- खादी ग्रामोद्योग प्रदर्शनी में बिक्री 3 करोड़ के पार, मंत्री ने मंडल स्तरीय पुरस्कार का भी वितरण किया
मंत्री रविंद्र जायसवाल ने कहां कि इस प्रकार की मेलों से निश्चित रूप से कुटीर उद्योगों, विशेष कर खादी के सामानों के प्रति लोगों का झुकाव होता है। ऐसे मेलों से कुटीर उद्योग के क्षेत्र से जुड़े लोगों को अपने सामानों की बिक्री करने के लिए एक उचित प्लेटफार्म एवं बाजार मिलता है। प्रधानमंत्री भी लोकल फॉर वोकल पर विशेष जोर देते हैं। बता दें, प्रदर्शनी में कुल 113 स्टॉल लगे थे, जिसमें 25 खादी के स्टॉल एवं 88 स्टॉल ग्रामोद्योग के थे, जिसमें सीतापुर की चादर, प्रतापगढ़ का मुरब्बा, सोनभद्र की दरी, भदोही की कारपेट, बनारस की साड़ी, लकड़ी के खिलौने, आचार मुरब्बा, पंजाब की फुलकारी, उत्तराखंड के सदरी एवं उ० प्र० के अन्य जनपदों के साथ गुजरात, मध्य प्रदेश, राजस्थान, बिहार, जम्मू कश्मीर, दिल्ली के भी स्टाल लगे थे। कार्यक्रम में मां मुंडेश्वरी म्यूजिक ग्रुप द्वारा सांस्कृतिक एवं देशभक्ति गीत की प्रस्तुति दिया गया। इस अवसर पर परिक्षेत्रीय ग्रामोद्योग अधिकारी यू.पी.सिंह ने मंत्री का स्वागत किया। विशिष्ट अतिथि के रूप में पूनम मौर्या, अध्यक्ष जिला पंचायत, धर्मेंद्र राय, सदस्य विधान परिषद उप्र, उमेश कुमार सिंह, संयुक्त आयुक्त उद्योग वाराणसी मंडल, अरुण कुमार कुरील, उप निदेशक हथकरघा, एसएन पाल, सहायक निदेशक सूचना, गिरजा प्रसाद, जिला ग्रामोद्योग अधिकारी चंदौली, अमिता श्रीवास्तव, जिला ग्रामोद्योग अधिकारी गाजीपुर, अमितेश कुमार सिंह, जिला परिक्षेत्रीय ग्रामोद्योग अधिकारी विंध्याचल मंडल मीरजापुर, किरण श्रीवास्तव, जिला ग्रामोद्योग अधिकारी सोनभद्र, खादी संस्थाओं के प्रतिनिधि, उद्यमी एवं अधिकारी कर्मचारी उपस्थित रहे।
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