पटना. बिहार में मछुआरों और नाविकों के तबके में आने वाले मल्लाह, सहनी, निषाद, बिंद जैसी पसमांदा समाज की आबादी काफी ज्यादा है (करीब 6 फीसदी है) और रियासत की 10 से 15 लोकसभा सीटों पर ये अहम रोल निभाते हैं.इस में एक ख़ास पहचान बना रखी है. बिहार में इस तबक़े का अबतक कोई बड़ा लीडर नहीं था इसलिए बीजेपी ने इस ऑप्शन का बेहतर तरीक़े से इस्तेमाल कर लिया.बिहार के पशुपालन मंत्री और विकासशील इंसान पार्टी (VIP) के अध्यक्ष मुकेश सहनी की काट में कांग्रेस न जन्मोत्री ममता निषाद को बिहार प्रदेश मछुआरा कांग्रेस की अध्यक्ष बनाया है. बिहार प्रदेश कांग्रेस कमिटी के आनुषंगिक प्रकोष्ठ का विस्तार करते हुए बिहार कांग्रेस अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा के अनुशंसा पर जन्मोत्री ममता निषाद को बिहार प्रदेश मछुआरा कांग्रेस का चेयरपर्सन बनाया गया. नए चेयरपर्सन की नियुक्ति पर बोलते हुए प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा ने बताया कि जन्मोत्री ममता निषाद कांग्रेस की सक्रिय कार्यकर्ता रही हैं और मोतिहारी से उनका ताल्लुक है. कांग्रेस पार्टी के शीर्ष नेतृत्व ने उनपर भरोसा जताते हुए बिहार मछुआरा कांग्रेस की कमान उन्हें सौंपी है ताकि हमारे शीर्ष नेता सोनिया गांधी एवं राहुल गांधी के हाथ को मजबूती मिलें. बिहार प्रदेश मछुआरा कांग्रेस के चेयरपर्सन के रूप में जन्मोत्री ममता निषाद के मनोनयन पर बिहार प्रदेश कांग्रेस कमिटी के मीडिया विभाग के चेयरमैन राजेश राठौड़ ने बताया कि श्रीमती निषाद मछुआरा समाज के लिए लगातार संघर्ष करती आई हैं. पार्टी ने उन्हें यह पद उनके संघर्षों को देखते हुए दिया है.
मंगलवार, 21 सितंबर 2021
बिहार : प्रदेश मछुआरा कांग्रेस की अध्यक्ष जन्मोत्री ममता
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