- श्री काशी विश्वनाथ धाम में आटोमेटिक आरएमयू द्वारा निर्बाध विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित करने के निर्देश
शिकायतों एवं विद्युत आपूर्ति की समीक्षा के दौरान शर्मा ने कहा कि वाराणसी में 1300 करोड़ रुपये की योजनाएं स्वीकृत हुई हैं, जिसके अंतर्गत 1202 स्थानों पर नए वितरण परिवर्तक एवं 1955 स्थानों पर परिवर्तकों की क्षमतावृद्धि का कार्य किया जाएगा। अग्रेतर क्रम में ऊर्जा मंत्री द्वारा प्रत्येक मुख्य अभियंता वितरण से उनके क्षेत्र में हो रहे विकास कार्य, उपभोक्ताओं की शिकायतों एवं विद्युत आपूर्ति की समीक्षा की गई। मुख्य अभियन्ता (वितरण) द्वितीय ने कहा कि वितरण परिवर्तकों की अतिभारिता के कारण कुछ स्थानों पर उपभोक्ताओं की शिकायत प्राप्त हुई। उक्त स्थानों पर परिवर्तकों की क्षमतावृद्धि हेतु चिह्नित करते हुए बिजनेस प्लान वर्ष 2024-25 में स्वीकृत करा लिया गया है। इसे शीघ्र ही पूर्ण करा लिया जाएगा। मुख्य अभियन्ता मिर्जापुर क्षेत्र द्वारा अवगत कराया गया कि बिजनेस प्लान 2023-24 के 2098 कार्यों को पूर्ण करा लिया गया है एवं शेष कुछ बचे कार्यों को शीघ्र पूर्ण करा लिया जाएगा। बीते कुछ महीनों में भीषण गर्मी के दौरान भी विद्युत विभाग द्वारा पिछले वर्षों की तुलना में बेहतर विद्युत आपूर्ति बनाये रखने पर ऊर्जा मंत्री ने विभागीय अधिकारियों एवं कर्मचारियों की प्रशंसा की। उन्होंने निर्देशित किया कि आधारभूत संरचनाओं के अनुरक्षण हेतु बेस्ट प्रेक्टिस का पालन किया जाये। जिससे कि उपभोक्ताओं को 24 घन्टे विद्युत आपूर्ति उपलब्ध कराने का सरकार का संकल्प पूरा हो सके। मुख्य अभियन्ता (वितरण)- प्रथम द्वारा अवगत कराया गया कि उनके वितरण क्षेत्र में 10 पॉवर परिवर्तकों की क्षमतावृद्धि का कार्य पूर्ण करा लिया गया है। 596 स्थानों पर वितरण परिवर्तकों की क्षमतावृद्धि की गई एवं 207 स्थानों पर नये वितरण परिवर्तक लगाये गये हैं। आरडीएसएस एवं बिजनेस प्लान 2024-25 में अनेक स्थानों पर कार्य कराये जा रहे हैं। 28 व 29 मई एवं 7 व 8 जून को अत्यधिक गर्मी होने के कारण कुछ स्थानों पर अतिभारिता की स्थिति आई जिसके लिए पॉवर परिवर्तकों पर कुलर लगाकर परिवर्तकों का तापमान नियंत्रित करते हुए विद्युत आपूर्ति को सामान्य रखा गया। आरडीएसएस एवं बिजनेस प्लान के अन्तर्गत बचे कार्यों को प्राथमिकता के आधार पर कराया जा रहा है, जिससे सरकार की अपेक्षानुसार आपूर्ति सुनिश्चित की जा सके।
झूसी, करैली एवं कसाडी-मसाडी में विद्युत चोरी के कारण अतिभारिता की समस्या उत्पन्न होती है जिसके लिए प्रभावी कदम उठाकर विद्युत चोरी को रोकने का प्रयास किया जा रहा है। मुख्य अभियन्ता, प्रयागराज- द्वितीय द्वारा अवगत कराया गया कि उनके क्षेत्र में बिजनेस प्लान व अन्य योजनाओं के अन्तर्गत 1828 कार्य पूर्ण करा लिये गये हैं। पिछले वर्ष फतेहपुर में कृषि भार के कारण अतिभारिता की स्थिति बनी थी। इस वर्ष आरडी एसएस योजना के अन्तर्गत कृषि फीडरों के विभक्तिकरण का कार्य पूर्ण करा लिया गया है जिससे अतिभारिता से बचा जा सकेगा। इन कार्यों के पूर्ण होने से शासन के अपेक्षानुसार विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित की जा सकेगी। ऊर्जा मंत्री द्वारा जमुनापार से प्राप्त हो रहे अधिक उपभोक्ता शिकायतों के सम्बन्ध में निर्देशित किया गया कि जो कर्मिक लम्बे समय से क्षेत्र में तैनात हैं या उनका व्यवहार उपभोक्ताओं के प्रति अच्छा नहीं उन्हें उन स्थानों से नियमानुसार हटाकर दूसरे स्थान पर तैनात किया जाये। समीक्षा के उपरान्त ऊर्जा मंत्री 1912 (कंट्रोल रूम) को मजबूत करने हेतु निर्देशित किया गया। जिससे कि उपभोक्ताओं की समस्याओं का शीघ्र निस्तारण हो सके। उपभोक्ताओं के साथ अच्छा व्यवहार करते हुए उनकी समस्याओं का समाधान किया जाये। सघन क्षेत्रों में जहां वास्तव में विद्युत चोरी हो रही है वहां आवश्यक कार्यवाही कर प्रभावी परिवर्तन सुनिश्चित किया जाये। तेजी से हो रहे औद्योगिक एवं वाणिज्यिक विकास को ध्यान में रखते हुए आधारभूत संरचना की मजबूत प्लानिंग की जाये। बैठक में विधायक सौरभ श्रीवास्तव, पूविविलि के प्रबन्ध निदेशक शम्भु कुमार, पूविविलि के निदेशक (का एवं प्रशा) आरके जैन, पूविविलि वित निदेशक संतोष कुमार जाडिया, निदेशक वित चन्द्रजीत कुमार, मुख्य अभियन्ता-योजना, मुख्य अभियन्ता वाराणसी-प्रथम अरविन्द कुमार सिंघल, मुख्य अभियन्ता वाराणसी द्वितीय मुकेश कुमार गर्ग, मुख्य अभियन्ता मिर्जापुर जेपीएन सिंह, मुख्य अभियन्ता- प्रथम प्रयागराज प्रमोद कुमार सिंह, विश्वदीप अम्बारदार, मुख्य अभियन्ता- द्वितीय, प्रयागराज, श्रीश कुमार श्रीवास्तव, मुख्य अभियन्ता- तकनीकी, वीपी कठेरिया, अधीक्षण अभियन्ता, नविविमं प्रथम, अनिल वर्मा, अधीक्षण अभियन्ता-नविवि मं-द्वितीय, विजयराज सिंह, अधीक्षण अभियन्ता-विविमं- वाराणसी, अशोक कुमार, अधीक्षण अभियन्ता, कार्यशाला, एपी सिंह, स्टॉफ आफिसर, प्रबन्ध निदेशक डिस्काम मनोज अग्रवाल, अधीक्षण अभियन्ता भण्डार प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।
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