ढाका, 14 अप्रैल, बांग्लादेश और नेपाल में हजारों लोगों ने कोरोना वायरस महामारी के कारण दो साल के अंतराल के बाद बृहस्पतिवार को अपने-अपने नए साल को रंगारंग जुलूसों और संगीतमय कार्यक्रमों के साथ मनाया। बांग्लादेश की राजधानी ढाका में पारंपरिक लाल पोशाक पहने लोगों ने बांग्ला वर्ष 1429 का पूरे जोश और हर्षोल्लास के साथ स्वागत किया। ढाका विश्वविद्यालय परिसर में स्थित कला महाविद्यालय एवं ऐतिहासिक रमना पार्क में लोगों ने नये साल के स्वागत में जुलूस निकाला, गाना गाया और नृत्य किया। इसी तरह, ढाका के अन्य हिस्सों एवं देश के विभिन्न भागों में नववर्ष के उपलक्ष्य में जूलूस निकाला गया। हालांकि, मुस्लिम बहुल बांग्लादेश में भीषण गर्मी के बीच रमजान के उपवास के चलते उत्सव थोड़ा फीका रहा। बांग्लादेश में बृहस्पतिवार को राष्ट्रीय अवकाश था। बांग्ला कैलेंडर 16वीं सदी के मुगल बादशाह अकबर के तहत भूमि कर संग्रह की सुविधा के लिए इस्लामी और सौर हिंदू कैलेंडर के संयोजन से बनाया गया था। महामारी के कारण पिछले दो वर्षों से इसका जश्न निलंबित था। इस बीच, नेपाल में भी लोगों ने नेपाली वर्ष 2079 का स्वागत हिंदू मंदिरों और बौद्ध तीर्थस्थलों में पूजा-अर्चना के साथ किया। नये साल के उपलक्ष्य में परिवारों ने समृद्धि और सौभाग्य के लिए प्रार्थना की। कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के कारण पिछले साल नए साल के जश्न पर प्रतिबंध लगा दिया गया था और इससे एक साल पहले लॉकडाउन के कारण यह उत्सव नहीं मनाया जा सका था। नेपाल के स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि बुधवार को देश में कोविड-19 के केवल 19 नए मामले दर्ज किए गए और संक्रमण से किसी की मौत नहीं हुई।
गुरुवार, 14 अप्रैल 2022
महामारी के कारण बांग्लादेश और नेपाल ने दो साल बाद नववर्ष मनाया
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