दरभंगा : आर्ट ऑफ लिविंग विश्व ध्यान दिवस पर सामूहिक ध्यान शिविर का आयोजन - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।

शनिवार, 21 दिसंबर 2024

दरभंगा : आर्ट ऑफ लिविंग विश्व ध्यान दिवस पर सामूहिक ध्यान शिविर का आयोजन

Art-of-leaving-darbhanga
दरभंगा, 21 दिसंबर (रजनीश के झा) : विश्व ध्यान दिवस के अवसर पर आर्ट ऑफ लिविंग, दरभंगा ने दरभंगा इंजीनियरिंग कॉलेज, मब्बी में एक दिवसीय सामूहिक ध्यान शिविर का आयोजन किया। इस विशेष कार्यक्रम में छात्रों को मानसिक शांति, तनाव प्रबंधन और ध्यान के महत्व को समझाने के उद्देश्य से आयोजित किया गया था।कार्यक्रम में आर्ट ऑफ लिविंग के वरिष्ठ शिक्षक अनिल कुमार शर्मा, अमोघ दास, और पंकज कुमार अग्रवाल ने छात्रों का मार्गदर्शन किया। उन्होंने छात्रों को ध्यान की वैज्ञानिक विधियों और इसके मानसिक, शारीरिक और भावनात्मक लाभों के बारे में बताया। विशेषज्ञों ने बताया कि नियमित ध्यान अभ्यास से छात्रों में ध्यान केंद्रित करने की क्षमता, स्मरण शक्ति और आत्मविश्वास में वृद्धि होती है।डॉ. संदीप तिवारी, प्राचार्य, दरभंगा इंजीनियरिंग कॉलेज, ने भी इस अवसर पर छात्रों को संबोधित किया। उन्होंने अपने संदेश में कहा, "आज के प्रतिस्पर्धी युग में ध्यान का अभ्यास न केवल छात्रों को अपने अध्ययन में मदद करता है, बल्कि उन्हें जीवन की अन्य चुनौतियों का सामना करने के लिए भी तैयार करता है। ध्यान का महत्व केवल व्यक्तिगत विकास तक सीमित नहीं है, बल्कि यह समाज और राष्ट्र के निर्माण में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।"कार्यक्रम की शुरुआत प्रार्थना और प्रारंभिक परिचय सत्र से हुई, जिसमें ध्यान और योग की अवधारणाओं पर चर्चा की गई। इसके बाद सामूहिक ध्यान सत्र का आयोजन किया गया, जिसमें सैकड़ों छात्रों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। ध्यान के दौरान, छात्रों को विश्राम की गहरी स्थिति का अनुभव हुआ, जिससे उन्हें अपने भीतर की शांति को महसूस करने का अवसर मिला।आर्ट ऑफ लिविंग के शिक्षक अमोघ दास ने कहा, "ध्यान एक ऐसा साधन है, जो हमें अपने भीतर छिपी अनंत ऊर्जा और सकारात्मकता से जोड़ता है। यह न केवल तनाव को कम करता है, बल्कि मनुष्य को जीवन में अधिक प्रगतिशील और रचनात्मक बनाता है।" कार्यक्रम के दौरान कई छात्रों ने अपनी प्रतिक्रियाएं साझा कीं। छात्रों ने बताया कि ध्यान के इस सत्र ने उन्हें मानसिक शांति और ऊर्जा प्रदान की। उन्होंने इस पहल के लिए कॉलेज प्रबंधन और आर्ट ऑफ लिविंग का आभार व्यक्त किया।

कोई टिप्पणी नहीं: