- राजेंद्र गुप्ता परिवार को गोलियों से भूनकर दी थी घटना को अंजाम, चाचा-चाची और 3 बच्चों की हत्या के बाद से था फरार
- 25 साल पुराना था दर्द, अब महसूस कर रहा सुकून, आरोपी विक्की व उसके भाई पर था एक लाख का इनाम, वारदात के 90 दिन बाद पुलिस के हाथ लगे है दोनों आरोपी, पांच लोगों की हत्या का है आरोप
कुछ इस तरह दी गयी थी घटना को अंजाम
एक ही परिवार के पांच सदस्यों की गोली मार कर हत्या कर दी गई थी। भदैनी इलाके में एक बहुमंजिला मकान के अलग-अलग तल से मंगलवार यानी 5 नवंबर को एक महिला, उसके दो बेटों और एक बेटी का शव मिला था। जबकि घटनास्थल से लगभग 14 किलोमीटर दूर मीरापुर रामपुर स्थित निर्माणाधीन मकान में महिला के पति का अर्धनग्न शव बेड पर मिला। उसे भी गोली मारी गई थी। पांचों की कनपटी और सीने में गोली मारी गई थी। दोनों ही घटनास्थल से मिले खोखा के आधार पर पुलिस दावा कर रही थी कि पांचों लोगों की हत्या में .32 बोर की पिस्टल का इस्तेमाल किया गया था। पुलिस पुराने विवाद और घटनाओं को ध्यान में रखकर जांच कर रही थी। परिवार के मुखिया मृत राजेंद्र पर अपने पिता, छोटे भाई और उसकी पत्नी के साथ ही एक चौकीदार की हत्या का आरोप था।
इंस्टाग्राम और ईमेल बात करते थे दोनों आरोपी
दीपावली के एक दिन बाद ही एक परिवार के पांच लोगों के हत्या कर दी गई थी. इस नृशंस हत्या ने बनारस को पूरी तरीके से दहला दिया था. यह अब तक की बनारस की सबसे जघन्य हत्या थी, जो कमिश्नरेट पुलिस के लिए भी बड़ी चुनौती बनी हुई थी. क्योंकि हत्यारे ने एक भी सबूत अपने पीछे नहीं छोड़े थे. लेकिन पुलिस ने घेराबंदी कर आखिरकार अपराधी को पकड़ लिया है और हत्या का खुलासा कर दिया है. 90 दिन बाद पुलिस ने एक लाख इनामी आरोपी विशाल गुप्ता उर्फ विक्की को गिरफ्तार कर लिया है.
1997 में हुई थी विक्की के बाप-दादा की हत्या
पुलिस कमिश्नर मोहित अग्रवाल ने बताया कि हत्या आरोपी विक्की ने पूछताछ में बताया है कि उसके माता-पिता व बाबा की हत्या चाचा राजेंद्र गुप्ता के जरिए 1997 में गोली मारकर की गई थी. जिसमें उसके छोटे भाई प्रशांत को भी गोली लगी थी. उसी समय से हम लोगों को राजेंद्र व उनके परिवार वालों के द्वारा नौकर की तरह रखा जा रहा था,बार-बार मारा पीटा जा रहा था. हम लोग तंग आ गए थे. 2022 में भी राजेंद्र और उनके बड़े पुत्र ने उसे बुरी तरीके से मारा पीटा और कई दिनों तक घर में बंद रखा. इस समय ही इस पूरे परिवार को खत्म करने के इरादे से घर छोड़ दिया था. छोटे भाई प्रशांत के साथ मिलकर घटना की योजना बनाई. जिसके लिए फर्जी आईडी पर चार पांच मोबाइल सिम लिया और बिहार से दो पिस्टल भी खरीदी.
ये है पूरा मामला
भेलूपुर थाना क्षेत्र के भदैनी निवासी राजेंद्र प्रसाद गुप्ता की पत्नी नीतू, बेटी गौरांगी और बेटों नमनेंद्र व सुबेंद्र का शव पांच नवंबर 2024 की सुबह उनके घर में मिला था। चारों की गोली मार कर हत्या की गई थी। राजेंद्र का शव रोहनिया थाना क्षेत्र के मीरापुर रामपुर स्थित उसके निर्माणाधीन मकान में मिला था। राजेंद्र की भी गोली मार कर हत्या की गई थी। पड़ताल के बाद पुलिस इस नतीजे पर पहुंची कि अपने मां-बाप की हत्या का बदला लेने के लिए विक्की ने पूरे परिवार को खत्म कर डाला। विक्की के मां-बाप की हत्या का आरोप राजेंद्र पर था। इधर, तमाम प्रयास के बाद पुलिस को विक्की व उसके भाई को गिरफ्तार करने में सफलता मिली है।
घर पर चस्पा किया गया था नोटिस
बता दें कि पुलिस ने विशाल गुप्ता के फरार होने के कारण उसके खिलाफ कोर्ट से कुर्की की कार्रवाई के लिए आदेश लेकर मारे गए राजेंद्र गुप्ता के घर पर कुर्की की नोटिस चस्पा किया गया था। इसके अलावा, मोहल्ले में डुगडुगी भी पिटवाई गई थी, जिससे पुलिस की कार्रवाई पर सवाल खड़ा हुआ था। वहीं घटना के बाद पीड़ित परिवार की अकेली बची राजेंद्र गुप्ता की बुजुर्ग मां शारदा देवी ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाते हुए निवेदन किया था कि पुलिस उनके मकान की कुर्की की कार्रवाई को रोकने के निर्देश दे।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें