बिहार : आज आशा एवं आशा फैसिलिटेटरो का गर्दनीबाग में महाजुटान - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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गुरुवार, 3 अगस्त 2023

बिहार : आज आशा एवं आशा फैसिलिटेटरो का गर्दनीबाग में महाजुटान

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पटना. आशा संयुक्त संघर्ष मंच बिहार का आह्वान पर आशा एवं आशा फैसिलिटेटरो का अनिश्चितकालीन हड़ताल 12 जुलाई से जारी है.इन 21 दिनों में 9 सूत्री मांगों पर दो बार वार्ता की गयी,जो बेनतीजा साबित हुई. इस बीच हड़ताल की मुख्य नेत्री तथा बिहार राज्य आशा कार्यकर्ता संघ (गोप गुट- ऐक्टू) अध्यक्ष शशि यादव ने कहा कि गत 12 जुलाई से बिहार की तकरीबन एक लाख आशा और आशा फैसिलिटेटर अपने 9 सूत्री मांगों खासकर पारितोषिक नहीं मानदेय, एक हजार नहीं दस हजार, कोरोना काल सहित अन्य सभी कार्य के बकाया का भुगतान करने आदि मांगों को लेकर आज 21वें दिन भी अनिश्चितकालीन हड़ताल जारी रही. उन्होंने कहा कि एक हजार मिलने वाली पारिश्रमिक राशि के मानदेय में तब्दील करने के बाद मानदेय को दस हजार करने पर जोर देने पर सरकार नकारात्मक कदम उठाने लगी है.आशा एवं आशा फैसिलिटेटर को कार्य मुक्ति,कार्य में व्यवधान करने वालों पर केस दर्ज करने एवं केस दर्ज नहीं करने वाले चिकित्सा प्रभारी पर ही केस करने की धमकी दी जा रही है.

          

आशाओं का कहना है कि किस राज्य में क्या-क्या सुविधाएं मिलती हैं, इसे हमने भारत सरकार के स्वास्थ्य विभाग से विधिवत प्राप्त करके हड़ताल पूर्व अपनी मांगों को सरकार को दे रखा है.भूखे पेट अब और काम नहीं होगा, पारितोषिक नहीं 10 हजार रुपए मासिक मानदेय देना होगा, रिटायरमेंट के बाद हम खाली हाथ घर नहीं लौटेंगे.आशा फैसिलिटेटर 3 अगस्त को पटना पहुंच रही हैं. गर्दनीबाग के महाजुटान से हजारों महिलाएं अपनी मांगों को लेकर बिहार की जनता और सरकार से फरियाद करेंगी. बिहार राज्य आशा कार्यकर्ता संघ की अध्यक्ष शशि यादव ने कहा कि तमाम तरह के दमन को झेलते हुए आशा शांतिपूर्ण तरीके से हड़ताल पर हैं.परिवार के साथ कई दिनों तक सत्याग्रह पर रही हैं.भीषण गर्मी और उमस में दर्जनों आशाएं बीमार पड़ी है.लेकिन सरकार का रुख दमनात्मक है. उन्होंने कहा कि मांगें पूरी होने तक हड़ताल जारी रहेगी. 18 महीने के पिछला बकाया में एक महीने की राशि 10 करोड़ देने की बात कहकर वे हड़ताल की मुख्य मांगें को दरकिनार करना चाहते हैं.आशाएं सजग हैं, गुमराह करने का खेल नहीं चलेगा.अध्यक्ष शशि यादव ने कहा कि आशा एवं आशा फैसिलिटेटरो का महाजुटान पटना में 3 अगस्त को होगा. इस बीच जानकारी मिली है कि आशा एवं आशा फैसिलिटेटर की चट्टानी एकता के कारण  07 अगस्त से 14 अगस्त तक चलने वाला मिशन इंद्रधनुष के तहत टीकाकरण का अभियान का पहला चरण बिहार में शुरू न करके रद कर दिया गया है.वहीं नियमित टीकाकरण को जारी रखा जा रहा है. इसका नतीजा आशा एवं आशा फैसिलिटेटरो को ए.एन. एम.दीदियों से सीधे मुकाबला शुरू हो रहा है.हड़ताली आशा एवं आशा फैसिलिटेटर नियमित टीकाकरण नहीं होने देने पर अमादा है.उन लोगों का साथ वैक्सीन ढोने वाले हड़ताली कुरियर का मिल रहा है.कुरियर भी हड़ताल पर है.बताया गया कि नियमित टीकाकरण में व्यवधान डालने वाली हड़ताती आशा कार्यकर्ताओं की सूची प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी द्वारा ए.एन. एम.दीदियों से मांग की जा रही है.जो विवाद को बढ़ावा देने वाला साबित होगा.आज धनरूआ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र से आशा एवं आशा फैसिलिटेटरो ने एक वाइल भी टीका का निकालने नहीं दिया.इसमें हड़तालरत कुरियर का भी योगदान रहा.

     

बिहार में पहला चरण 07 अगस्त से 14 अगस्त का रद

आशा एवं आशा फैसिलिटेटरो की बेमियादी हड़ताल के कारण से ही मिशन इंद्रधनुष के तहत शून्य से पांच साल तक के बच्चों को खसरा एवम रुबेला, निमोनिया, डिफ्थेरिया, काली खांसी, टेटनस, जापानीज इन्सेफेलाइटिस, पोलियो समेत कई प्रकार की बीमारियों से बचाव के लिए टीके नहीं लगाए जाएगे.इस अभियान की शुरुआत सात अगस्त से होगी. स्वास्थ्य विभाग ने अभियान को सफल बनाने के लिए बच्चों को चिह्न्ति करना शुरू कर दिया है. मिशन इंद्रधनुष के तहत टीकाकरण का यह अभियान तीन महीने तक चलेगा. पहला चरण 07 अगस्त से 14 अगस्त तक होगा.दूसरा चरण की शुरुआत 11 सितंबर से 16 सितंबर तक एवं तीसरा चरण 9 अक्तूबर से 14 अक्टूबर तक यह अभियान चलेगा.जिसमें बच्चों के नियमित टीकाकरण के साथ-साथ गर्भवती महिलाओं का टीकाकरण भी होगा.यू-विन पर टीकाकरण सेवाओं, टीकाकरण की ताजा स्थिति, वितरण, नियमित टीकाकरण सत्र कराने की योजना और एंटीजन-वाइज कवरेज जैसी जानकारी जुटाई जाएगी.बताया जा रहा है कि यू-विन पर सभी गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं के टीकाकरण के लिए व्यक्तिगत ट्रैकिंग, आगामी खुराक के लिए रिमाइंडर और ड्रॉपआउट के फॉलो-अप के लिए डिजिटल पंजीकरण किया जा सकेगा.

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