- विकास के साथ विरासत का सम्मान कर रही है हमारी सरकार, नियोजित तरीके से वैज्ञानिक पद्धति अपनाकर सनातन को आगे बढ़ाने का कार्य किया जा रहा
- विहंगम योग समाज का शताब्दी समारोह में स्वर्वेद मंत्रोंचार के बीच 25000 से अधिक लोगों ने किया कुंडीय यज्ञ, सद्गुरु सदाफलदेव जी आप्त वैदिक गुरुकुलम् का लोकापर्ण भी मुख्यमंत्री ने किया
विहंगम योग संत समाज स्वर्वेद महामंदिर ट्रस्ट के माध्यम से दिव्य-भव्य मंदिर बनाकर कोटि-कोटि श्रद्धालुजनों को अपने पुरुषार्थ के माध्यम से जोड़ने के साथ ही भारत की योग परंपरा व आध्यात्मिक धारा को जन-जन तक पहुंचाने को कृतसंकल्पित दिख रहा है। सदाफल देव जी ने व्यक्ति व समाज से ऊपर उठकर सनातन धर्म के योगदान में अपने को तत्पर रखा। संत का कार्य है की एक कार्य पूरा होते ही दूसरे कार्य में लग जाना तथा संत प्रवर विज्ञान देव जी ने देश यात्रा पर निकलकर कश्मीर से कन्याकुमारी तक 35000 किमी यात्रा करते हुए सनातन धर्म को जागरूक किया है। यही हमारी परंपरा है। देश जब गुलामी की बेड़ियों से जकड़ा था, तब सद्गुरु सदाफल देव जी महाराज ने अपनी आध्यात्मिक साधना के साथ विदेशी दासता से मुक्त कराने के लिए आजादी के आंदोलन में भाग लेकर बैरकपुर से देश के प्रथम स्वातंत्र्य समर के शंखनाद के साथ खुद को जोड़ा था। आप सब भी समृद्ध आध्यात्मिक परंपरा के साथ राष्ट्रधर्म के लिए समर्पित महत्वपूर्ण कड़ी से खुद को जोड़ रहे हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पीएम मोदी कहते हैं कि हर काम देश के नाम होना चाहिए। देश सुरक्षित है तो धर्म भी सुरक्षित है। धर्म सुरक्षित है तो हम भी सुरक्षित हैं, इसलिए जो भी कार्य हो, वह व्यक्ति, समाज, मत-मजहब के दायरे से ऊपर उठकर सनातन धर्म के मूल्यों के अनुरूप भारत की वैदिक-आध्यात्मिक परंपरा का अनुसरण करते हुए देश के नाम होना चाहिए। भारतीयता और सनातन सबको जोड़ने की ताकत रखता है। उन्होंने कहा कि अच्छा नेतृत्व मिलता है तो विकास की अवधारणा स्वतः चल पड़ती है। प्रधानमंत्री ने इसका उद्घाटन एक वर्ष पूर्व किया था आज पुनः मुझे उससे जुड़ने तथा आने का सौभाग्य मिला है। इतने बड़े आयोजन में लाखों की संख्या के बावजूद सब कुछ अच्छे से चल रहा है। आज नियोजित तरीके से वैज्ञानिक पद्धति अपनाकर सनातन को आगे बढ़ाने का कार्य हो रहा है। अंत में उन्होंने सदाफल देव जी की स्मृतियों को नमन करते हुए कहा कि यह क्षेत्र भी तीर्थ के रूप में विकसित हो चुका है तथा 25000 कुंडीय यज्ञ विहंगम दृश्य प्रस्तुत कर रहा है।
श्रम एवं सेवायोजन मंत्री तथा स्थानीय विधायक अनिल राजभर द्वारा मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को आशा के प्रतीक, अपने पुरुषार्थ एवं परिश्रम से उत्तर प्रदेश को उत्तम प्रदेश बनाने, प्रदेश में कानून का राज स्थापित करने वाला बताया। उन्होंने आचार्य स्वतंत्र देव जी तथा विज्ञान जी का स्वागत करते हुए कहा कि स्वर्वेद महामंदिर काशी की धार्मिक प्रतिष्ठा में चार चांद लगा रहा है। इतनी बड़ी संख्या में आने के लिए आप सभी का स्वागत है। मुख्यमंत्री के प्रयासों से काशी को लगातार संवारा जा रहा है। आचार्य स्वतंत्र देव जी ने मुख्यमंत्री स्वागत करते हुए कहा कि धर्म नीति पर चलने वाला योगी ही जनता के लिये उपयोगी है। सबसे बड़े प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में आपने अनेक कार्य किये हैं तथा कल्याणकारी योजनाओं से गरीबों का भला कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि आज स्वर्वेद ट्रस्ट द्वारा गौसेवा, निःशुल्क शिक्षा, चिकित्सा, महिला सशक्तिकरण, सामुहिक भंडारा के माध्यम से मानव उत्थान के अनेक कार्य किए जा रहे हैं। संत प्रवर विज्ञान देव जी ने योगी आदित्यनाथ का स्वागत करते हुए कहा कि आपके ऊर्जावान नेतृत्व समारोह की शोभा बढ़ा रहे हैं। काशी पहले से ही देश की सांस्कृतिक राजधानी रही है, आज यह स्वर्वेद मंदिर काशी की शोभा में चार चांद लगा रहा है। भारतीय संस्कृति विश्व की आदि संस्कृति है। अंत में उन्होंने कहा कि आज गोरक्षपीठाधीश्वर मुख्यमंत्री के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश उत्तम प्रदेश के बाद सर्वोत्तम प्रदेश बनता जा रहा है तथा विकास कार्यों के साथ कानून व्यवस्था बेहतर हुई है। देश के अन्य राज्य के लोग योगी मॉडल की मांग कर रहे हैं। इससे पूर्व मुख्यमंत्री को आचार्य स्वतन्त्र देव जी द्वारा अंगवस्त्रम तथा मंदिर की प्रतिमा प्रतीक स्वरूप देकर स्वागत किया गया।
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