रांची, 20 नवंबर, अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में पदार्पण के साथ प्रभावित करने वाले भारतीय तेज गेंदबाज हर्षल पटेल का मानना है कि उनकी सफलता का राज यह है कि उन्होंने अपनी सीमाओं को पहचाना और अपनी असल क्षमता को मैदान पर दिखाने के लिये मेहनत की । अपने 31वें जन्मदिन से चार दिन पहले अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में पदार्पण करने वाले हर्षल ने आईपीएल 2021 सत्र में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलोरके लिये शानदार प्रदर्शन किया । उन्होंने न्यूजीलैंड के खिलाफ कल दूसरे टी20 मैच में 25 रन देकर दो विकेट लिये और मैन आफ द मैच रहे । उन्होंने मैच के बाद कहा ,‘‘मुझे पता था कि मैं शीर्ष स्तर पर खेल सकता हूं । मैं शीर्ष स्तर पर बल्ले और गेंद दोनों से अच्छा प्रदर्शन कर सकता हूं । मै अपनी क्षमता का सर्वश्रेष्ठ प्रयोग करने के लिये मेहनत कर रहा था ।मुझे एक पल को भी नहीं लगा कि भारतीय टीम में पदार्पण नहीं कर सकूंगा ।’’ हर्षल ने 2008 . 09 में वीनू मांकड़ ट्रॉफी में पदार्पण करके 23 विकेट लिये ।इसके बाद गुजरात के लिये खेले और 2010 अंडर 19 विश्व कप में भारतीय टीम का हिस्सा रहे । रणजी ट्रॉफी में उन्हें गुजरात के लिये खेलने का मौका नहीं मिला तो वह हरियाणा के लिये खेलने लगे और 2011 . 12 सत्र में 28 विकेट लिये । उन्होंने कहा कि घरेलू क्रिकेट खेलकर उन्हें अपनी क्षमता का पता चला और उसी पर उन्होंने मेहनत की । उन्होंने कहा ,‘‘ तेज गेंदबाज को रफ्तार चाहिये लेकिन मुझे लगा कि मैं 135 किमी प्रति घंटे से ज्यादा तेज गेंद नहीं फेंक सकता । बहुत कोशिश करने पर 140 लेकिन उससे ज्यादा नहीं । फिर मैने दूसरी चीजों पर फोकस किया और अपने कौशल को निखारा ।’’ उन्होंने कहा ,‘‘ मेरा एक्शन बायो मैकेनिक्स की नजर में परफेक्ट नहीं है लेकिन यही मेरी ताकत बन गया । इसी की वजह से बल्लेबाजों को मुझे खेलने में दिक्कत आती है
शनिवार, 20 नवंबर 2021
कभी नहीं सोचा था कि भारतीय टीम में पदार्पण नहीं कर सकूंगा : हर्षल
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