मनरेगा, प्रधानमंत्री आवास योजना(ग्रामीण) एवं लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान के द्वितीय चरण के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में ठोस/तरल अपशिष्ट प्रबंधन के तहत किये जा रहे कार्यों के बारे में बताया गया। इन सभी योजनाओं के क्रियान्वयन में जनप्रतिनिधियों से अपेक्षित सहयोग की अपील की गई। जिला कृषि पदाधिकारी द्वारा कृषि विभाग की विभिन्न योजनाओं के बारे में जानकारी दी गई। CFMS/PFMS/DBT के माध्यम से किसानों के बीच अनुदान वितरण के संबंध में जानकारी दी गई। बताया गया कि कृषि विभाग की योजनाओं का लाभ लेने के लिए किसानों का पंजीकरण अनिवार्य है। सभी प्रखंडों में ई-किसान भवन में किसानों के निःशुल्क पंजीकरण की व्यवस्था की गई है।जिन किसानों ने अपना पंजीकरण नहीं कराया है, उन्हें पंजीकरण के लिए प्रेरित करने का अनुरोध सभी जनप्रतिनिधियों से किया गया। सहायक निदेशक सामाजिक सुरक्षा कोषांग द्वारा समाज कल्याण विभाग द्वारा संचालित विभिन्न पेंशन एवं अन्य कल्याणकारी योजनाओं के बारे में बताया गया। कबीर अंत्येष्टि योजना, राष्ट्रीय पारिवारिक लाभ योजना, मुख्यमंत्री पारिवारिक लाभ योजना,विभिन्न पेंशन योजना, मुख्यमंत्री भिक्षावृत्ति निवारण योजना, मुख्यमंत्री निः शक्तजन विवाह योजना, अंतर्जातीय विवाह प्रोत्साहन अनुदान योजना, मुख्यमंत्री सामर्थ्य योजना(संबल) आदि की पात्रता तथा आवेदन की प्रक्रिया के बारे में जानकारी दी गई। सभी जनप्रतिनिधियों से इन सभी योजनाओं का लाभ सभी पात्र व्यक्ति को मिले, इसके लिए सहयोग की अपील की गई। सिविल सर्जन द्वारा विभिन्न विभागीय योजनाओं- मिशन परिवार विकास के तहत योग्य दम्पत्ति को दी जाने वाली प्रोत्साहन राशि के बारे में बताया गया। ग्राम स्वास्थ्य, स्वच्छता एवं पोषण दिवस कार्यक्रम के बारे में भी विस्तृत रूप से जानकारी दी गई। प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान, नियमित टीकाकरण, कोविड टीकाकरण आदि की व्यवस्था के बारे विशेष रूप से बताया गया तथा जनप्रतिनिधियों से अपेक्षित सक्रिय सहयोग की अपील की गई। जिला पंचायत राज पदाधिकारी द्वारा विभाग द्वारा क्रियान्वित की जा रही विभिन्न योजनाओं के बारे बताया गया।बताया गया कि विभाग द्वारा जिला में 73 पंचायत सरकार भवन का निर्माण कराया गया है। वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए 89 पंचायत सरकार भवन के निर्माण का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। पंचायत सरकार भवन के निर्माण के लिए उपयुक्त स्थल का चयन कर प्रस्ताव भेजने में सक्रिय सहयोग की अपील की गई। सभी वार्डों में नए गठन तथा नवगठित को प्रभार सौंपने के कार्य को सर्वोच्च प्राथमिकता देने का अनुरोध किया गया।नल जल योजना के उपभोक्ताओं से उपभोक्ता शुल्क संग्रहण के लिए भी लोगों को जागरूक करने को कहा गया। आज के उन्मुखीकरण कार्यक्रम में जिलाधिकारी ने सभी जनप्रतिनिधियों को संबोधित किया तथा इस आयोजन के उद्देश्य एवं विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के क्रियान्वयन में जनप्रतिनिधियों की भूमिका पर विशेष रूप से प्रकाश डाला।आज के कार्यक्रम में ग्रामीण विकास विभाग की विभिन्न योजनाओं के क्रियान्वयन में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले प्रखंड विकास पदाधिकारियों एवं अन्य पदाधिकारियों/कर्मियों को प्रशस्ति पत्र देकर पुरस्कृत किया गया। इससे पूर्व आज के उन्मुखीकरण कार्यक्रम का शुभारंभ अपर मुख्य सचिव लघु जल संसाधन विभाग, जिलाधिकारी, उप विकास आयुक्त, जिला परिषद अध्यक्ष/उपाध्यक्ष द्वारा संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया गया। इस अवसर पर विभिन्न विभागों के जिला स्तरीय पदाधिकारी, जिला पार्षदगण, प्रमुखगण, मुखियागण, प्रखंड विकास पदाधिकारी सहित अन्य पदाधिकारी मौजूद थे।
