- समाज को अच्छा बनाने की कला है जैन धर्म-डॉ. अलका
गाजियाबाद। वसुंधरा स्थित मेवाड़ ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशंस के विवेकानंद सभागार में महावीर जयंती समारोह में छात्र-छात्राओं ने अनेक सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत कर महावीर जी के प्रति अपनी आस्थाएं व्यक्त कीं। भजन, गीत, सम्भाषण व कविता पाठ कर उन्होंने भगवान महावीर के आदर्शों व सत्कार्यों को रेखांकित किया। इस मौके पर मेवाड़ ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशंस की निदेशिका डॉ. अलका अग्रवाल ने कहा कि जियो और जीने दो, स्वयं पर नियंत्रण रखो, सह-अस्तित्व को कायम रखो, स्वयं को शुद्ध करो और समाज को अच्छा बनाओ की कला केवल जैन धर्म में ही मिलती है। भगवान महावीर ने तमाम तकलीफें सहकर भी देश व समाज की उन्नति के लिए संघर्षरत रहने की प्रेरणा दी। भगवान महावीर देश के हर वर्ग व समुदाय के प्रणेता हैं। महावीर के कार्यों व आदर्शों को अपनाने के लिए उनकी जीवनी पढ़ना बहुत जरूरी है। उन्होंने कहा कि भगवान महावीर किसी एक धर्म के नहीं बल्कि सभी धर्मों के प्रणेता हैं। उन्होंने करूणा, प्रेम व वात्सल्य के महत्व को जन-जन तक बड़ी सहजता से पहुंचाया। भगवान महावीर के उपदेश आज भी प्रासंगिक हैं। आज के दौर में समाज जिस हिंसा की राह पर चल निकला है, महावीर के अहिंसावादी उपदेश ही उसे रोक सकते हैं। इससे पहले मेवाड़ ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशंस की निदेशिका डॉ. अलका अग्रवाल ने सरस्वती, महावीर जी व भारत माता की प्रतिमाओं के समक्ष दीप जलाकर एवं पुष्प अर्पित करके समारोह की शुरुआत की। इसके बाद बी.एड, एचएसएस, बीबीए, बीसीए, एलएलबी आदि विभागों के छात्र-छात्राओं प्रियंका, कार्तिक, तन्नु, सूर्य प्रताप, अंजलि, अक्षिता एंड ग्रुप आदि ने रंगारंग कार्यक्रम प्रस्तुत किये। कुशल संचालन सानिया ने किया। इस अवसर पर मेवाड़ ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशंस के तमाम विभागों का शिक्षण स्टाफ व विद्यार्थी मौजूद रहे।
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