सी संपन्न हुआ हा या ना में , मतदान सामाप्ति पश्चात मतदान दल रवाना हुआ हां या ना में जानकारी देनी होगी।
निर्वाचित प्रतिनिधि नहीं बन सकेंगे मतदान एवं मतगणना एजेंट
भारत निर्वाचन आयोग ने किसी भी निर्वाचन में केन्द्र एवं राज्य सरकार के मंत्रियों और सांसदों, विधानसभा एवं विधान परिषदों के सदस्यों तथा राज्य का सुरक्षा कवर प्राप्त किसी अन्य व्यक्ति को चुनाव लड़ रहे उम्मीदवारों के निर्वाचन अभिकर्ता, मतदान एवं मतगणना अभिकर्ता बनाने पर रोक लगाई है। निर्वाचन आयोग ने कहा है कि निर्वाचित प्रतिनिधियों के साथ रहने वाले सुरक्षा कर्मियों को मतदान केन्द्र एवं मतगणना केन्द्र में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जा सकती और न ही उनकी सुरक्षा को उनके सुरक्षा कर्मियों की अनुपस्थिति में खतरे में डाला जा सकता है। आयोग के मुताबिक सुरक्षा कवर वाले किसी व्यक्ति को निर्वाचन अभिकर्ता, मतदान अभिकर्ता एवं मतगणना अभिकर्ता बनने के लिए सुरक्षा कवर वापस करने की अनुमति भी नहीं दी जा सकती है।
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