दिनेश माधवन, अध्यक्ष, ग्रुप ऑन्कोलॉजी एंड इंटरनेशनल-अपोलो हॉस्पिटल्स एंटरप्राइज़ लिमिटेड ने कहा,“ऑन्कोलॉजी का क्षेत्र लगातार विकसित हो रहा है, दुनिया भर में हो रहे अभूतपूर्व नवाचारों को सभी के सामने लाना महत्वपूर्ण है। कैंसर का जल्द से जल्द पता लगाने में महत्वपूर्ण प्रगति हो रही है। हमारे यहां अच्छी तरह से प्रशिक्षित चिकित्सकों और अत्याधुनिक तकनीकों के साथ, हम ऑन्कोलॉजी क्षेत्र को नया रूप देने के लिए प्रयासशील हैं। आज, कैंसर देखभाल का मतलब व्यापक, 360-डिग्री सहायता प्रदान करना है। कैंसर प्रबंधन और उपचार में तकनीकी प्रगति के साथ तालमेल रखते हुए, अपोलो कैंसर सेंटर इस परिवर्तनकारी सफर में सबसे आगे है, जो 147 देशों में 3.5 बिलियन लोगों की सेवा कर रहा है।” डॉ.अनिल डीक्रूज़, निर्देशक-ऑन्कोलॉजी, अपोलो हॉस्पिटल्स नवी मुंबई ने कहा,“अपोलो कैंसर कॉन्क्लेव दुनिया भर के ऑन्कोलॉजी समुदाय के लिए एक बहुप्रतीक्षित कार्यक्रम बन गया है। यह सम्मेलन कैंसर देखभाल में परिवर्तन लाने के लिए समर्पित विचार नेताओं, चिकित्सकों और शोधकर्ताओं को एक साथ लाता है। ज्ञान और जानकारी को सांझा करना, सहयोग बढ़ाना और उसके ज़रिए कैंसर के उपचार को प्रेरित करना, चुनौती देना और सामूहिक रूप से आगे बढ़ाना हमारा लक्ष्य है। इस वर्ष हम सटीक ऑन्कोलॉजी पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं, यह बात कैंसर के उपचार के लिए अधिक अनुरूप, मरीज़-केंद्रित दृष्टिकोणों की ओर बदलाव को रेखांकित करती है, यह बदलाव कैंसर से जूझ रहे हर मरीज़ के जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाते हैं।”
नवी मुंबई (अनिल बेदाग): अपोलो कैंसर सेंटर, नवी मुंबई द्वारा आयोजित अपोलो कैंसर कॉन्क्लेव का 7वां एडिशन 8 से 10 नवंबर तक चलेगा और इसमें अग्रणी राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय संस्थानों के 400 से अधिक फैकल्टी, कैंसर देखभाल विशेषज्ञ और रिसर्चर सहित 2,000 से अधिक ऑन्कोलॉजिस्ट भाग ले रहे हैं। यह कार्यक्रम कैंसर देखभाल में नवीनतम प्रगति और नवाचारों पर चर्चा करने, आधुनिक उपचारों से लेकर सटीक ऑन्कोलॉजी तक के विकसित परिदृश्य पर चर्चा करने पर केंद्रित है। स्वास्थ्य देखभाल क्षेत्र के प्रोफेशनल्स के लिए पैनल चर्चा, कार्यशालाओं और रिसर्च प्रेज़ेंटेशन में भाग लेने के लिए यह एक प्रभावशाली मंच है। इसमें मुख्य भाषण और कई सत्रों में कैंसर देखभाल के पहले से चले आ रहे उपचारों और प्रबंधन रणनीतियों के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी दी जाएगी। डॉ.एलिसाबेत वीडरपास, निर्देशक-इंटरनेशनल एजेंसी फॉर रिसर्च ऑन कैंसर (आईएआरसी), विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा, “आईएआरसी के 2022 के अनुमानों से पता चलता है कि दुनिया भर में कैंसर का बोझ 2022 में 20 मिलियन नए मामलों से बढ़कर 2050 तक 35 मिलियन हो जाने का अनुमान है। भारत में 2022 में कैंसर के 1.41 मिलियन नए मामले आए थे, यह आंकड़ें बढ़कर 2050 में 2.69 मिलियन होने की उम्मीद है। इस खतरनाक अनुमान के साथ, रोकथाम कैंसर महामारी के लिए बहुत ही ज़रूरी बन गई है। अपोलो कैंसर कॉन्क्लेव 2024 जैसी पहल स्थानीय विशेषज्ञों के बीच जागरूकता बढ़ाने के लिए एक प्रभावशाली मंच प्रदान करती है। आईएआरसी में, हमारा लक्ष्य है एक ऐसी दुनिया बनाएं, जहां कैंसर के मामलें कम से कम हो। इसके लिए रोकथाम और बीमारी की जल्द से जल्द पहचान में सक्रिय, सबूतों पर आधारित नीतियों की आवश्यकता है। और हमारे सामूहिक मिशन को मजबूत करने का एक उल्लेखनीय अवसर है।”
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें