- आंदोलनरत ऑटो चालकों की मांगों पर सहानुभूतिपूर्वक विचार करे सरकार
पटना, भाकपा-माले राज्य सचिव कुणाल ने कहा है कि पार्टी के देशव्यापी आह्वान पर आगामी 7-13 अप्रैल तक लगातार बढ़ती महंगाई के खिलाफ पूरे राज्य में विरोध सप्ताह का आयोजन किया जाएगा. पांच राज्यों में सम्पन्न विधान सभा चुनावों के बाद से अब तक केंद्र सरकार ने लगातार 12 वीं बार डीजल-पेट्रोल के दाम बढ़ाए हैं. महामारी और लॉक डाउन के कारण पिछले दो वर्षों में बेरोज़गारी चरम पर पहुँच गयी है. ऐसे में ईंधन के दाम को बढ़ाना - जिससे खाद्य पदार्थों के दाम भी निश्चित ही बढ़ेंगे - देश के ग़रीबों और आम लोगों के साथ क्रूर मज़ाक़ है. उन्होंने पार्टी की जिला व नीचे की कमिटियों का आह्वान किया कि महंगाई के सवाल पर गांव-गावं तक जाएं, चट्टी-बाजारों में सभा करें ताकि केंद्र सरकार पर डीजल व पेट्रोल मूल्य वृद्धि वापसी के लिए दबाव बनाया जा सके. उन्होंने राजधानी पटना में पांच सूत्री मांगों को लेकर धरना-प्रदर्शन कर रहे ऑटो चालकों के आंदोलन का समर्थन करते हुए उनकी मांगों पर सरकार से सहानुभूतिपूर्वक विचार करने का आग्रह किया है. कहा कि विगत 1 अप्रैल से पटना में डीजल ऑटो परिचालन पर रोक लगा देने से लगभग 10 हजार ऑटो चालकों की रोजी-रोटी बंद हो गई है. सीएनजी की व्यवस्था अभी उतनी कारगर नहीं हो सकी है. सीनएजी पंपों की संख्या कम होने के कारण ऑटो चालकों को कई घंटे लाइन में खड़ा रहना पड़ता है. उन्होनंे कहा कि सीएनजी ऑटो में पूर्व की भंति परमिट निर्गत करने, सब्सिडी चालू रखने, डीजल व पेट्रोल ऑटो की कीमत लगाकर लोन पर सीएनजी ऑटो उपलब्ध कराने आदि मांगों पर सरकार को विचार करना चाहिए.. तबतक न्यूनतम 6 माह के लिए डीजल ऑटो के परिचालन को अनुमति प्रदान करे.
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