एक अन्य महिला विमला कहती हैं कि "इस बस्ती में मूलभूत सुविधाएं तक नहीं है. न तो बिजली का कनेक्शन है और न ही पीने का साफ़ पानी उपलब्ध है. हमें ऐसे ही हालात में जीना होगा." वह कहती हैं कि यहां रहने वाली महिलाओं और किशोरियों का न तो स्वास्थ्य कार्ड बना हुआ है और न ही अस्पताल में उन्हें स्वास्थ्य की कोई सुविधा उपलब्ध हो पाती है. वहीं बच्चों को भी समय पर टीका उपलब्ध नहीं हो पाता है. वहीं 35 वर्षीय शारदा कहती हैं कि "मैं 8 वर्षों से यहां रह रही हूं. यहां रहते हुए मैंने दो बच्चों को जन्म दिया है. लेकिन किसी प्रकार का दस्तावेज़ नहीं होने के कारण सरकारी अस्पताल में मुझे एडमिट नहीं किया गया. जिसकी वजह से मेरी दोनों डिलेवरी घर पर ही हुई है. गर्भावस्था के दौरान भी मुझे स्वास्थ्य संबंधी कोई सुविधा नहीं मिल सकी है." वह कहती है कि हम दैनिक मज़दूर हैं. रोज़ाना मज़दूरी करने निकल जाते हैं. हमें दस्तावेज़ बनाने की पूरी जानकारी भी नहीं है. इसलिए आज तक हमारे पास कोई कागज़ नहीं बना है. जबकि सरकारी अस्पताल जाते हैं तो वहां दस्तावेज़ या प्रमाण पत्र मांगे जाते हैं. इसीलिए इलाज ही नहीं बल्कि प्रसव भी घर पर ही करवाने पड़ते हैं. हालांकि सरकार की ओर से स्वास्थ्य संबंधी कई कार्यक्रम और योजनाएं संचालित की जा रही हैं, लेकिन वास्तविकता यह है कि ऐसी योजनाएं रावण की मंडी जैसी स्लम बस्तियों तक ठीक से लागू नहीं हो पाती हैं. जिसके कारण यहां रहने वाले लोग बुनियादी स्वास्थ्य सुविधाओं से भी वंचित रह जाते हैं. इसे यहां बेहतर बनाने के लिए स्थानीय स्तर पर स्वास्थ्य केंद्र स्थापित करने की जरूरत है, जहां प्रशिक्षित स्वास्थ्यकर्मी भी उपलब्ध हों. वहीं केंद्रों पर गर्भवती महिलाओं, माताओं और बच्चों के लिए विशेष सुविधाएं प्रदान की किये जाने की आवश्यकता है. दूषित जल आधी बीमारियों की जड़ होती है. ऐसे में यहां पीने का साफ पानी और स्वच्छता उपलब्ध कराने के लिए विशेष उपाय करने की जरूरत है. इससे न केवल स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं कम होंगी बल्कि बीमारियों को फैलने से भी रोका जा सकेगा. इस काम में सरकार और प्रशासन के साथ साथ स्थानीय सामाजिक संस्थाएं और सामाजिक कार्यकर्ता भी अहम भूमिका निभा सकते हैं. आखिर स्लम बस्ती में रहने वालों को भी अन्य लोगों की तरह स्वास्थ्य सुविधाएं पाने का पूरा अधिकार है, जो उन्हें हर परिस्थिति में उपलब्ध कराई जानी चाहिए.
रामलखन गुर्जर
जयपुर, राजस्थान
(चरखा फीचर्स)
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