एनसीडीओ ने बताया कि भ्रूण हत्या के रोकथाम के लिए जिला प्रशासन के आदेश पर अवैध रूप से संचालित फर्जी अल्ट्रासाउंड सेंटर, नर्सिंग होम, एक्स-रे व लैव पर छापेमारी अभियान चलाया जाएगा। इसी क्रम मे बस स्टैंड के समीप न्यू ओम अल्ट्रासाउंड सेंटर कागजात की जांच करने पर सभी कागजात ठीक पाया गया, जबकि गायत्री अल्ट्रासाउंड सेंटर का रजिस्ट्रेशन नहीं पाया गया। पटना गद्दी चौक के समीप विभिन्न अल्ट्रासाउंड सेंटर बंद कर संचालक फरार हो गया। जांच टीम ने मिथिला डिजिटल अल्ट्रासाउंड सेंटर पर सभी बिन्दुओं पर कागजात की जांच की गई। एनसीडीओ ने बताया कि पीसी एण्ड पीएनडीटी के अंतर्गत लिंग परीक्षण कानूनी अपराध है। भ्रुण हत्या को रोकने के लिए इस तरह का अभियान चलाया जा रहा है। जांच टीम ने अल्ट्रासाउंड एवं नर्सिंग होम के कागजातों की जांच करने के बाद जिला प्रशासन को जांच रिपोर्ट सौंपने की बात कही। बता दें कि सीमावर्ती क्षेत्र जयनगर में बङे पैमाने पर फर्जी अल्ट्रासाउंड सेंटर संचालित है। अधिकांश अल्ट्रासाउंड सेंटर के पास वैध कागजात उपलब्ध नहीं है। आज हालांकि छापेमारी की खबर सुनते ही अधिकांश अल्ट्रासाउंड केंद्रों के संचालकों में हड़कंप मच गया। कई संचालक क्लिनिक बंद कर फरार हो गये। इस अभियान में अस्पताल प्रबंधक प्रभाष कुमार प्रशांत, खजौली स्वास्थ्य प्रबंधक अर्चना भट्ट, थाना एसआई बी.डी. राम व स्वास्थ्यकर्मी लक्ष्मी कांत समेत अन्य मौजूद थे।
जयनगर/मधुबनी, स्वास्थ्य विभाग की टीम ने स्थानीय प्रशासन के सहयोग से शुक्रवार को मधुबनी जिले के जयनगर के शहरी क्षेत्रों में अल्ट्रासाउंड सेंटर एवं नर्सिंग होम छापेमारी कर जांच किया। मधुबनी सदर अस्पताल के एनसीडीओ डॉ. एस.एन. झा, पीएचसी प्रभारी डॉ. रवि भुषण प्रसाद, खजौली पीएचसी प्रभारी डॉ. ज्योति इंद्र नारायण, सीओ अभिनव राज के संयुक्त छापेमारी अभियान के तहत विभिन्न नर्सिंग होम पहुंच कर कागजात की जांच की गई। स्वास्थ्य विभाग की टीम को शहर मे पहुंचने से पहले अवैध रूप से संचालित कई अल्ट्रासाउंड सेंटर पर ताला लगा कर फरार हो गया।
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