रविवार को स्थानीय क्रिसेंट रिसोर्ट, सेहोर में सुबह 9 बजे से सांय 4 बजे तक आयोजित किया गया था। इस सम्मेलन में 150 प्रतिभागियों के आने की उम्मीद है। इस अवसर पर 16 सुप्रसिद्ध सुपर स्पेशलिस्ट अपने-अपने क्षेत्रों में विशेषज्ञता से संबंधित महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की। यह सम्मेलन चिकित्सकों को वर्तमान चिकित्सा ज्ञान के बारे में अध्यन करने का एक शानदार अवसर प्रदान किया। इस संबंध में जानकारी देते हुए जिला अस्पताल में पदस्थ वरिष्ठ चिकित्सक बीके चतुर्वेदी ने बताया कि इस कार्यक्रम का उद्देश्य चिकित्सा के क्षेत्र में नवीनतम जानकारी और शोध परिणामों को साझा करना है, ताकि चिकित्सक अपने प्रैक्टिस को और अधिक प्रभावी और सटीक बना सकें।
सीहोर। समाज में डॉक्टर को भगवान का दूसरा रूप माना जाता है. डॉक्टरों को भगवान का रूप इसलिए माना जाता है क्योंकि वे रोगियों को निराशा से राहत देते हैं और उनकी सेवा ईश्वर की भक्ति के समान होती है. डॉक्टरों का कर्तव्य जीवन को बचाना और स्वास्थ्य को संरक्षित रखना होता है। उक्त विचार डॉक्टरों के सम्मेलन में रविवार को मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद अंतर्राष्ट्रीय कथा वाचक पंडित प्रदीप मिश्रा ने कहे। इस मौके पर जिला अस्पाताल में पदस्थ वरिष्ठ चिकित्सक बीके चतुर्वेदी, डॉ. आरके वर्मा, डॉ. भरत आर्य, आनंद शर्मा आदि शामिल थे। पंडित श्री मिश्रा ने कहा कि चिकित्सय शिक्षा समाज के उत्थान और रोग को दूर करने के लिए बहुत ही उपयोगी है। मैं जब आया था तब यहां पर ब्रेन के कार्य करने की प्रणाली से विशेषज्ञ अवगत कर रहे थे कि एक महिला का हाथ नहीं उठ रहा था, बे्रन के कंट्रोल और उपचार करने से इस बीमारी का निदान हो गया।
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