पटना 16 फरवरी, भाकपा-माले राज्य सचिव कुणाल ने कहा है कि केंद्र सरकार द्वारा मौजूदा बजट सत्र में देशी-विदेशी कंपनियों व काॅरपोरट घरानों के हित में बैंकों के निजीकरण के विधिवत ऐलान के खिलाफ आगामी 15-16 मार्च 2021 को यूनाइटेड फोरम आॅफ बैंक यूनियन्स के आह्वान पर दो दिवसीय राष्ट्रव्यापी हड़ताल का समर्थन करती है, उनके आंदोलन के साथ एकजुटता प्रदर्शित करती है और बैंको के निजीकरण पर रोक लगाने की मांग करती है. उन्होंने आज प्रेस बयान जारी करके कहा कि रेलवे, हवाई-जहाज, बीमा, चिकित्सा, शिक्षा आदि को निजीकरण की प्रक्रिया में धकेलने के बाद मोदी सरकार अब खेती व बैंकों को निशाना बना रही है. निजीकरण की पूरी प्रक्रिया देश की जनता के लिए एक बड़ा हादसा है. देश के विकास में सार्वजनिक बैंकों की महत्पूर्ण भूमिका से कोई इंकार नहीं कर सकता. यह हमारे देश की अर्थव्यस्था की रीढ़ हैं. लेकिन इसे भी सरकार अब बेचने पर आमदा है. उन्होंने बिहार और देश की जनता से अपील की है कि जिस प्रकार से काॅरपोरेटों के हवाले कर देने के लिए लाए गए तीन कानूनों के खिलाफ आज देशव्यापी आंदोलन उठ खड़ा हुआ है, बैंकों के निजीकरण के प्रयासों के खिलाफ भी उसी प्रकार के आंदोलन के निर्माण की आवश्यकता है.
मंगलवार, 16 फ़रवरी 2021
बैंकों के निजीकरण के खिलाफ 15-16 मार्च को राष्ट्रव्यापी हड़ताल का समर्थन
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