नालंदा। जमीनी स्तर की योजनाओं को लेकर पंचायती राज संस्थाओं के नवनिर्वाचित जनप्रतिनिधियों के साथ किया गया संवाद।सभी जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ सभी पात्र लोगों को मिले, इस उद्देश्य के लिए सभी जनप्रतिनिधियों से सहयोग की अपील।लघु जल संसाधन विभाग द्वारा क्रियान्वित राजकीय नलकूप योजना एवं अन्य योजनाओं के संदर्भ में विभाग के अपर मुख्य सचिव ने जनप्रतिनिधियों से किया संवाद तथा लिया फीडबैक.परिवहन विभाग, ग्रामीण विकास विभाग,सामाजिक सुरक्षा,कृषि विभाग,स्वास्थ्य विभाग एवं पंचायती राज विभाग द्वारा पीपीटी के माध्यम से सभी जन प्रतिनिधियों को दी गई योजनाओं के क्रियान्वयन की प्रक्रिया के बारे में जानकारी। त्रिस्तरीय पंचायती राज संस्था के नव निर्वाचित जनप्रतिनिधियों के साथ जमीनी स्तर पर क्रियान्वित की जा रही योजनाओं के संदर्भ में आज आरआईसीसी सभागार में संवाद किया गया। लघु जल संसाधन विभाग द्वारा क्रियान्वित राजकीय नलकूप योजना एवं अन्य योजनाओं के बारे में विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री रवि मनुभाई परमार द्वारा स्वयं जानकारी दी गई तथा उनके द्वारा जनप्रतिनिधियों से फीडबैक भी लिया गया। राजकीय नलकूप योजना के बारे में बताया गया कि राज्य सरकार द्वारा लिये गए निर्णय के अनुसार वर्ष 2019 से सभी राजकीय नलकूपों के संचालन की जिम्मेदारी पंचायतों को दी गई है। इसकी मोनिटरिंग के लिए जिलास्तर पर उप विकास आयुक्त की अध्यक्षता में समिति गठित है। उन्होंने कहा कि सभी जिलों में नवनिर्वाचित जनप्रतिनिधियों के साथ इस संदर्भ में संवाद किया जा रहा है। उन्होंने उपस्थित जनप्रतिनिधियों से विभाग की योजनाओं के बारे में फ़ीडबैक तथा सुझाव प्राप्त किया। इस उन्मुखीकरण कार्यक्रम में सभी जनप्रतिनिधियों को विभिन्न विभागों द्वारा जमीनी स्तर पर क्रियान्वित विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के बारे में जानकारी दी गई। मुख्य रूप से ग्रामीण विकास विभाग,परिवहन विभाग,सामाजिक सुरक्षा, कृषि विभाग,स्वास्थ्य विभाग एवं पंचायती राज विभाग के पदाधिकारियों द्वारा विभाग से संबंधित सीधे तौर पर जनसरोकार/जनकल्याण से जुड़ी योजनाओं के बारे में बताया गया।इन योजनाओं का लाभ सभी पात्र लोगों को मिले, इसके लिए सभी जनप्रतिनिधियों को उनके दायित्व के बारे में बताया गया तथा इनके लिए सहयोग की अपील की गई। जिला परिवहन पदाधिकारी द्वारा बिहार मोटरयान (संशोधित) नियमावली के तहत वाहन दुर्घटना में मृत्यु की स्थिति में निकटतम आश्रितों को देय मुआवजे तथा दुर्घटना में घायलों को देय मुआवजे की प्रक्रिया के बारे में जानकारी दी गई।बताया गया कि मुआवजे की राशि के लिए मृतकों/ घायलों के निकटतम आश्रितों द्वारा परिवहन विभाग के वेबसाइट पर रोड एक्सीडेंट कंपनसेशन पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन किया जाना होगा। इसके साथ आवश्यक दस्तावेजों को संलग्न करना होगा। लोगों के बीच जानकारी के अभाव के कारण मुआवजे का आवेदन करने में अनावश्यक विलंब होता है।इसमें सभी जनप्रतिनिधियों से सक्रिय भूमिका निभाने का अनुरोध किया गया। ग्रामीण विकास विभाग से संबंधित विभिन्न योजनाओं के बारे में उप विकास आयुक्त श्री वैभव श्रीवास्तव द्वारा विस्तार से जानकारी दी गई। जल-जीवन-हरियाली अभियान के तहत किये जा रहे विभिन्न कार्यों/योजनाओं के क्रियान्वयन की प्रक्रिया एवं अद्यतन स्थिति के बारे में बताया गया।
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